रायगढ़
![गर्भवती को कांवर पर पहुंचाया अस्पताल, रास्ते में प्रसव, जच्चा-बच्चा स्वस्थ गर्भवती को कांवर पर पहुंचाया अस्पताल, रास्ते में प्रसव, जच्चा-बच्चा स्वस्थ](https://dailychhattisgarh.com/uploads/chhattisgarh_article/1720955246866.jpg)
नरेश शर्मा
रायगढ़, 14 जुलाई (‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता )। छत्तीसगढ़ में संवेदनशील पुलिसिंग के चलते पुलिस के जवान ने मानवता की मिसाल पेश करते हुए अपने एक साथी के साथ मिलकर दर्द से तड़प रही गर्भवती को 3 किमी कांवर पर उठाकर अस्पताल पहुंचाते हुए उसकी व बच्चे की जान बचा ली। पुलिस जवान और उसके साथी ने इस तीन किलोमीटर के रास्ते में पहाड़ के साथ साथ बरसाती पानी से भरे नाले को पार करने के बाद बीच में ही दर्द से कराहती महिला ने एक नवजात को जन्म दिया जो अब बिलकुल स्वस्थ है।
आजादी के 76 साल गुजर जाने के बाद भी आदिवासी बहुल इलाकों में सडक़ भी नहीं है न स्वास्थ्य लाभ लेने के लिए गांवों में अस्पताल। जिसके कारण बीमार लोगों के साथ गर्भवती महिलाओं को जान पर बन आती है। ऐसा एक नजारा शनिवार दोपहर रायगढ़ जिले के धरमजयगढ़ ब्लॉक में आने वाले ग्राम घुटघुपारा में देखने को मिला, जब गांव की एक गर्भवती को तीन किलोमीटर दूर तक कांवर पर बैठाकर पैदल सडक़ पर लाया गया।
दर्द से कराहती महिला का रास्ते में ही प्रसव भी हो गया। इस महिला को पुलिस के जवान तथा 102के चालक ने अपनी ड्यूटी को निभाते हुए महिला और उसके नवजात शिशु की जान बचाकर वर्दी को नई ऊंचाई दी है ।
इस संबंध में जिले के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक ग्रामीण रामगोपाल करियारे ने बताया कि रायगढ़ जिले थाना कापू क्षेत्र अंतर्गत पहाड जंगल के बीच ग्राम पारेमेर घुटरूपारा बसा है, बरसात के दिनों में गांव के एक ओर चार पहिया वाहन का पहुंचना मुश्किल है। ऐसे में घुटरूपारा में एक गर्भवती महिला का दर्द उठना परिवार के लिए मुसीबत बन गया। परिवार ने गर्भवती सुष्मिता (28 साल) को अस्पताल तक पहुंचाने डायल 112 को मदद के लिए कॉल किया गया।
मेडिकल इमरजेंसी का कॉल थाना कापू राईनो को प्राप्त हुआ। कालर ने महिला को प्रसव पीड़ा होने की जानकरी दी । डायल 112 ड्यूटी में तैनात आरक्षक विपिन किशोर खलखो और ईआरवी वाहन चालक छोटू दास तुरंत रवाना हुए। गर्भवती का घर नाला, पहाड़ी के उस पार स्थित होने और वाहन आवागमन के लिए रास्ता नहीं होने से आरक्षक प्रबल किशोर और वाहन चालक छोटू दास पैदल ही महिला के घर पहुंचे।
गर्भवती की स्थिति को देखकर बिना देरी किये आरक्षक प्रबल किशोर ने अपने साथी के साथ कावड़ से प्रसव पीडि़त महिला को वाहन तक ले जाने घरवालों को राजी किया और स्वयं एक युवक के साथ कांवर में महिला को उठाकर डायल 112 वाहन की ओर चल पड़ा।
गर्भवती महिला को कांवर में लेकर जवान करीब 3 किमी पहाड़ी, नाला को पार कर डायल 112 के वाहन तक पहुंचा और वाहन में बिठाकर अस्पताल ले जा रहा था । रास्ते में गर्भवती को अत्यधिक पीड़ा होने से जवान ने सूझबूझ का परिचय देते हुए वाहन पेड़ की आड़ में खड़ा कराया, जहां मितानिन और महिला के परिजन ने गर्भवती का सुरक्षित प्रसव कराया गया जिसे डायल 112 वाहन से तत्काल नजदीकी शासकीय अस्पताल जमरगा में दाखिल किया गया ।
बहरहाल पुलिस जवान और उसके साथी की सही समय पर मदद के साथ साथ उनकी सूझबूझ से जच्चा बच्चा दोनों स्वस्थ हैं।