रायपुर
हर जिले में धर्म रक्षा सेना भी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 22 मई। वृन्दावन हॉल में श्री नीलकण्ठ सेवा संस्था द्वारा संकल्प धर्म सभा का आयोजन किया गया। हिंदुओ का संतो के साथ सवाल जवाब चलता रहा बहुत से हिंदुओ के मन मे सनातन धर्म को लेकर जो संवेदना थी आज सभी ने अपने अपने अपने विचार संतो के सामने रखे और उसका जवाब संतो ने दिया। इसमें धर्म रक्षा सेना के गठन की घोषणा भी की गई। जो सनातन धर्म का प्रचार प्रसार और सनातनियो को संगठित करने का काम करेगा।
आज के आयोजन में कई मुख्य बिंदुओं में चर्चा हुई धर्म, सनातन धर्म की विशेषता के बारे में संतो ने सनातनियो को बताया। हिंदुओ में संतो से पूछा धर्म परिवर्तन को कैसे रोका जाए उसके लिए संतो ने जवाब दिया कि प्रत्येक क्षेत्र में धर्म रक्षा सेना इसके लिए काम करेगी जितना ज्यादा हमारे पूजा पाठ में हिंदुओं को जोड़ा जाएगा तभी धर्म परिवर्तन से रोक लगाए जा सकता है
प्रत्येक जिले में धर्म रक्षा सेना का गठन होगा जो इसी प्रकार से सभाएं करवयेगा और समस्त सनातनियो को एक माला में जोड़ने का कार्य करेगा। धर्म सभा की अध्यक्षता महामंडलेश्वर सर्वेश्वर दास महाराज ने की और सभी सनातनियो को संत युद्धिष्ठिर लाल महाराज ने संकल्प दिलवाया है कि सभी हिन्दू आने सनातन के प्रतीक का प्रयोग प्रतिदिन करेंगे। जैसे कि तिलक लगाना, कलावा बढ़ना शिखा रखना और भी कई विषयों में संकल्प दिलवाई। ज्ञानवापी मस्जिद में महादेव की शिवलिंग निकली उनके भी जय कार लगाया गया। कहा कि हिंदुओं अधिग्रहण की हुई जितनी भी जमीन है उसे वापस कर देना चाहिए।
स्कोन के तमल प्रभु महाराजजी ने सनातन धर्म के विस्तार के बारे में जानकारी प्रदान की।
वेद प्रकाश महाराज जी ने कहा कि आन भारत देश मे पश्चिमी सभ्यता को ज्यादा अपनाया जा रहा है इसमे हम सब का दायित्व बनता है की हम अपने अपने परिवार में सनातन धर्म के लिए अपने संस्कृति के लिए जागरूक करे। साथ ही अनंत पूरी गोस्वामी, संत निराहार, स्वामी राजेश्वरनंद, वेद प्रकाश महाराज , देवदास महाराज, ओमकार महाराज, आदि संत उपस्थित रहे।
सच्चिदानंद उपासने ने अंत मे आभार व्यक्त किया।आयोजक पंडित नीलकण्ठ त्रिपाठी ने कहा कि हिंदुओ का केवल एक ही देश है जो है भारत उसके अलावा कोई देश नही बचा जो हिंदुओ को सहारा दिया जाएगा। इसीलिए हम सब की जिम्मेदारी है कि हर हिंदुओ को हिन्दू राष्ट्र के लिए जन जागरूकता अभियान प्रारंभ किया जाए। जो कि धर्म रक्षा सेना के माध्यम से किया जाएगा।