राष्ट्रीय
विशाखापत्तनम, 7 फरवरी | आंध्र प्रदेश के पार्वतीपुरम मान्यम जिले में जंगली हाथियों के झुंड ने एक व्यक्ति को कुचल कर मार डाला। जानकारी के मुताबिक, हाथी को गांव में घुसने से रोकने की कोशिश कर रहे 26 वर्षीय लक्ष्मीनारायण की मौके पर ही मौत हो गई। यह घटना सोमवार रात पार्वतीपुरम मान्यम जिले के पासीकुडी गांव के बाहरी इलाके में हुई।
वन विभाग में ठेके पर कार्यरत युवक हाथियों के झुंड को गांव में कपास के खेतों में घुसने से रोकने की कोशिश कर रहा था।
वन अधिकारियों के अनुसार, मशाल का इस्तेमाल करते हुए, उसने हाथियों को वंशधारा नदी की ओर भगाने की कोशिश की, लेकिग्न झुंड ने उसे रौंद दिया।
श्रीकाकुलम जिले के रहने वाले लक्ष्मीनारायण की मौके पर ही मौत हो गई। घटना से क्षेत्र के ग्रामीण दहशत में हैं।
वरिष्ठ वन अधिकारी मौके पर पहुंचे और लोगों को आश्वासन दिया कि पिछले कुछ हफ्तों से इस क्षेत्र में कहर बरपा रहे जंगली हाथियों को नियंत्रित करने के लिए कदम उठाए जाएंगे।
जिले में तीन माह में जंगली हाथियों से यह दूसरी मौत है।
पिछले साल नवंबर में इसी जिले के कालीकोटा गांव में एक किसान को जंगली हाथी ने कुचल कर मार डाला था। 48 वर्षीय किसान अपने खेत का जायजा लेने के लिए गए थे, तभी एक हाथी ने उन पर हमला कर दिया और उन्हें कुचल कर मार डाला। (आईएएनएस)|
चेन्नई, 7 फरवरी | तमिलनाडु में भाजपा केनेता एक-एक कर पार्टी छोड़ रहे हैं। अब पार्टी के एससी विंग के राज्य महासचिव, विनयागमूर्ति डीएमके में शामिल हो गए हैं। अनुसूचित जाति अरुनथथियार समुदाय से ताल्लुक रखने वाले दलित नेता ने कहा कि वह इरोड पूर्व उपचुनाव में डीएमके उम्मीदवार की जीत के लिए काम करेंगे।
उपचुनाव 27 फरवरी को होना है।
आईएएनएस से बात करते हुए, दलित नेता ने कहा कि इरोड पूर्व निर्वाचन क्षेत्र में 35,000 से अधिक अरुणथथियुर मतदाता हैं और वह डीएमके उम्मीदवार के प्रचार के लिए निर्वाचन क्षेत्र में यात्रा करेंगे।
उन्होंने यह भी कहा कि वह डीएमके उम्मीदवार ईवीकेएस एलंगोवन की जीत को तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम.के. स्टालिन को समर्पित करेंगे।
हालांकि विनायगमूर्ति ने भाजपा छोड़ने का कोई कारण नहीं बताया, लेकिन पुलिस अधिकारी से नेता बने पार्टी अध्यक्ष अन्नामलाई की कार्यशैली ने तमिलनाडु की भाजपा इकाई में कलह पैदा कर दी है। राज्य भाजपा अध्यक्ष द्वारा पार्टी के वरिष्ठ नेताओं को सार्वजनिक रूप से अपमानित करने की शिकायतें पहले भी आ चुकी हैं।
इससे पहले तिरुचि सूर्या ने भाजपा छोड़ दी थी। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 7 फरवरी | सर्वोच्च न्यायालय ने मंगलवार को लक्ष्मण चंद्रा विक्टोरिया गौरी की मद्रास उच्च न्यायालय के अतिरिक्त न्यायाधीश के रूप में नियुक्ति को चुनौती देने वाली याचिकाओं पर विचार करने से इनकार कर दिया। जस्टिस संजीव खन्ना और बी.आर. गवई ने कहा कि पात्रता और उपयुक्तता में अंतर है और पात्रता पर चुनौती हो सकती है लेकिन उपयुक्तता? पीठ ने कहा, अदालत को इसमें नहीं पड़ना चाहिए। याचिकाकर्ता का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता राजू रामचंद्रन ने जोर देकर कहा कि हेट स्पीच संविधान के विपरीत है। दलीलों को सुनने के बाद पीठ ने याचिका पर विचार करने से इनकार कर दिया।
सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा कि वह मद्रास उच्च न्यायालय के अतिरिक्त न्यायाधीश के रूप में विक्टोरिया गौरी की नियुक्ति पर अपने फैसले पर पुनर्विचार करने के लिए कॉलेजियम को निर्देश नहीं दे सकती है, और अगर कॉलेजियम के किसी सदस्य को गौरी पर कोई आपत्ति है, तो वे इसे देखेंगे।
अधिवक्ता रामचंद्रन ने कहा कि देखिए कितनी जल्दबाजी में शपथ ग्रहण की सूचना दी गई। उन्होंने कहा कि मद्रास उच्च न्यायालय के कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश के संज्ञान में इस तथ्य का लाया गया कि मामले में अदालत सुनवाई कर रही, फिर भी उन्होंने सुबह 10.35 बजे नियुक्ति की सूचना दी, 10.35 का क्या महत्व है? कि यह अदालत 5 मिनट में फैसला करेगी?
न्यायमूर्ति गवई ने कहा कि अतिरिक्त न्यायाधीशों की पुष्टि नहीं होने के उदाहरण हैं। जस्टिस खन्ना ने कहा कि यह मान लेना कि कॉलेजियम ने इन बातों को ध्यान में नहीं रखा है, यह उचित नहीं होगा।
अन्य याचिकाकर्ता का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता आनंद ग्रोवर ने तर्क दिया कि समस्या व्यक्ति के राजनीतिक विचारों से नहीं, बल्कि उन विचारों को व्यक्त करने से है। इतने उग्र विचारों वाला व्यक्ति न्यायाधीश के रूप में शपथ लेने के योग्य नहीं है।
शीर्ष अदालत का आदेश मद्रास उच्च न्यायालय के अतिरिक्त न्यायाधीश के रूप में गौरी की नियुक्ति को चुनौती देने वाली अन्ना मैथ्यू, आर वैगई और अन्य द्वारा दायर याचिकाओं पर आया है।
सुप्रीम कोर्ट कॉलेजियम ने 17 जनवरी को मद्रास उच्च न्यायालय के न्यायाधीश के रूप में अधिवक्ता लक्ष्मण चंद्रा विक्टोरिया गौरी की पदोन्नति का प्रस्ताव दिया था।
मद्रास उच्च न्यायालय के वकीलों के एक समूह ने गौरी की प्रस्तावित नियुक्ति का विरोध किया, जब गौरी के भाजपा से जुड़े होने और 'लव जेहाद' और अवैध धर्मांतरण सहित मुसलमानों और ईसाइयों के बारे में कुछ कथित बयान सामने आए। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 7 फरवरी । पूर्व भारतीय खिलाड़ी वेंकटेश प्रसाद ने पाकिस्तानी क्रिकेट टीम के पूर्व खिलाड़ी जावेद मियांदाद के उस बयान पर पलटवार किया है, जिसमें उन्होंने कहा था कि टीम इंडिया भाड़ में जाए.
जावेद मियांदाद ने एक सार्वजनिक कार्यक्रम में कहा था कि ‘टीम इंडिया अगर क्रिकेट खेलने के लिए पाकिस्तान नहीं आना चाहती तो वह भाड़ में जा सकती है. पाकिस्तान क्रिकेट को ज़िंदा रहने के लिए भारत की ज़रूरत नहीं है.’
इस पर वेंकटेश प्रसाद ने ट्वीट करके कहा है कि ‘लेकिन वो लोग भाड़ में जाना ही नहीं चाहते.’
भारत और पाकिस्तान के बीच एशिया कप की मेज़बानी को लेकर तनातनी चल रही है. मामला उस समय शुरू हुआ था जब एशियाई क्रिकेट परिषद के प्रमुख जय शाह ने एशिया कप की मेज़बानी को लेकर टिप्पणी की थी.
माना जा रहा है कि भारतीय क्रिकेट टीम एशिया कप खेलने पाकिस्तान नहीं जाएगी. इसी को लेकर पीसीबी के पूर्व प्रमुख रमीज राजा ने यहाँ तक कह दिया था कि अगर भारत की टीम पाकिस्तान नहीं आई, तो पाकिस्तान भी वर्ल्ड कप खेलने भारत नहीं जाएगा.
इस मामले को लेकर बयानबाज़ी का दौर जारी है. लेकिन अभी तक आधिकारिक रूप से इस पर कुछ नहीं हुआ है. (bbc.com/hindi)
असम में बाल विवाह करने और कराने वालों के खिलाफ बिना किसी पूर्व चेतावनी की ओर से सरकार की ओर से शुरू किए गए व्यापक अभियान और इसके तहत हजारों लोगों की गिरफ्तारियों पर विवाद लगातार तेज हो रहा है.
डॉयचे वैले पर प्रभाकर मणि तिवारी की रिपोर्ट-
रविवार को असम में एक महिला के अपने पिता की गिरफ्तारी के डर से कथित रूप से आत्महत्या करने की खबर आई. एक अन्य महिला ने धमकी दी कि वह भी खुदकुशी कर लेगी. ये महिलाएंबाल विवाह के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान में अपने-अपने घर के पुरुषों की गिरफ्तारी के खिलाफ प्रदर्शन कर रही हैं.
ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहाद-उल-मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने इन गिरफ्तारियों पर असम सरकार पर निशाना साधा है. ऑल इंडिया युनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (एआईयूडीएफ) के मौलाना बदरुद्दीन अजमल ने भी राज्य सरकार के इस फैसले पर सवाल उठाए हैं. उनकी पार्टी के विधायक अमीनुल इस्लाम ने इस कार्रवाई को महज बजट की खामियों और अडानी के मुद्दे से ध्यान भटकाने की कोशिश बताया है.
केंद्र सरकार के आंकड़ों के मुताबिक, वर्ष 2018-20 के दौरान असम में मातृ मृत्यु दर सबसे अधिक रही और एक लाख शिशुओं को जन्म देने के दौरान 195 प्रसूताओं की मौत हो गई. नवजातों की मौत के मामले में असम देश में तीसरे स्थान पर है. असम सरकार का कहना है कि राज्य में बाल विवाह के कारण ही मातृ और शिशु मुत्यु दर बढ़ रही है.
चार हजार से ज्यादा मामले
असम में बाल विवाह के आरोप में चार हजार से ज्यादा मामले दर्ज किए गए हैं. असम के पुलिस महानिदेशक जीपी सिंह बताते हैं, "अब तक दो हजार से ज्यादा लोगों को गिरफ्तार किया गया है. पुलिस के पास आठ हजार अभियुक्तों की सूची है और यह अभियान जारी रहेगा. इसके तहत वर और उसके परिजनों के अलावा पंडितों और मौलवियों को भी गिरफ्तार किया जा रहा है." पुलिस के मुताबिक, अब तक सबसे ज्यादा गिरफ्तारियां धुबड़ी, कोकराझार, बरपेटा और विश्वनाथ जिलों में हुई हैं.
असम सरकार ने बीती 23 जनवरी को बाल विवाह के खिलाफ कार्रवाई का फैसला किया था. इसके तहत बाल विवाह के दोषियों को गिरफ्तार करने के साथ ही व्यापक जागरूकता अभियान भी चलाने की बात कही गई थी.
असम पुलिस 14 साल से कम उम्र की लड़कियों से विवाह करने वालों के खिलाफ पॉक्सो कानून के तहत मामला दर्ज कर रही है. इसके अलावा 14 से 18 साल तक की लड़कियों से विवाह करने वालों के खिलाफ बाल विवाह रोकथाम अधिनियम, 2006 के तहत मामला दर्ज किया गया है.
महिलाओं का विरोध
बीते सप्ताह के आखिर में पुलिस अभियान शुरू होने के बाद खासकर बांग्लादेश से सटे मुस्लिम बहुल धुबड़ी जिले में गिरफ्तारियों के विरोध में सैकड़ों महिलाएं सड़क पर उतर आई हैं. उन्होंने इलाके के तमारहाट पुलिस स्टेशन के सामने प्रदर्शन किया और पुलिस के साथ धक्का-मुक्की की. इन महिलाओं ने कुछ देर के लिए हाईवे पर वाहनों की आवाजाही भी ठप कर दी थी. भीड़ को तितर-बितर करने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज करना पड़ा. महिलाओं की मांग थी कि बाल विवाह के आरोप में गिरफ्तार उनके पतियों और पुत्रों की तत्काल रिहा किया जाए.
धुबड़ी की पुलिस अधीक्षक अपर्णा एन. ने पत्रकारों को बताया कि महिलाओं के साथ झड़प में सीआरपीएफ का एक जवान घायल हो गया लेकिन अब परिस्थिति नियंत्रण में है.
इस बीच एक महिला सीमा खातून ने शनिवार को कथित तौर पर आत्महत्या कर ली. परिजनों के मुताबिक, उसे डर था कि उसके पिता भी गिरफ्तार हो जाएंगे क्योंकि उन्होंने उसकी शादी भी कम उम्र में की थी. उसके दो बच्चे हैं और पति की मौत हो चुकी है. इसके अलावा एक और महिला ने पुलिस स्टेशन जाकर धमकी दी है कि उनके पिता और पति को नहीं छोड़ा गया तो वो भी खुदकुशी कर लेगी.
प्रदर्शनकारी महिलाओं का आरोप है कि परिजनों की गिरफ्तारी के कारण उन्हें आर्थिक समस्याओं से जूझना पड़ रहा है. कोकराझार जिले की एक महिला एम. बसुमतारी का सवाल था, "आखिर पुरुषों को क्यों गिरफ्तार क्यों किया जा रहा है? घर के कमाऊ सदस्यों के जेल जाने के बाद परिवार का गुजारा कैसे होगा? मेरे पास आय का कोई दूसरा साधन नहीं है.” एक अन्य महिला सबीना खातून का कहना कि उनका बेटा एक एक नाबालिग लड़की के साथ भाग गया था. गलती उसने की लेकिन मेरे पति को क्यों गिरफ्तार किया गया?" एक अन्य महिला नसीमा बानो बताती हैं, "शादी के समय मेरी बहू 17 वर्ष की थी. अब वह 19 वर्ष की है और पांच महीने की गर्भवती है. बेटे के जेल जाने के बाद उसकी देखभाल कौन करेगा?''
सियासत तेज
अब इस मुद्दे पर सियासत भी लगातार तेज हो रही है. एआईएमआईएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने सरकार के फैसले का विरोध करते हुए बीजेपी सरकार को मुस्लिम-विरोधी बताया है. उन्होंने गिरफ्तारियों पर सवाल उठाते हुए कहा है कि सरकार लड़कों को जेल भेज देगी तो लड़कियों का क्या होगा? उनकी देखभाल कौन करेगा?
ऑल इंडिया युनाइटेड डेमोक्रेटिक फ्रंट (एआईयूडीएफ) प्रमुख मौलाना बदरुद्दीन अजमल ने भी बाल विवाह के खिलाफ कार्रवाई पर सवाल उठाते हुए बीजेपी सरकार पर लोगों को धर्म के आधार पर बांटने का आरोप लगाया है. उन्होंने पुलिस की कार्रवाई को मुस्लिम विरोधी बताते हुए कहा कि गिरफ्तार किए गए लोगों में 80 फीसदी मुस्लिम ही होंगे. उन्होंने मुख्यमंत्री पर जानबूझकर मुस्लिमों को परेशान करने का आरोप लगाया है. अजमल का कहना था कि सरकार को पहले पूरे राज्य में 30-40 दिनों तक जागरूकता अभियान चलाना चाहिए था.
एआईयूडीएफ विधायक अमीनुल इस्लाम ने कार्रवाई पर सवाल उठाते हुए कहा है कि यह अडानी के मुद्दे से ध्यान भटकाने की कोशिश है. वह कहते हैं, "एआईयूडीएफ बाल विवाह के खिलाफ है लेकिन सरकार जागरूकता फैलाने और साक्षरता दर बढ़ाने पर ध्यान नहीं दे रही है. बाल विवाह के नाम पर लोगों को जेल भेजना उचित नहीं है.”
लेकिन इन आलोचनाओं पर ध्यान दिए बिना मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा ने कहा है कि बाल विवाह के खिलाफ अभियान लगातार जारी रहेगा और अभी हजारों लोगों की गिरफ्तारियां होंगी. (dw.com)
नई दिल्ली, 6 फरवरी | सुप्रीम कोर्ट को सोमवार को पांच नए न्यायाधीश मिल गए। भारत के मुख्य न्यायाधीश डी.वाई. चंद्रचूड़ ने जस्टिस पंकज मिथल, संजय करोल, पी.वी. संजय कुमार, अहसानुद्दीन अमानुल्लाह और मनोज मिश्रा सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश के रूप में शपथ दिलाई। इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट में स्वीकृत 34 न्यायाधीशों के मुकाबले अब इनकी संख्या बढ़कर 32 हो गई। शपथ ग्रहण समारोह में सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीशों, वकीलों और नए न्यायाधीशों के परिजनों के सदस्यों ने भाग लिया।
न्यायाधीशों की नियुक्ति को लेकर केंद्र और न्यायपालिका के बीच लंबे समय से चली आ रही खींचतान के बीच केंद्र ने शनिवार को सुप्रीम कोर्ट में नियुक्ति के लिए पांच न्यायाधीशों के नामों को हरी झंडी दे दी।
हाल ही में कानून मंत्री किरेन रिजिजू सहित कई संवैधानिक पदाधिकारियों ने न्यायाधीशों की नियुक्ति के लिए कॉलेजियम प्रणाली पर सवाल उठाया है।
शुक्रवार को अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणी ने जस्टिस संजय किशन कौल और अभय एस ओका की पीठ को सूचित किया था कि पांच न्यायाधीशों के नामों को बहुत जल्द मंजूरी दे दी जाएगी।
सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने कॉलेजियम द्वारा अनुशंसित उच्च न्यायालय के न्यायाधीशों के तबादले को मंजूरी देने में देरी पर केंद्र को चेतावनी देते हुए कहा था कि इसके परिणामस्वरूप प्रशासनिक और न्यायिक दोनों तरह की कार्रवाई हो सकती है, जो कि सुखद नहीं हो सकती है। (आईएएनएस)|
लखनऊ, 6 फरवरी | उत्तर प्रदेश की राजधानी के मोहनलालगंज इलाके में 24 वर्षीय दिलीप कुमार की मौत के बाद चार लड़कियों पर आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज किया गया है। बिजनौर थाना क्षेत्र के परवार पश्चिम मोहल्ले के दिलीप कुमार शनिवार को तेलीबाग स्थित अपने घर से किसी काम से निकले थे और बाद में मोहनलालगंज के उत्तरगांव में नहर के किनारे एक पेड़ से लटके मिले थे।
घटना का पता तब चला जब कुछ यात्री घटनास्थल के पास से गुजरे और देखा कि एक व्यक्ति का शव पेड़ से लटका हुआ है।
मृतक के पास से एक मोबाइल फोन और एक सुसाइड नोट मिला है। बाद में पुलिस ने मृतक के मोबाइल नंबर से परिजनों से संपर्क किया। मृतक की इसी माह के अंत में शादी होने वाली थी।
मृतक के पिता भंडारी लाल ने अपनी एफआईआर में कहा है कि दिलीप कुमार वृंदावन कॉलोनी में एक सीमा (बदला हुआ नाम) के नेतृत्व वाली लड़कियों के जाल में फंस गया था।
उन्होंने कहा, सीमा और उसकी सहेलियां भोले-भाले लोगों को फंसाती थी। दिलीप भी पीड़ितों में से एक था। जब उन्हें पता चला कि वह शादी करने जा रहा है, तो उन्होंने उसे डराने के लिए अपने गुर्गों को भेजा और बलात्कार के मामले में फंसाने की धमकी दी।
उन्होंने कहा, दिलीप घबरा गया क्योंकि उसे लगा कि बलात्कार का मामला उसे और उसके परिवार को बदनाम करेगा। इसके बाद उसने फांसी लगाकर अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली।
साउथ जोन के एडिशनल डीसीपी मनीषा सिंह ने कहा कि मामले की जांच की जा रही है और मामले के सभी पहलुओं पर गौर किया जाएगा। (आईएएनएस)|
बेंगलुरू, 6 फरवरी | प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सोमवार को 36 दिनों की अवधि में तीसरी बार चुनावी राज्य कर्नाटक का दौरा करेंगे। इस दौरान वह एक दिवसीय दौरे पर बेंगलुरु में बेंगलुरु अंतर्राष्ट्रीय प्रदर्शनी केंद्र (बीआईईसी) में आयोजित भारत ऊर्जा सप्ताह का उद्घाटन करेंगे। फरवरी में अपनी पहली यात्रा पर, वह तुमकुरु के गुब्बी तालुक में एचएएल हेलीकॉप्टर फैक्ट्री का भी उद्घाटन करेंगे। 615 एकड़ भूमि में फैली इस निर्माण सुविधा को लाइट यूटिलिटी हेलीकॉप्टर (एलयूएच) और इंडियन मल्टीरोल हेलीकॉप्टर (आईएमआरएच) की भारत की सबसे बड़ी विनिर्माण सुविधा के रूप में जाना जाता है। घटना के बाद वह एक सभा को भी संबोधित करेंगे। पीएम मोदी ने 2016 में इस यूनिट का शिलान्यास किया था।
प्रधानमंत्री चेन्नई-बेंगलुरु औद्योगिक कॉरिडोर पर एक औद्योगिक नोड, तुमकुरु औद्योगिक टाउनशिप की आधारशिला भी रखेंगे। यह परियोजना 90,000 से अधिक लोगों के लिए रोजगार पैदा करने के लिए तैयार है। यह 1,722 एकड़ में फैला हुआ है और 1,701 करोड़ रुपये की लागत से कार्यान्वित किया जा रहा है।
इसके अलावा, पीएम मोदी तुमकुरु में जल जीवन मिशन के तहत बहु-ग्राम जल आपूर्ति योजनाओं का उद्घाटन करेंगे, जो क्रमश: 435 करोड़ रुपये और 115 करोड़ रुपये की लागत से हेमावती नदी से 1.86 लाख लोगों के लिए उपचारित पानी उपलब्ध कराएगी।
कर्नाटक में दो महीने में चुनाव होने वाले हैं। 27 फरवरी को शिवमोग्गा हवाई अड्डे का उद्घाटन करने के लिए उनकी यात्रा की पुष्टि पहले ही हो चुकी है। पीएम मोदी 13 से 17 फरवरी के बीच आयोजित होने वाले एयरो इंडिया शो का उद्घाटन करने के लिए बेंगलुरु भी आएंगे।
बीजेपी के अंदरूनी सूत्रों का कहना है कि पीएम मोदी विपक्षी दलों की आलोचना करने के बजाय राज्य और केंद्र में डबल इंजन सरकार के विकास और योगदान को उजागर कर रहे हैं।
विपक्षी पार्टियां बीजेपी को निशाने पर ले रही हैं और पूर्व सीएम एचडी कुमारस्वामी ने यह कहकर विवाद खड़ा कर दिया है कि बीजेपी कर्नाटक में एक ब्राह्मण उम्मीदवार को सीएम बनाने की साजिश कर रही है। अब देखना होगा कि पीएम मोदी विपक्षी दलों के हमलों पर कोई टिप्पणी करते हैं या नहीं। (आईएएनएस)|
मेरठ (उत्तर प्रदेश), 6 फरवरी | मामी और भांजे के बीच अवैध संबंधों में बाधा बने मामा की गोली मारकर हत्या कर दी गई। एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि मृतक संदीप डाहर गांव का रहने वाला था। गुरुवार को वह अचानक लापता हो गया। इसके बाद उसके परिजनों ने शिकायत दर्ज कराई।
शक के आधार पर पुलिस ने उसकी 28 वर्षीय पत्नी प्रीति से पूछताछ की, तो उसने जुर्म कबूल कर लिया।
पुलिस के मुताबिक प्रीति ने खुलासा किया कि वह 20 साल के अपने भांजे जॉनी के साथ रिश्ते में थी और उन्होंने पति संदीप से छुटकारा पाने की योजना बनाई।
इसके बाद पुलिस ने मौका-ए-वारदात पर पहुंचकर शव को बरामद किया। बाद में पोस्टमॉर्टम के बाद शव परिजनों को सौंप दिया गया।
पुलिस अधीक्षक अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि मृतक के परिजनों द्वारा शिकायत के आधार पर उनके खिलाफ धारा 302 (हत्या) के तहत मामला दर्ज किया गया था।
उन्होंने कहा कि दोनों आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है और जांच जारी है। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 6 फरवरी | कांग्रेस सांसद मनीष तिवारी ने सोमवार को भारतीय क्षेत्र में चीनी अतिक्रमण पर चर्चा के लिए लोकसभा में स्थगन नोटिस पेश किया। मैं एक निश्चित मामले पर चर्चा करने के उद्देश्य से सदन के कार्य को स्थगित करने के लिए एक प्रस्ताव पेश करने की अनुमति मांगता हूं कि यह सदन चीन के साथ सीमा की स्थिति पर विस्तृत चर्चा करने के लिए शून्यकाल और दिन के अन्य कामकाज को निलंबित करें।
नोटिस में उन्होंने कहा, अप्रैल 2020 से चीन लगातार जमीन हड़पने में लगा हुआ है। 16 जनवरी 2023 तक भारत और चीन के बीच कमांडर स्तर की 17 दौर की वार्ता हो चुकी है, जिसमें बहुत कम सफलता मिली है। इस दौरान चीन अपने सैनिकों के लिए पुलों, सड़कों और आवास सहित महत्वपूर्ण बुनियादी ढांचे का निर्माण करना जारी रख रहा है। चीन एकतरफा तरीके से यथास्थिति को बदलने की कोशिश कर रहा है।
अरुणाचल प्रदेश के तवांग सेक्टर में हुई झड़पें सीमा पर यथास्थिति को बदलने के उद्देश्य से चीन की लगातार आक्रामकता का एक और संकेत हैं। इस तरह की आक्रामकता अब क्षेत्रीय दायरे तक सीमित नहीं है, जैसा कि पिछले संघर्षों में लगभग 2000 किलोमीटर दूर अरुणाचल प्रदेश में हुई झड़पों से स्पष्ट है।
उन्होंने कहा कि इस बात को लेकर चिंता बढ़ रही है कि चीन यथास्थिति बहाल करने को तैयार नहीं है, ऐसी स्थिति जो भारत को भारी नुकसान में डालती है।
इसके बावजूद, 2020 में सैन्य टकराव शुरू होने के बाद से हमारे साथ चीन का बड़ा व्यापार अधिशेष बढ़ना जारी है।
भारत का व्यापार घाटा 2021 के 69.38 अरब डॉलर के आंकड़े को पार करते हुए 101.02 अरब डॉलर रहा।
मैं सरकार से आग्रह करता हूं कि वह इस मामले को पूरी गंभीरता से ले और चीन के साथ सीमा की स्थिति के संबंध में संसद में विस्तृत चर्चा करे। (आईएएनएस)|
लखनऊ, 6 फरवरी | समाजवादी पार्टी (सपा) के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने भाजपा से रामचरितमानस की चौपाइयों को समझाने की मांग की है। उन्होंने कहा कि अगर उन्हें समझा दिया जाए, तो वे सवाल पूछना बंद कर देंगे। अखिलेश ने कहा कि उन्हें रामचरितमानस से कोई दिक्कत नहीं है ''लेकिन जो गलत है वो गलत है।'' उन्होंने कहा, वे (भाजपा) 'धार्मिक वैज्ञानिक' हैं और सब कुछ जानते हैं, इसलिए उन्हें हमें समझाना चाहिए।
सपा के वरिष्ठ नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने पिछले महीने एक बयान देकर प्राचीन ग्रंथ रामचरितमानस पर एक विवाद खड़ा कर दिया था। उन्होंने कहा था कि कवि-संत तुलसीदास ने महाकाव्य के कुछ छंदों में पिछड़ों, दलितों और महिलाओं के लिए अपमानजनक संदर्भों का इस्तेमाल किया था।
अखिलेश ने कहा, मैं हर दिन सुबह कम से कम एक घंटे भजन सुनता हूं। समाजवादी भगवान विष्णु के सभी अवतारों को मानते हैं। लेकिन अगर विपक्ष कुछ सवाल उठा रहा है, तो मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को उनका जवाब देना चाहिए।
सपा प्रमुख ने कर्ण (महाभारत के एक योद्धा) के बारे में भी बात की, जो एक शूद्र परिवार में पले-बढ़े थे।
अखिलेश ने कहा, शूद्र होने के कारण उन्हें भी अपमान का सामना करना पड़ा और जिन लोगों ने समाज को जातियों में विभाजित किया, वे जातिगत जनगणना नहीं चाहते हैं। यदि वे लोग जातिगत जनगणना करवाते हैं, तो वे सत्ता से बाहर हो जाएंगे। अगर हम सत्ता में आए तो प्रदेश में तीन महीने में जातिगत जनगणना कराएंगे।'
अखिलेश ने आगे कहा, जाति व्यवस्था 5,000 साल पुरानी समस्या है, यह एक दिन में दूर नहीं होगी। यदि आप महाभारत पढ़ते हैं, तो आपको पता चलेगा कि कर्ण को क्या-क्या सहना पड़ा। यह भी पढ़ें कि प्रख्यात कवि रामधारी सिंह दिनकर ने कर्ण के बारे में क्या लिखा है। उन्होंने लिखा है कि शूद्र होने के कारण कर्ण को कष्ट उठाना पड़ा।'
अखिलेश ने आरोप लगाया कि भाजपा नहीं चाहती कि समाज जाति व्यवस्था से मुक्त हो।
उन्होंने कहा, ये लोग नहीं चाहते कि पिछड़ों और दलितों को संविधान द्वारा दिए गए अधिकार प्राप्त हों। जातिगत जनगणना के बाद ही ये जाति के सदस्य नौकरियों में आरक्षण के माध्यम से अपने अधिकारों को प्राप्त कर सकेंगे।
उन्होंने आगे कहा, समाजवादियों ने कभी किसी का अपमान नहीं किया, उन्होंने सभी को स्वीकार किया। हम सभी शास्त्रों का सम्मान करते हैं। कुछ चीजें हमने प्रधानमंत्री के लिए छोड़ दी हैं। भाजपा वाले 'धार्मिक वैज्ञानिक' हैं, उन्हें समझाने दीजिए (रामचरितमानस के छंद), हम सवाल पूछना बंद कर देंगे। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 6 फरवरी | अडानी ग्रुप पर वित्तीय फ्रॉड के आरोपों को लेकर कांग्रेस पार्टी ने मोर्चा खोलते हुए सोमवार को सड़क से लेकर संसद तक प्रदर्शन करने का ऐलान किया है। एक ओर जहां संसद परिसर में कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे समेत तमाम वरिष्ठ नेताओं ने गांधी प्रतिमा के पास प्रदर्शन किया, वहीं दूसरी ओर पार्टी की यूथ विंग, भारतीय युवा कांग्रेस अडानी समूह में एलआईसी और एसबीआई जैसे सरकारी संस्थानों के बेहद जोखिम भरे लेनदेन और निवेश के खिलाफ दिल्ली के जंतर-मंतर पर विरोध प्रदर्शन करेगी।
इसके साथ ही इस मौके को बिना गंवाए कांग्रेस सोमवार को पूरे देश में एसबीआई और एलआईसी ऑफिस के बाहर प्रदर्शन करने का निर्णय लिया है। इसके अलावा पार्टी की युवा इकाई भी दिल्ली के एसबीआई शाखाओं के बाहर विरोध प्रदर्शन करेगी।
एक दिन पहले ही कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल ने ऐलान किया था कि कांग्रेस पार्टी 6 फरवरी को पूरे देश में एसबीआई और एलआईसी के कार्यालयों के बाहर प्रदर्शन करेगी।
दरअसल कांग्रेस का कहना है कि गड़बड़ी की वजह से अडानी ग्रुप के शेयरों में जो गिरावट आई है उसका असर आम आदमी पर पड़ेगा। क्योंकि एसबीआई और एलआईसी ने भी इसमें निवेश कर रखा है।
वहीं कांग्रेस समेत तामाम वीपक्षी दलों का कहना है कि अडानी ग्रुप के मुद्दे पर बात करने के लिए संसद में उन्हें एक मिनट का भी समय नहीं दिया गया। सरकार जान बूझ कर इस मुद्दे पर चुप है।
विपक्ष मोदी सरकार से इस बारे में जवाब चाहता है। वहीं कई सांसदों ने संसद में कार्य निलंबन प्रस्ताव रखकर इस मुद्दे पर अलग से चर्चा की मांग की है। इससे पहले कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी लंबे समय से अडानी ग्रुप को लेकर मोदी सरकार पर भी तरह-तरह के आरोप लगाते रहे हैं। (आईएएनएस)|
सैन फ्रांसिस्को, 6 फरवरी | ट्विटर के सीईओ एलन मस्क ने सोमवार को कहा कि माइक्रो-ब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म ने यूजर्स को यह ट्वीट अनुपलब्ध है दिखाने वाले बग को ठीक कर दिया है। एक यूजर ने ट्वीट किया: हम फीड में ज्यादा से ज्यादा ट्वीट्स पर 'यह ट्वीट अनुपलब्ध है' देख रहे हैं, लेकिन जब उस पर क्लिक करते हैं, तो ट्वीट दिखाई देता है।
इसपर मस्क ने जवाब दिया: हमें लगता है कि हमने आज इस बग को ठीक कर दिया है।
मस्क के पोस्ट पर कई यूजर्स ने बग से जुड़ा अपना स्टेटस शेयर किया।
एक यूजर ने कहा, यह एक पुराना, 'कंसर्वेटिव बग' है, जो एआई को पसंद नहीं, आने वाले ट्वीट्स को गायब कर देता है। सालों पहले यह रेगुलर चीज थी।
पिछले साल दिसंबर में, भारत समेत दुनिया भर में ट्विटर डाउन हो गया था, मस्क ने कहा कि माइक्रो-ब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म को रफ्तार देने के लिए बैकएंड बदलावों के चलते आउटेज हो गया था।
कुछ यूजर्स के टाइमलाइन्स रिफ्रेश नहीं हुई और कई अकाउंट्स को गैर-मौजूद के रूप में दिखाया गया।
साथ ही, प्लेटफॉर्म ने कई यूजर्स को एरर मैसेज दिखाए, कुछ गलत हो गया, लेकिन चिंता न करें यह आपकी गलती नहीं है। फिर से प्रयास करें। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 6 फरवरी | हिंडनबर्ग और अडानी समूह की जांच के मसले पर सोमवार को भी सदन में विपक्षी दलों का हंगामा जारी रहा। अडानी मसले पर हंगामे और नारेबाजी के कारण लोक सभा की कार्यवाही को दोपहर बाद 2 बजे तक के लिए स्थगित करना पड़ा। सोमवार को विपक्षी सांसदों के हंगामे और नारेबाजी के बीच लोक सभा अध्यक्ष बिरला ने प्रश्नकाल की कार्यवाही चलाने की कोशिश की। उन्होंने विपक्षी सांसदों से उनके चैंबर में आकर चर्चा करने की अपील करते हुए कहा कि सदन के वेल में आकर नियोजित तरीके से सदन स्थगित करवाना सही नहीं है। सदन की गरिमा और मर्यादा का ध्यान रखने की अपील करते हुए बिरला ने तल्ख शब्दों में पूछा कि क्या जनता ने उन्हें हंगामा और नारेबाजी करने के लिए सदन में भेजा है। लेकिन विपक्षी सांसद स्पीकर की अपील को अनसुना करते हुए अपनी मांग पर अड़े रहे। हंगामा लगातार जारी रहा, विपक्षी सांसद लगातार नारेबाजी कर रहे थे, इसे देखते हुए लोक सभा अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही को दोपहर बाद 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया।
आपको बता दें कि, सोमवार को दोनों सदनों की कार्यवाही शुरू होने से पहले कांग्रेस, डीएमके, सपा, जेडीयू, बीआरएस, एनसीपी, आरजेडी, सीपीआई और सीपीएम सहित कई अन्य विपक्षी दलों ने बैठक कर दोनों सदनों में सरकार को घेरने की रणनीति तैयार की थी।
इसके बाद सदन की कार्यवाही शुरू होने से पहले ही विपक्षी दलों ने संसद भवन परिसर में गांधी मूर्ति के पास सरकार के रवैये के खिलाफ धरना प्रदर्शन करते हुए हिंडनबर्ग और अडानी समूह की जांच के लिए जेपीसी का गठन करने या फिर सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में जांच करवाने की मांग की।
पिछले सप्ताह, गुरुवार और शुक्रवार को भी अडानी के मसले पर हुए विपक्षी दलों के हंगामे के कारण सदन में कोई कामकाज नहीं हो पाया था। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 6 फरवरी । केरल में नशीले पदार्थों का उपभोग राज्य सरकार के लिए एक बड़ी समस्या बनकर उभर रहा है.
इंडियन एक्सप्रेस में प्रकाशित ख़बर के मुताबिक़, साल 2022 में केरल पुलिस ने एनडीपीएस क़ानून के तहत 26,629 मामले दर्ज किए जो 2016 की तुलना में तीन सौ फीसद ज़्यादा है.
इसके साथ ही 2019 की तुलना में ये आंकड़ा 188 फ़ीसद है.
केरल के एक्साइज़ डिपार्टमेंट के आंकड़ों के विश्लेषण से ये सामने आया है कि साल 2016 से 2022 के बीच एनडीपीएस एक्ट के तहत गिरफ़्तारियों में 87.47 फ़ीसद की बढ़त दर्ज की गई है. (bbc.com/hindi)
नई दिल्ली, 6 फरवरी | दिल्ली नगर निगम के मेयर, डिप्टी मेयर और स्टैंडिंग कमेटी के सदस्यों का चुनाव एमसीडी के सिविक सेंटर में कड़ी सुरक्षा के बीच हो रहा है। एमसीडी सदन की पिछली दो बैठकों में आप और बीजेपी पार्षदों के बीच जबरदस्त हंगामा हुआ था। सोमवार की बैठक में किसी प्रकार का हंगामा ना हो, उसके मद्देनजर एमसीडी सदन के अंदर और सिविक सेंटर परिसर में भारी सुरक्षा बल तैनात किया गया है। गौरतलब है कि दिल्ली के सिविक सेंटर स्थित एमसीडी सदन में दिल्ली मेयर, डिप्टी मेयर और स्टैंडिंग कमेटी के सदस्यों का चुनाव है। रविवार को आम आदमी पार्टी के सभी पार्षदों ने प्रोटेम स्पीकर सत्य शर्मा को पत्र लिखकर मनोनीत पार्षदों को वोटिंग राइट नहीं देने की अपील भी की थी। मनोनीत पार्षदों के वोटिंग राइट्स को लेकर आज भी एमसीडी सदन में हंगामा होने की आशंका है। इसी हंगामे की आशंका के मद्देनजर एमसीडी सदन और सिविक सेंटर परिसर में भारी पुलिस फोर्स और सुरक्षाबलों को तैनात किया गया है।
आपको बता दें कि इससे पहले 6 और 24 जनवरी को हुई एमसीडी की बैठक में हंगामे के चलते मेयर का चुनाव नहीं हो पाया था। 24 जनवरी को सभी पार्षदों ने शपथ ले ली थी। लेकिन उसके बाद एमसीडी सदन में आप और बीजेपी के पार्षदों के बीच हंगामा हो गया था।
आम आदमी पार्टी के सभी 135 पार्षद कल पीठासीन अधिकारी सत्य शर्मा को एक पत्र लिख चुके हैं। पत्र में आप पार्टी के सभी पार्षदों ने आज होने वाले मेयर, डिप्टी मेयर और स्टैंडिंग कमेटी के सदस्यों के चुनाव में मनोनीत पार्षदों को वोटिंग से प्रतिबंधित करने की मांग की थी। (आईएएनएस)|
पेशावर, 6 फरवरी | पाकिस्तान के खैबर पख्तूनख्वा प्रांत के विभिन्न शहरों में तीसरे दिन भी हजारों लोग सड़कों पर उतरे। उन्होंने पिछले महीने पेशावर में एक मस्जिद में हुए बम विस्फोट और उग्रवाद के उदय की निंदा की। डॉन न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, उलसी पासून (सार्वजनिक विद्रोह) के नारे के तहत मोहमंद, मलकंद, लक्की मरवत और अन्य क्षेत्रों में शांति रैलियां आयोजित की गईं।
मोहमंद रैली में भाग लेने वाले प्रमुख लीडरों में पश्तून तहफ्फुज मूवमेंट (पीटीएम) के लीडर मंजूर पश्तीन और अवामी नेशनल पार्टी के प्रांतीय महासचिव सरदार हुसैन बाबाक शामिल थे।
डॉन की रिपोर्ट के अनुसार, शांति मार्च करने वालों में ज्यादातर युवा थे, जो सफेद झंडे, तख्तियां और बैनर लिए हुए थे और सरकार से उग्रवाद को खत्म करने और स्थायी शांति सुनिश्चित करने की मांग कर रहे थे।
इस मौके पर किसी तरह की अप्रिय घटना न हो इसके लिए भारी संख्या में पुलिस बल तैनात किया गया था।
रैली को संबोधित करते हुए पीटीएम लीडर मंजूर पश्तीन ने कहा कि उग्रवाद और बिगड़ती कानून व्यवस्था की स्थिति ने बच्चों, महिलाओं, वरिष्ठ नागरिकों और आदिवासी बुजुर्गो सहित समाज के हर वर्ग को प्रभावित किया है।
उन्होंने कहा, "पख्तून क्षेत्र में थोपे गए युद्ध के दौरान हर राजनीतिक दल के कार्यकर्ताओं ने अपने प्राणों की आहुति दी है।"
डॉन की रिपोर्ट के मुताबिक, उन्होंने कहा कि पख्तूनों को एक साजिश के तहत बांटा गया था और उन्होंने अपने समुदाय के व्यापक हित में एकता दिखाने का आग्रह किया।
उन्होंने कहा, "केवल मोहमंद जनजातीय जिले के मोमंद गाट इलाके में ही कम से कम तीन दर्जन लोग मारे गए हैं।"
पीटीएम लीडर ने बुजुर्गो, मलिकों और धार्मिक विद्वानों से लापता व्यक्तियों का पता लगाने के लिए आवाज उठाने में एकता दिखाने का आग्रह किया। (आईएएनएस)|
लॉस एंजेलिस, 6 फरवरी | ग्रैमी अवार्डस के 65वें एडिशन में मशहूर पॉप सिंगर बेयॉन्से ने अपने सॉन्ग 'ब्रेक माय सोल' के लिए बेस्ट डांस/इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्डिग का खिताब अपने नाम किया। इसके अलावा, 'प्लास्टिक ऑफ द सोफा' सॉन्ग के लिए बेस्ट ट्रेडिशनल आर एंड बी परफॉर्मेस के लिए भी पुरस्कार जीता। दोनों गाने उनके 2022 के एल्बम 'रेनेसेन्स' के हैं। बियॉन्से पुरस्कार लेने के समारोह में मौजूद नहीं थीं। उनके इस सम्मान को प्रेजेंटर ने स्वीकार किया।
'रेनेसेन्स' 29 जुलाई, 2022 को रिलीज हुआ था, यह बेयॉन्से का सातवां स्टूडियो एल्बम है। लेमोनेड के बाद से यह उनका पहला सोलो स्टूडियो रिलीज है और यह एक ट्रायोलॉजी प्रोजेक्ट की पहली इंस्टॉलमेंट भी है।
बेयॉन्से ने नोवा वाव, द-ड्रीम, सिंबॉलिक वन, एजी कुक, हनी डिजन, बीम, ट्रिकी स्टीवर्ट, ब्लडपॉप, स्क्रीलेक्स, हिट-बॉय और पी2जे बीम के साथ लिखा और एल्बम को प्रोड्यूस भी किया। एल्बम में बीम, ग्रेस जोन्स और टेम्स गेस्ट वोकलिस्ट के रूप में हैं।
इसके रिलीज होने पर, 'रेनेसेन्स' ने 2022 में स्पॉटिफाई पर एक महिला कलाकार द्वारा एल्बम के लिए सबसे ज्यादा सिंगल-डे स्ट्रीम का रिकॉर्ड बनाया, जिसमें 43 मिलियन से अधिक स्ट्रीम्स थीं, जिसे बाद में टेलर स्विफ्ट की 'मिडनाइट्स' ने पार कर लिया। (आईएएनएस)|
नई दिल्ली, 6 फरवरी । केंद्र सरकार ने सट्टेबाज़ी, जुए और अवैध ऋण उपलब्ध कराने वाली 232 एप्स को प्रतिबंधित किया है. इनमें से कई एप्स चीनी कंपनियों से जुड़ी बताई जा रही हैं.
अंग्रेजी अख़बार द टाइम्स ऑफ़ इंडिया में प्रकाशित ख़बर के मुताबिक़, इस मामले से जुड़े सूत्रों ने बताया है कि आईटी मंत्रालय ने ये कदम गृह मंत्रालय की सिफ़ारिश पर उठाया है.
सूत्र ने अख़बार को बताया है कि "बीती शाम बैटिंग, गैंबलिंग और मनी लॉन्ड्रिंग जैसी सेवाएं उपलब्ध कराने वाली 138 एप्स को ब्लॉक करने का आदेश आया था. इसके साथ ही अवैध ढंग से लोन देने वाली 94 एप्स को भी प्रतिबंधित करने का आदेश भी आया है. इनमें से कई एप्स विदेशी फर्मों की ओर से चलाई जा रही थीं जिनमें चीनी कंपनियां भी शामिल हैं. ये एप्स भारत की आर्थिक स्थिरता के लिए जोखिम पेश कर रही थीं."
इन एप्स के ख़िलाफ़ आईटी एक्ट की धारा 69ए के तहत कदम उठाया गया है और कहा गया है कि इन एप्स में भारतीय संप्रभुता और अखंडता के लिए जोखिम पेश करने वाली सामग्री थी.
अख़बार लिखता है कि इन एप्स के ख़िलाफ़ आम लोगों को लोन देने के बाद उनसे पैसे वसूलने और प्रताड़ित करने की शिकायतें दर्ज कराई गयी हैं.
सरकार से जुड़े सूत्र ने अख़बार को बताया है कि आंध्र प्रदेश और तेलंगाना में इन एप्स से प्रताड़ित किए जाने की वजह से कई लोगों ने आत्महत्याएं तक की हैं.
इनमें से कई एप्स एप स्टोर पर भी उपलब्ध नहीं थे. हालांकि, लोग उन्हें वेबसाइट या कुछ लिंक्स पर जाकर डाउनलोड कर सकते थे.
चीन के साथ लद्दाख में सीमा को लेकर शुरू हुए विवाद के बाद से लेकर अब तक भारत सरकार चीन की कई पॉपुलर एप्स को प्रतिबंधित कर चुकी है. इनमें टिकटॉक से लेकर वीचैट मैसेंजर जैसे जानेमाने चीनी एप्स शामिल हैं. (bbc.com/hindi)
नई दिल्ली, 6 फरवरी | साइबर-सुरक्षा शोधकर्ताओं ने सोमवार को कहा कि उन्होंने कई आईटी फर्मों को निशाना बनाने वाले एक फिशिंग अभियान का पता लगाया है, जहां स्कैमर्स सीईओ बनकर शीर्ष स्तर के कर्मचारियों के व्यक्तिगत नंबरों पर व्हाट्सएप संदेश भेज रहे थे। क्लाउडएसईके के विश्लेषकों ने इस अभियान का पता लगाया। उनके मुताबिक आरोपी खुद को कंपनी का सीईओ बताते हुए बड़े अधिकारियों के व्यक्तिगत फोन नंबरों पर व्हाट्सएप संदेश भेजता है।
स्कैमर व्हाट्सएप प्रोफाइल पिक्च र्स का उपयोग करके सीईओ की सार्वजनिक रूप से उपलब्ध तस्वीरों का दुरुपयोग करते हैं।
क्लाउडएसईके के एक शोधकर्ता ने बताया, अनुसंधान ने खुलासा किया कि इन स्कैमर्स द्वारा निजी फोन नंबर निकालने के लिए लीड जनरेशन और बिजनेस इंफॉर्मेशन टूल्स का दुरुपयोग किया जा रहा है।
यह घोटाला कर्मचारियों को एक अज्ञात नंबर से एक एसएमएस-आधारित संदेश प्राप्त करने के साथ शुरू होता है, जो कथित तौर पर संगठन के एक शीर्ष-रैंकिंग कार्यकारी का प्रतिरूपण करता है।
शीर्ष-श्रेणी के कार्यकारी को प्रतिरूपित करने का कारण अत्यावश्यकता और घबराहट पैदा करना है।
यदि एसएमएस का प्राप्तकर्ता प्रतिक्रिया के साथ स्कैमर को स्वीकार करता है, तो धमकी देने वाला / स्कैमर एक त्वरित कार्य पूरा करने का अनुरोध करेगा। त्वरित कार्यों में आमतौर पर एक ग्राहक या कर्मचारी के लिए उपहार कार्ड खरीदना और/या किसी अन्य व्यवसाय के लिए धनराशि शामिल करना शामिल है।
रिपोर्ट में कहा गया है, कुछ मामलों में स्कैमर कर्मचारियों से व्यक्तिगत जानकारी (जैसे पिन और पासवर्ड) तीसरे पक्ष को भेजने के लिए कह सकता है, अक्सर अनुरोध को पूरा करने के लिए एक प्रशंसनीय कारण प्रदान करता है।
ईमेल पीड़ित को जवाब देने के लिए मनाने के लिए धमकी देने वाले अभिनेता अक्सर कमांडिंग और प्रेरक भाषा का उपयोग करते हैं।
लिंक्डइन से संगठन के वरिष्ठ कर्मचारियों को देखा जा सकता है।
धमकी देने वाले तब लोकप्रिय सेल्स इंटेलिजेंस या लीड जनरेशन टूल्स जैसे सिग्नलहायर, जूमइन्फो, रॉकेट रीच का उपयोग व्यक्तिगत पहचान योग्य जानकारी (पीआईआई) जैसे ईमेल, फोन नंबर और बहुत कुछ इकट्ठा करने के लिए करते हैं।
रिपोर्ट में कहा गया है, व्यवसायों के इन ऑनलाइन डेटाबेस में किसी इकाई के कर्मचारियों के संपर्क विवरण प्राप्त करने, सत्यापित करने और फिर बेचने के लिए अपनी कार्यप्रणाली होती है। (आईएएनएस)|
ग्वालियर, 5 फरवरी | कांग्रेस की मध्यप्रदेश इकाई के कांग्रेस अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने यहां रविवार को कहा कि "हमारे बुजुर्गो ने अपना जीवन जिस संस्कृति में रहकर काटा है, वही संस्कृति आज खतरे में है। भाषा के आधार पर, धर्म के आधार पर देश को बांटा जा रहा है।" संत रविदास की जयंती पर ग्वालियर में आयोजित कार्यक्रम में कमलनाथ ने कहा, "संत रविदास के गुरु कबीर दास थे, उनकी जयंती पर हमें उनका संदेश याद रखना चाहिए। सबसे आवश्यक बात यह है कि कोई व्यक्ति छोटा या बड़ा जन्म से नहीं होता, अपने कर्म से होता है। संत रविदास ने सामाजिक न्याय का संदेश दिया था, समाज को एकजुट रखने का संदेश दिया था।"
कमलनाथ ने कहा, "हमारे बुजुर्गो ने अपना जीवन जिस संस्कृति में रहकर काटा है, वही संस्कृति आज खतरे में है। भाषा के आधार पर, धर्म के आधार पर देश को बांटा जा रहा है। लोकतंत्र में चुनाव आते रहते हैं, मगर सात महीने बाद जो चुनाव होना है, उसमें किसी प्रत्याशी या पार्टी की जीत-हार का सवाल नहीं है, हमारे देश के भविष्य का सवाल है। आज संत रविदास जयंती के दिन हम इसी संस्कृति की रक्षा करने का संकल्प लें।"
कमलनाथ ने कहा, "आज हम पूज्य रविदास की जयंती पर यह संकल्प लें कि हम इस संस्कृति के रक्षक बनेंगे। बाबासाहेब आंबेडकर ने देश को ऐसा संविधान दिया, जो पूरे विश्व में मशहूर है, कई देशों ने हमारे संविधान का अनुसरण भी किया है। परंतु यही संविधान यदि गलत हाथों में चला जाए तो देश का भविष्य क्या होगा? आज हमें यह सोचना होगा कि हम अपनी आने वाली पीढ़ियों को कैसा प्रदेश और कैसा देश सौंपना चाहते हैं?"
पूर्व मुख्यमंत्री ने कार्यक्रम में मौजूद लोगों से कहा, "हम संकल्प लें कि आज हमारा पहला लक्ष्य कोई पार्टी नहीं, कोई उम्मीदवार नहीं, बल्कि अपनी संस्कृति और अपने संविधान को सुरक्षित रखना है। देश और प्रदेश की तस्वीर अपने सामने रखिएगा, किस प्रकार धर्म के नाम पर लोगों को बांटा जा रहा है, जातियों के नाम पर हम सबको आपस में बांटा जा रहा है, परंतु हम यदि एकजुट रहेंगे तो एकता की आवाज में बहुत ताकत होती है।" (आईएएनएस)
नई दिल्ली, 5 फरवरी । बसपा सुप्रीमो मायावती ने अदानी मामले पर मोदी सरकार को घेरते हुए कहा है कि इससे जुड़ी घटनाओं का देश की अर्थव्यवस्था पर दूरगामी असर पड़ेगा.
उन्होंने इस मसले के कारण देश की छवि के ख़तरे में पड़ने का ख़तरा पैदा होने का भी आरोप लगाया है.
मायावती ने यह भी आरोप लगाया है कि केंद्र सरकार इस मसले को हल्के में ले रही है, जबकि शेयर बाज़ार के गिरने से हर कोई बहुत चिंतित है.
रविवार को लखनऊ में जारी एक बयान में मायावती ने कहा, "रविदास जयंती पर अदानी मसले को कैसे भूला जा सकता है, क्योंकि यह नई चिंता की वजह है. इस तरह के मामलों का हल ढूंढ़ने के बजाय सरकार लोगों को नजरअंदाज़ कर नए वादे कर रही है."
उन्होंने कहा, "एक कारोबारी के कारण दुनिया में अपनी रैंकिंग स्थापित करने वाला भारत का आर्थिक जगत बहुत बेचैन, निराश और हताश है. इसका भारत की अर्थव्यवस्था और आम जनजीवन पर दीर्घकालीन असर पड़ने जा रहा है."
मायावती ने आरोप लगाया, "बाक़ी मामलों की ही तरह अदानी मामले में भी सरकार सदन के ज़रिए देशवासियों को भरोसे में नहीं ले रही है."
उन्होंने सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि सरकार को लोगों के भरोसे के साथ नहीं खेलना चाहिए. (bbc.com/hindi)
बेंगलुरु, 5 फरवरी कर्नाटक के पूर्व मंत्री एवं खनन कारोबारी जी जनार्दन रेड्डी द्वारा एक नयी पार्टी का गठन करने से राज्य के कुछ हिस्सों में चुनावी मुकाबला दिलचस्प हो गया है।
जी जनार्दन रेड्डी द्वारा नयी पार्टी बनाने और बल्लारी विधानसभा सीट से अपनी पत्नी को चुनाव मैदान में उतारने से रेड्डी परिवार में दरार पड़ने के संकेत मिलते हैं। बल्लारी सीट से जी जनार्दन रेड्डी के बड़े भाई जी सोमशेखर रेड्डी भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के मौजूदा विधायक हैं।
अवैध खनन मामले में आरोपी जी जनार्दन रेड्डी ने भाजपा से अपना दो दशक पुराना नाता तोड़ने के बाद हाल ही में ‘‘कल्याण राज्य प्रगति पक्ष’’ (केआरपीपी) पार्टी का गठन किया था। केआरपीपी कल्याण-कर्नाटक क्षेत्र (पहले हैदराबाद-कर्नाटक) के कुछ जिलों, खासतौर से बल्लारी, कोप्पल और रायचुर में ध्यान केंद्रित कर रही है।
कर्नाटक में अप्रैल-मई में होने वाले विधानसभा चुनाव में महज कुछ महीने बाकी रहने के मद्देनजर केआरपीपी के गठन ने उसके संभावित असर को लेकर बहस शुरू कर दी है।
बल्लारी जिले के बाहर कर्नाटक की चुनावी राजनीति में फिर से कदम रखते हुए जी जनार्दन रेड्डी ने यह भी घोषणा की कि वह कोप्पल जिले में गंगावती से विधानसभा चुनाव लड़ेंगे।
कई राजनीतिक नेताओं और पर्यवेक्षकों का मानना है कि वह अदालत द्वारा लगाई पाबंदी के कारण अपने गृह जिले में प्रवेश न करने के लिए मजबूर हैं।
बहरहाल, परिवार में विभाजन, कोई मजबूत जातीय आधार न होने और लंबे समय से मित्र रहे वाल्मीकि समुदाय (अनुसूचित जाति) के बी. श्रीरामुलु जैसे प्रभावशाली जातिवादी नेता का समर्थन न मिलने से चुनावों में उनकी पार्टी की संभावनाओं को नुकसान पहुंच सकता है।
एक नेता ने कहा, ‘‘चुनावों में विरोधी उन्हें (जी जनार्दन रेड्डी को) बाहरी नेता के रूप में दिखाने की कोशिश कर सकते हैं, क्योंकि रेड्डी समुदाय तेलुगु भाषी है, जिसका ज्यादा आधार पड़ोसी आंध्र प्रदेश में है।’’
हालांकि, कुछ लोगों ने आगाह किया कि जी जनार्दन रेड्डी अपने फायदे के लिए लोगों को प्रभावित करने की कला में माहिर हैं। उन्होंने कहा कि रेड्डी ने विपक्षी विधायकों को भाजपा में शामिल कराने के लिए ‘‘ऑपरेशन कमल’’ के दौरान अपनी इस कला का सफल प्रदर्शन किया था।
रेड्डी खनन घोटाले में कथित संलिप्तता के लिए केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) द्वारा गिरफ्तार किए जाने के बाद करीब 12 साल तक राजनीतिक रूप से सक्रिय नहीं रहे।
राज्य में 2018 के विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा ने खुद को रेड्डी से अलग कर लिया था। भाजपा के तत्कालीन राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने कहा था, ‘‘भाजपा का जनार्दन रेड्डी से कोई लेना-देना नहीं है।’’
पार्टी के एक पदाधिकारी ने कहा कि भाजपा जिस तरीके से उनके साथ बर्ताव कर रही थी तथा उन्हें नजरअंदाज कर रही थी, उससे रेड्डी परेशान थे। उन्होंने कहा कि केआरपीपी कुछ निर्वाचन क्षेत्रों, खासतौर से बल्लारी क्षेत्र में भाजपा पर असर डाल सकती है और उसके वोट काट सकती है।
करोड़ों रुपये के अवैध खनन मामले में आरोपी रेड्डी 2015 से जमानत पर बाहर हैं और उच्चतम न्यायालय में उन पर कई शर्तें लगाई हैं, जिनमें कर्नाटक के बल्लारी तथा आंध्र प्रदेश के अनंतपुर और कड़पा में उनके प्रवेश पर प्रतिबंध शामिल है।
यही वजह है कि रेड्डी ने गंगावती से चुनाव लड़ने का फैसला किया है, जो बल्लारी जिले की सीमा पर बल्लारी शहर से लगभग 60 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है।
अपने गृह जिले में पकड़ बनाए रखने के मकसद से रेड्डी ने हाल ही में घोषणा की थी कि उनकी पत्नी अरुणा लक्ष्मी, बल्लारी शहर से आगामी विधानसभा चुनाव लड़ेंगी।
रेड्डी के बड़े भाई जी करुणकार रेड्डी और जी सोमशेखर रेड्डी क्रमश: हरपानहल्ली तथा बल्लारी शहर से भाजपा विधायक हैं। वहीं, उनके करीबी मित्र श्रीरामुलु भी चित्रदुर्ग जिले की मोलकालमुरु सीट से भाजपा विधायक एवं मंत्री हैं। तीनों ने स्पष्ट किया है कि वे भाजपा के साथ हैं और उनका जी जनार्दन रेड्डी की नयी पार्टी से कोई लेना-देना नहीं है।
अपनी पत्नी को बल्लारी शहर से चुनाव लड़ाने के जनार्दन रेड्डी के फैसले पर नाखुशी जताते हुए सोमशेखर रेड्डी ने अपने छोटे भाई की खातिर दी गई ‘‘कुर्बानियों’’ को याद किया।
जनार्दन रेड्डी की बेटी ब्राह्मिणी ने भी राजनीति में कदम रखने की घोषणा की है।
जनार्दन रेड्डी 1999 के लोकसभा चुनाव के दौरान चर्चा में आए थे, जब उन्होंने दिवंगत सुषमा स्वराज के लिए प्रचार किया था, जिन्होंने बल्लारी से सोनिया गांधी के खिलाफ चुनाव लड़ा था। हालांकि, सुषमा स्वराज यह चुनाव हार गई थीं। (भाषा)
लखनऊ, 5 फरवरी बहुजन समाज पार्टी (बसपा) प्रमुख मायावती ने रविवार को कहा कि अडाणी के मुद्दे की वजह से भारत की छवि दांव पर लगी है और हर कोई इसको लेकर चिंतित है, लेकिन सरकार इसे ‘‘बहुत हल्के’’ में ले रही है।
उन्होंने कहा कि अडाणी मामले का भारतीय अर्थव्यवस्था पर दीर्घकालीन प्रभाव पड़ेगा और दुर्भाग्यपूर्ण है कि सरकार इस देश के लोगों को भरोसे में नहीं ले रही है।
मायावती ने यहां जारी एक बयान में कहा, ‘‘रविदास जयंती पर अडाणी प्रकरण को कैसे भूला जा सकता है क्योंकि ये नई चिंता का कारण है। इस तरह के मामलों का हल ढूढ़ने के बजाय सरकार लोगों को नजरअंदाज कर नए वादे कर रही है। अडाणी मुद्दे की वजह से भारत की छवि दांव पर लगी है और हर कोई चिंतित है, लेकिन सरकार इस मुद्दे को बहुत हल्के में ले रही है।’’
उन्होंने कहा, ‘‘विश्व में अपनी रैंकिंग स्थापित करने वाले इस देश के एक कारोबारी की वजह से भारत का आर्थिक जगत निराश है और अवसाद में है। इसका इस देश की अर्थव्यवस्था और आम जीवन पर दीर्घकालीन असर पड़ने जा रहा है। अन्य मामलों की तरह ही अडाणी के मामले में सरकार इस देश के लोगों को सदन के माध्यम से भरोसे में नहीं ले रही। सरकार को लोगों के भरोसे के साथ नहीं खेलना चाहिए।’’
उल्लेखनीय है कि अमेरिकी ‘शॉर्ट सेलर’ और वित्तीय शोध कंपनी हिंडनबर्ग ने करीब 10 दिन पहले अडाणी समूह के खिलाफ कंपनी संचालन के मोर्चे पर गड़बड़ी के कई आरोप लगाए थे, जिसके बाद से अडाणी समूह की कंपनियों के शेयरों में भारी गिरावट आई है।
अहमदाबाद स्थित अडाणी समूह ने सभी आरोपों का खंडन किया है और इसे भारत पर सुनियोजित हमला करार दिया है। (भाषा)
रीवा, 5 फरवरी मध्य प्रदेश के रीवा जिले में 16 वर्षीय एक लड़के ने 58 वर्षीय एक महिला के साथ कथित तौर पर बलात्कार किया और फिर बेरहमी से उसकी हत्या कर दी। पुलिस ने रविवार को यह जानकारी दी।
पुलिस सूत्रों ने बताया कि यह घटना 30 जनवरी की रात हनुमना थाना क्षेत्र के कैलाशपुरी गांव में हुई। उन्होंने दर्ज मामले के आधार पर बताया कि पीड़िता के परिवार ने आरोपी लड़के पर दो साल पहले एक मोबाइल फोन चोरी करने का आरोप लगाया था और वह इसका बदला लेना चाहता था।
पुलिस ने कहा कि आरोपी ने कथित तौर पर महिला के मुंह में एक प्लास्टिक की थैली और कपड़ा ठूंस दिया तथा उसे खींचकर इमारत के एक निर्माणाधीन हिस्से में ले गया, जहां वह रहती थी।
पुलिस ने कहा कि लड़के ने कथित तौर पर महिला के सिर और शरीर के अन्य हिस्सों पर दरांती से वार किया और उसके निजी अंगों पर भी चोट पहुंचाई।
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (एएसपी) विवेक लाल ने बताया कि एक फरवरी को सूचना मिली थी कि एक निर्माणाधीन इमारत में 58 वर्षीय महिला का शव पड़ा है।
उन्होंने कहा कि पुलिस और फॉरेंसिक टीम मौके पर पहुंची और पाया कि महिला की बेरहमी से हत्या की गई है। मुखबिरों से मिली सूचना और जांच के आधार पर पुलिस को पता चला कि पीड़िता के पड़ोस में रहने वाले आरोपी लड़के ने वारदात को अंजाम दिया।
अधिकारी ने कहा कि महिला के परिवार के सदस्यों ने भी लड़के पर संदेह व्यक्त किया, जो दो साल पहले उनके घर टेलीविजन देखने आया करता था।
पुलिस ने कहा कि पीड़िता के परिवार ने तब आरोपी लड़के पर एक मोबाइल फोन चोरी करने का आरोप लगाया था, जिसके कारण लड़के और परिवार के बीच दुश्मनी हो गई थी।
लाल ने कहा कि 30 जनवरी को जब पीड़िता का बेटा और पति बाहर गए हुए थे तो लड़का उसके घर में घुस गया। उन्होंने बताया कि आरोपी ने चारपाई पर सो रही महिला के साथ कथित तौर पर जबरदस्ती करने का प्रयास किया और जब उसने चीखने की कोशिश की, तो आरोपी ने एक पॉलीथिन बैग और कपड़ा उसके मुंह में ठूंस दिया।
लाल ने बताया कि इसके बाद उसने रस्सी और तार की मदद से महिला के चेहरे पर एक प्लास्टिक की थैली बांध दी और उसे इमारत के एक निर्माणाधीन हिस्से में ले गया।
अधिकारी ने कहा कि लड़के ने महिला को दरवाजे से बांधकर कथित तौर पर बार-बार पीटा और जब वह बेहोश हो गई तो उसके साथ बलात्कार किया।
लाल ने कहा कि आरोपी ने पीड़िता के सिर, हाथ, गले और छाती पर दरांती से वार किया और उसके निजी अंगों पर भी चोट पहुंचाई।
उन्होंने कहा कि बाद में लड़का महिला के घर में रखे 1,000 रुपये नकद और आभूषण लेकर फरार हो गया।
अधिकारी ने कहा, ‘‘हिरासत में लिए जाने के बाद लड़के ने पूछताछ के दौरान अपराध स्वीकार कर लिया।’’
उन्होंने कहा कि आरोपी लड़के को बाल सुधार गृह भेज दिया गया और उसके खिलाफ 302 (हत्या), 376 (बलात्कार) सहित विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। (भाषा)