रायपुर
रायपुर, 7 सितंबर। जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ (जे) के मीडिया प्रमुख इकबाल अहमद रिजवी ने कहा है कि 1 जनवरी 2004 से नियुक्ति पाने वाले शासकीय कर्मचारियों की पेंशन बंद करना एक अमानवीय निर्णय है। इससे सेवारत कर्मचारियों का भविष्य असुरक्षित हो जाऐगा या फिर सेवानिवृत्ति के एक वर्ष पूर्व अथवा तुरंत बाद कर्मचारी के परिवार के एक सदस्य को शासकीय सेवा में नियुक्ति का प्रावधान किया जाना चाहिए। जिन्दगी भर सेवा करने के बाद कर्मचारी के भविष्य से खिलवाड़ गैरवाजिब है।
रिजवी ने पूछा है कि सांसद, विधायक को मासिक तनख्वाह, भत्ता एवं भूतपूर्व होने के बाद भी पेंशन का प्रावधान बरकरार रहता है जो व्यवहारिक प्रतीत नहीं होता है तथा जनप्रतिनिधि रहते हुए पेट्रोल पम्प, गैस ऐजेन्सी जैसी आय का जरिया बना लेते हैं। करोड़पति सांसद एवं विधायक को तो स्वस्फूर्त तनख्वाह, भत्ता एवं पेंशन लेने से इन्कार कर देना चाहिए तब सही मायनों में इन वर्गों के प्रतिनिधि जन सेवक कहे जाऐंगे अन्यथा सारी सुविधा लेने से तो जनप्रतिनिधि सरकारी नौकर की श्रेणी में स्वयं आ जाता है जिनकी पेंशन बदस्तूर जारी रहेगी।
शासकीय सेवकों की पेंशन बंद करने का निर्णय अमानवीय एवं गैरवाजिब ही कहा जाऐगा। पेंशन बंद करने के विरूद्ध सभी दलों के सांसद, विधायकों को पुरजोर विरोध करना चाहिए। सभी प्रदेशों की सरकारों को शासकीय कर्मचारियों की पेंशन बंद किए जाने के विरोधस्वरूप विधानसभा में संकल्प पारित करना चाहिए।