राजनांदगांव
![छत्तीसगढिय़ा को ठगने का काम कर रही कांग्रेस - नीलू छत्तीसगढिय़ा को ठगने का काम कर रही कांग्रेस - नीलू](https://dailychhattisgarh.com/uploads/chhattisgarh_article/1644919724ilu_sharma.jpg)
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 15 फरवरी। पीसीसी चीफ मोहन मरकाम के शराबबंदी संभव नहीं वाले बयान पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते प्रदेश भाजपा प्रवक्ता नीलू शर्मा ने कहा कि कांग्रेस शराब और आदिवासी समाज को जोडक़र छत्तीसगढिय़ा को ठगने का कार्य कर रही है। आदिवासी समाज के लिए शराब को संस्कृति बताना कांग्रेस की विकृत मानसिकता को उजागर करता है। पूर्ण शराबबंदी का वादा पूरा करने में विफल हो चुकी छत्तीसगढ़ कांग्रेस और कांग्रेस अध्यक्ष मोहन मरकाम दिगभ्रमित हो चुके हैं और यह उनके बयान में भी नजर आ रहा है।
उन्होंने जारी विज्ञप्ति में कहा कि मोहन मरकाम के ताजा बयान, पिछले दिनों संस्कृति मंत्री अमरजीत भगत को शराबबंदी का सवाल सुनाई नहीं देना, इस बात को स्पष्ट करता है कि कांग्रेस ने केवल सत्ता प्राप्त करने के लिए छत्तीसगढ़ की भोली-भाली जनता से पूर्ण शराबबंदी का झूठा वादा किया था।
वेद पुराण से शराब के वर्णन पर श्री शर्मा ने कहा कि कांग्रेस की ओछी मानसिकता उनके अध्यक्ष के कहे इस बात से ही साफ नजर आती है। वेद पुराणों में जिसका उल्लेख है, उसे सोमरस कहते हैं, जो जड़ी-बूटियों से तैयार किया गया एक आयुर्वेदिक पेय होता है, जबकि शराब पीने को सुरा पान कहा गया है। इनके अनर्गल बयान से स्पष्ट होता है कि गंगाजल जैसी पवित्र वस्तु कांग्रेस के लिए कोई मायने नहीं रखती, तभी ये हाथ में गंगाजल लेकर झूठी कसमें खाकर सत्ता में आए हैं। साफ है कि बघेल सरकार की मंशा शराबबंदी की कभी थी ही नहीं और अब इनके प्रदेश अध्यक्ष संगठन के माध्यम से अपने मुखिया की मंशा से सरकार की कोरी नीतियों से जनता को वाकिफ करा रहे हैं।
श्री शर्मा ने मोहन मरकाम को नसीहत देते कहा कि 60 प्रतिशत अनुसूचित क्षेत्र और आदिवासी समाज को वे बदनाम कर ही चुके हैं। लगे हाथ प्रदेश अध्यक्ष होने के नाते अपनी सरकार से 40 प्रतिशत क्षेत्र में शराबबंदी लागू करने की जिम्मेदारी का भी एहसास कराएं।