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उत्तर प्रदेश के हाथरस में एक सत्संग के दौरान मची भगदड़ में 27 श्रद्धालुओं के मारे जाने की ख़बर है.
इसकी पुष्टि एटा के एसएसपी ने की है.
एटा एसएसपी राजेश कुमार सिंह ने कहा, "एक दुखद घटना हुई है, हाथरस जनपद में सिकंद्राराऊ के पास मुगलगढ़ी गांव में भोले बाबा का कार्यक्रम चल रहा था, भगदड़ के कारण लोगों की मौतें हुई हैं. हमारे यहां एटा के अस्पताल में 27 शव आए हैं जिनमें 23 महिलाएं, तीन बच्चे और एक पुरुष के शव हैं. घायल अभी नहीं पहुंचे हैं."
सीएमओ एटा उमेश कुमनार ने त्रिपाठी ने कहा, "अभी तक 27 शव पोस्टमॉर्टम हाउस पहुंचे हैं, जिनमें दो 25 महिलाएं और दो पुरुष हैं. कई घायलों को भी भर्ती कराया गया है. जांच के बाद आगे की जानकारी दी जाएगी."
उन्होंने कहा कि शुरुआती जांच में पता चला है कि धार्मिक आयोजन के दौरान भगदड़ के कारण ये घटना घटी है.
सोशल मीडिया प्लेटफ़ॉर्म एक्स पर यूपी सीएमओ ने एक बयान जारी कर हाथरस में हुए हादसे में मृतकों के शोक संतप्त परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त की है.
बयान के अनुसार, "मुख्यमंत्री ने घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की कामना की है. उन्होंने जिला प्रशासन के अधिकारियों को घायलों को तत्काल अस्पताल पहुंचाकर उनके समुचित उपचार कराने और मौके पर राहत कार्य में तेजी लाने के निर्देश दिए हैं. उन्होंने एडीजी आगरा और कमिश्नर अलीगढ़ के नेतृत्व में घटना के कारणों की जांच के निर्देश दिए हैं."
सिकंद्राराऊ ट्रामा सेंटर पर घायलों को पहुंचाया जा रहा है.
बीबीसी के सहयोगी पत्रकार धर्मेंद्र चौधरी ने ट्रॉमा सेंटर से कुछ वीडियो भेजे हैं जिनमें परिजन आक्रोश जताते साफ़ देखे जा सकते हैं.
ट्रॉमा सेंटर पर मौजूद पीड़ितों के एक परिजन ने कहा, "इतना बड़ा हादसा हो गया है लेकिन एक भी सीनियर अधिकारी यहां मौजूद नहीं है. भोले बाबा को किसने यहां इतना बड़ा कार्यक्रम करने की परमिशन दी थी. प्रशासन कहां है?"
घायलों और मृतकों को ट्रॉमा सेंटर पर ट्रकों, टैंपो और एंबुलेंस में लाया गया.
वीडियो में ट्रॉमा सेंटर के बाहर महिलाओं के शवों को फ़र्श पर लिटाये हुए देखा जा सकता हैं.
ट्रॉमा सेंटर के बाहर अफ़रातफ़री का माहौल है और लोग अपने प्रियजनों की तलाश में वहां पहुंच रहे हैं. (bbc.com/hindi)