रायपुर
![ट्रैफिक वालों को फरमान, लू से बचने ड्यूटी में पीते रहें नींबू पानी और ग्लूकोज का घूंट, 40 से ज्यादा चौराहों में छतरी के बिना संकट ट्रैफिक वालों को फरमान, लू से बचने ड्यूटी में पीते रहें नींबू पानी और ग्लूकोज का घूंट, 40 से ज्यादा चौराहों में छतरी के बिना संकट](https://dailychhattisgarh.com/uploads/chhattisgarh_article/1649247742SC_0115A.jpg)
बढ़ती गर्मी के बीच पुलिस वालों के लिए बदलेगी व्यवस्था
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 6 अप्रैल। शहर में दिनों दिन गर्मी का पारा 40 डिग्री तक जा रहा है। इसके साथ ही अब वर्दीवाले चिलचिलाती धूप और लू से बेचैन हैं। यातायात विभाग का बुरा हाल है जब दो सौ कर्मचारी यातायात व्यवस्था संभाल रहे हैं लेकिन किसी भी चौराहे में इनके लिए छांव की व्यवस्था नहीं है। अभी भी शहर के 40 मुख्य चौराहे कड़ाके की धूप की चपेट में हैं कि यहां पर तैनात कर्मचारी गर्म हवाओं की मार झेलने को मजबूर है। यातायात विभाग ने हाल में गर्मी के तापमान को देखते हुए कर्मचारियों के बीच फरमान जारी कर दिया है कि अब कर्मचारी ड्यूटी संभालने के लिए घर से ही नींबू पानी और ग्लूकोज अपने साथ लेकर निकलेंगे। वर्तमान में सुबह आठ बजे से रात बारह बजे तक के लिए ड्यूटी चार्ट बना हुआ है। जिसमें प्रत्येक शिफ्ट में ही एक-एक कर्मचारी चार-चार घंटे के हिसाब से यातायात व्यवस्था संभाल रहे हैं।
गर्मी के दिनों में 40 डिग्री के ऊपर पारा चढ़ते ही कई बार देखा गया है यातायात कर्मी डी हाईड्रेशन का शिकार होते हैं, ऐसे में व्यवस्था के साथ कर्मचारियों की सेहत बनी रहे, इसलिए अब नींबू पानी और ग्लूकोज का घोल ड्यूटी के दौरान अनिवार्य कर दिया गया है। शहर में शंकर नगर, मरीन ड्राइव जैसे चौराहों पर एक-एक ओर से शेड बनाया गया है जिससे वाहन चालकों को थोड़ी बहुत राहत है लेकिन यातायात कर्मचारियों के खड़े होने के स्थान में बूथ तक नहीं है। पहले कभी हवादार बूथ बनाने के लिए योजना बनी थी लेकिन स्मार्ट सिटी की तर्ज पर सडक़ों का चौड़ीकरण तो हुआ लेकिन ट्रेफिक बूथ बनाने की योजनाएं ठंडे बस्ते में चली गई। ट्रेफिक व्यवस्था के लिए जोनवार थाना जरूर बनाए गए हैं लेकिन फील्ड में तैनाती के दौरान वर्दीवालों के लिए राहत के कोई भी इंतजाम नहीं है।
पीक ऑवर झुलसाने वाला
यातायात विभाग की तरफ से जो व्यस्तम समय (पीक ऑवर) तय की गई है शहर में उसी दौरान सबसे ज्यादा गर्माहट महसूस किया जा सकता है। सुबह 11 बजे, दोपहर 2 बजे और शाम 5 और 6 बजे पिक ऑवर की टाइमिंग है जिसमें वाहनों की संख्या का दबाव मुख्य चौराहों में सबसे ज्यादा रहता है इसी दौरान कड़ाके की धूप होने से सडक़ पर व्यवस्था संभालना भी मुश्किल है।
छतरियां भी खराब
कर्मचारियों के लिए पूर्व में सामाजिक संगठनों और संस्थाओं की तरफ से भेंट की गई छतरियां खराब हो चुकी है। इसलिए अभी नए सिरे से व्यवस्था बनाने के प्रयास किए जा रहे हैं। यातायात व्यवस्था संभाल रहे कर्मचारियों के लिए कई संस्थाएं शरबत से लेकर ठंडा पानी और फिर ग्लूकोज तक के इंतजाम कराने सक्रिय रहते हैं लेकिन लॉक डाउन लगने के बाद उपजे हालात के बीच इनकी संख्या भी अब तक हो गई है।
बदल सकता है रोटेशन चार्ट
गर्मी को देखते हुए आगे यातायात कर्मचारियों का रोटेशन बदल सकता है। चार शिफ्ट की ड्यूटी में कटौती हो सकती है। दोपहर में सडक़ों पर सन्नाटा छा जाने की स्थिति में इस वक्त ड्यूटी चार्ट में बदलाव हो सकता है। हालांकि शहर के बड़े मुख्य चौक चौराहों की व्यवस्था को इससे दूर रखा जाएगा।
सभी कर्मचारियों को कहा गया है कि वे ड्यूटी में आते वक्त अपने साथ नींबू पानी या फिर ग्लूकोज का घोल लेकर निकले। गर्मी बढऩे से सडक़ों पर परेशानी होती है। कई जगहों पर छांव तक ढूंढना पड़ता है।
- सतीश सिंह ठाकुर
डीएसपी यातायात