रायपुर
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 17 मार्च। माना डकैती कांड में ढाई दिन बाद भी पुलिस के कोई सबूत हाथ नहीं लगा है। शुक्रवार, शनिवार तडक़े तीन से अधिक डकैतों ने माना पोद्दार स्कूल के पास आवासीय इलाके में कृषि विभाग के कर्मी प्रख्यात चंद्राकर के यहां वारदात की थी। रात सो रहे प्रख्यात,पत्नी और दो बच्चों को कमरे में बंद कर मां उमादेवी पर हमला कर 10 लाख से अधिक के जेवर सामान ले भागे। किसी तरह कमरे से निकले प्रख्यात भागते हुए डकैतो का पीछा किया। लेकिन पकड़ नहीं पाए।
पुलिस सूत्रों का कहना है कि ग्रामीण इलाका होने से आसपास के घरों और 400 मीटर दूर मुख्य हाइवे पर भी कोई सीसीटीवी कैमरा न होने से आरोपियों के संबंध में कोई सुराग नहीं मिल पाया है। वारदात करने के तरीके के आधार पर पुलिस केवल धार गैंग का हाथ मानकर चल रही है। इस बीच आम चुनाव की आचार संहिता में पुलिस के व्यस्त होने से जांच की गति भी धीमी हो सकती है ।
डकैतों पर एफआईआर
चंद्राकर निवास में डकैती से एक रात पहले डकैत नया रायपुर में भाजपा नेता के घर पहुंचे थे। उन्होंने वहां भी डकैती की कोशिश की। हालांकि यहां वो वारदात करने में सफल नही हो पाए। भाजपा नेता संतराम साहू ने राखी थाना में रिपोर्ट दर्ज करवाई जिसमें उन्होंने बताया कि वो उपरवाला, नया रायपुर में रहते है। इलाके के जनपद पंचायत सदस्य है। 14 मार्च की रात करीब 1 बजे थे। उनके दो मंजिला मकान में ऊपर रहने वाले किराएदार किशन निषाद ने उन्हें जोरदार आवाज लगाई। जब संतराम दौडक़र ऊपर पहुंचा तो डरा-सहमा किशन ने उसे बताया कि वो वाशरूम जाने के लिए उठा था। इस दौरान दो नकाब पहने लोग सीढ़ी से ऊपर आ गए। आरोपियों ने किशन को देखते ही उसके सिर में डंडे और पत्थर से हमला कर दिया। जब किशन जोरदार चिल्लाया तो आरोपी सीढिय़ों से नीचे उतरकर पिछले गेट से भाग खड़े हुए। हमले में किशन के हाथों में चोट भी आई। जब संतराम ऊपर चढ़ रहा था तो उसने पीछे से एक आरोपी को देखा भी। लेकिन अंधेरा ज्यादा होने की वजह से वे फरार हो गया।