रायपुर

गांजा-चरस के धंधे में सैकड़ों लोग शामिल, कई अपराधी जेलसे छूटकर जुट गए कमाई करने, पुलिस ने बनाई कुंडली
24-Feb-2022 4:57 PM
गांजा-चरस के धंधे में सैकड़ों लोग शामिल, कई अपराधी जेलसे छूटकर जुट गए कमाई करने, पुलिस ने बनाई कुंडली

 ‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 24 फरवरी । 
नारकोटिक्स सेल के एक्टिव होने के बाद शहर में गांजा और चरस के साथ दूसरे तरह के मादक पदार्थ बेचने वालों पर लगातार शिकंजा कसा जा रहा है। हाल में दो बड़े गिरोह को दबोचे जाने के बाद पुलिस अब होली के पहले बड़े अभियान की तैयारी में जुट गई है। खबर है शहर में गांजा और चरस के धंधे में करीब 200 लोग जुटे हुए हैं। नारकोटिक्स सेल की ओर से इनके बारे में खुफिया रिपोर्ट तैयार की गई है। अब बारी-बारी से नकेल कसने की तैयारी है।

होली के पहले स्लम हिस्सों को भी टारगेट करने की कोशिश चल रही है। पुलिस की रिपोर्ट बताती है कि नशा तस्करों ने स्लम इलाकों से ही शहर में सस्ता और सूखा नशा खपाने के लिए नेटवर्क बनाए हुए हैं। एक अफसर का कहना है शहर के सभी चेक पोस्ट में सादी वर्दी में कर्मचारी लगाकर संदिग्ध वाहनों की जांच चल रही है। बार्डर में माल वाहक के ऐसे डाले जिसमें गांजा छिपाकर लाना आसान है उसके लिए भी मैकेनिकल टीमों की मदद लेकर जांच पड़ताल की जा रही है। रायपुर के रास्ते मुंबई और फिर राजस्थान तक ओडिशा से गांजा का खेप पहुंचाया जा रहा है। लिहाजा पुलिस ने दूसरे राज्यों के चस्पा नंबर प्लेट चस्पा किए गए संदिग्ध वाहनों को भी टटोलना शुरू कर दिया है।

मालूम हुआ है पुलिस ने पिछले पंद्रह दिनों में जेल से छूटने वाले पुराने बदमाशों की भी कुंडली खंगालने कवायद तेज की है। खुफिया सूत्रों के मुताबिक ज्यादातर पुराने बदमाश गांजा तस्करी और दूसरे मादक पदार्थों के व्यापार में जुटकर कमाई कर रहे हैं। इनके पुराने अड्डें और परिचितों को राडार में लेकर पुलिस ने पूछताछ शुरू की है। एक अफसर ने पुष्टि की है कि दो सौ लोग वांटेड हैं। जिन पर शक है वे ओडिशा के तस्करों की मिलीभगत के साथ में ही नशे के सीरप और टेबलेट लाकर उसे बेच रहे हैं। जिस तरह से मामलों का खुलासा हो रहा है, शहर में हर दिन लाखों रुपये के सूखा नशा कारोबार है।

मेडिकल कारोबारियों की बनेगी सूची
नशा तस्करों से बरामद नशे की  दवाइयों के लिए अब गहराई से जांच होगी। तस्करों को दवा कहां से मिल रहे इस बारे में भी छानबीन होगी। भेजे गए टेबलेट के सीरियल नंबर से भी जानकारियां मंगवाई जाएगी। कई कारोबारी ब्लेकमनी कमाने के लिए भी तस्करों के साथ जुड़े हुए हैं। सीरप और टेबलेट सस्ते दामों में बेचकर मोटी कमाई कर रहे हैं। नकली दवाइयों को भी कई बार नशे का पावडर बनाया जा रहा है। संदेह होने पर पुलिस ने बरामद दवाइयों के लैब जांच के लिए भी अब इंतजाम कर लिए हैं।

लॉक डाउन के बाद
होली से उम्मीदें
पुलिस को जहां पर होली के पहले बड़े तस्करों के पकड़े  जाने की उम्मीद है वहीं नशा कारोबार से जुड़े लोगों को सूखा नशा से लंबा चौड़ा फायदा कमाने आस बंधी है। होली पर्व में सबसे ज्यादा सूखा नशा बिकता है। एक करीबी सूत्र की मानें तो शहर के संवेदनशील जगहों में सबसे ज्यादा गांजा और गोलियां बिकती है। इसके कारोबार का हिसाब ही होली के त्योहार में पचास लाख रुपये से भी ज्यादे का है।

कई लोग घेरे में
पुलिस ने गुप्त जानकारियां लेकर संदिग्ध लोगों की सूची बनाई है। कई लोग घेरे में है। पुराने रिकार्ड के हिसाब से नशा कारोबार से जुडऩे का पता चला है। सूचनाओं के आधार पर छापेमारी कार्रवाई होगी।
 

-अभिषेक माहेश्वरी

एएसपी सायबर क्राइम

अन्य पोस्ट

Comments

chhattisgarh news

cg news

english newspaper in raipur

hindi newspaper in raipur
hindi news