सूरजपुर
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
प्रतापपुर, 6 फरवरी। अणुव्रत विश्व भारती सोसायटी के तत्वावधान में अणुव्रत अमृत महोत्सव के उपलक्ष्य में पर्यावरण जागरूकता कार्यक्रम के तहत छत्तीसगढ़ विद्या निकेतन, सरहरी, ब्लॉक प्रतापपुर में आज अणुव्रत वाटिका का शुभारंभ किया गया। इस अवसर पर कई फलदार एवं फूलों के पौधों का रोपण किया गया। इस दौरान पौधों को संरक्षित रखने का संकल्प भी अतिथियों सहित स्कूली छात्र-छात्राओं ने ली।
इस दौरान बच्चों ने नैतिकता की सुर सरिता में जन-जन मन पावन हो, संयम मय जीवन हो गीत द्वारा अणुव्रत के संदेशों को सुनाया। कार्यक्रम की मुख्य अतिथि अणुव्रत सोसायटी छत्तीसगढ़ की संयोजक ममोल कोचेटा ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि हमारा आज का कार्यक्रम पर्यावरण के प्रति जागरूकता बढ़ाने का है, प्रकृति ने हमें बहुत कुछ दिया है, हमारा भी यह कर्तव्य है कि हम प्रकृति को संरक्षित करें। हवा, पानी, पेड़-पौधे बहुत जरूरी हैं न सिर्फ इन्हें साफ एवं स्वच्छ रखना है बल्कि उनको संरक्षित भी करना है ताकि मानव जीवन को शुद्ध हवा, पानी, पर्यावरण मिल सके।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे भूतपूर्व सैनिक शिवचरण नापित ने कहा कि पेड़ पौधे लगाना और उन्हें संरक्षित करना मैंने बचपन से अपने दादा से सीखा है और बचपन के लगाये गये पेड़ अब फल देने लगे हैं, इसलिए मुझे इसकी महत्ता पता है कि क्यों जरूरी है, हम यदि अपने जीवन में केवल 10 पेड़ लगाये और उन्हें संरक्षित कर लें तो पर्यावरण के प्रति हमारी यह चिंता सार्थक हो जाएगी।
उन्होंने बच्चों को वृक्ष, जल, हवा, पर्यावरण की महत्ता समझाई। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उप सरपंच अरविंद पटेल ने स्कूल में होने वाले लगातार कार्यक्रमों से बच्चों में आ रहे बदलाव पर चर्चा की। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सरगुजा साइंस ग्रुप के अंचल ओझा ने बताया कि हम हुमारी संस्था के माध्यम से अहाता युक्त शासकीय एवं अशासकीय विद्यालयों में लगातार वृक्षारोपण पिछले कई वर्षों से कर रहे हैं और बच्चे और स्कूल प्रबंधन उसे संरक्षित भी कर रहे हैं।
इस अणुव्रत वाटिका में लगाये गये पौधों को न सिर्फ संरक्षित करेंगे बल्कि और पौधे भी लगायेंगे।
कार्यक्रम का आभार प्रदर्शन करते हुए अणुव्रत सोसायटी सरगुजा की सदस्य ज्योत्सना पालोरकर ने बच्चों के बीच पर्यावरण को लेकर कराये जाने वाले एक्टिविटी एवं खेलों के माध्यम से कैसे पर्यावरण, शिक्षा एवं अन्य विषयों पर शिक्षा दे सकते हैं इस पर चर्चा करते हुए सभी का आभार जताया। कार्यक्रम का संचालन शिक्षक बृजमोहन सोनपाकर एवं प्रधानपाठक सुमन कुशवाहा ने किया।
कार्यक्रम में मनोज बोथरा, सुनील तिवारी, रोहित मानिकपुरी, गुल्लू कुशवाहा, किताब पात्रे, भजमनिया देवी, कमल, संतलाल, महेन्द्र सिंह, प्रिया कुशवाहा, काजल, सलिता, प्रितिका सहित काफी संख्या में ग्रामीणजन व छात्र-छात्रायें उपस्थित थीं। अणुव्रत वाटिका में 10 फलदार वृक्ष एवं 10 फूलों के पौधे लगाये गये।