रायपुर
![नवा रायपुर में फिर शुरू होगा स्टेशनों का निर्माण, सीबीडी का टेंडर मंजूर नवा रायपुर में फिर शुरू होगा स्टेशनों का निर्माण, सीबीडी का टेंडर मंजूर](https://dailychhattisgarh.com/uploads/chhattisgarh_article/1649765830611842327G_LOGO-001.jpg)
स्मार्ट सिटी के मद से होगा काम
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 12 अप्रैल। नवा रायपुर में स्मार्ट सिटी के मद से राशि जारी होने के बाद एक बार फिर रेलवे स्टेशनों के निर्माण में तेजी आने की उम्मीद है। इस कड़ी में सीबीडी रेलवे स्टेशन के अधूरे निर्माण के लिए 52 करोड़ के टेंडर को मंजूरी दी गई है।
बताया गया कि नवा रायपुर में कुल 4 रेलवे स्टेशनों का निर्माण प्रस्तावित है। चारों के निर्माण कार्य की प्रक्रिया शुरू हो गई थी, लेकिन ठेकेदारों द्वारा काम अधूरा छोडऩे और वित्तीय संसाधनों की कमी की वजह से काम में रूकावट आई। एनआरडीए प्रबंधन ने इस सिलसिले में सरकार से चर्चा कर वित्तीय अड़चनों को कुछ हद तक दूर कर लिया है। सूत्रों के मुताबिक रायपुर स्मार्ट सिटी लिमिटेड से राशि जारी की गई है।
एनआरडीए बोर्ड की पिछले दिनों हुई बैठक में इस पर विस्तार से चर्चा हुई, और अधूरे कार्यों को तेजी से पूरा करने पर जोर दिया गया है। जिन चार जगहों पर रेलवे स्टेशनों का निर्माण होना है, उनमें उद्योग भवन के पास, नवा रायपुर में मंदिरहसौद, सीबीडी बिल्डिंग के पास, और राज्योत्सव मेला ग्राउंड के पास प्रस्तावित है। इनमें से दो जगहों पर काम फिलहाल रूका हुआ है।
बोर्ड की बैठक में सीबीडी रेलवे स्टेशन के अधूरे निर्माण कार्य को आगे बढ़ाने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई, इसके लिए 51 करोड़ 91 लाख के टेंडर को मंजूरी दी गई है। यह काम श्रीजी कृपा प्रोजेक्ट लिमिटेड रायपुर द्वारा किया जाएगा। यहां प्लेटफार्म आदि का निर्माण पहले हो चुका है। बाकी दो स्टेशनों के लिए भी अगले हफ्ते टेंडर बुलाए जाएंगे, जिसके लिए राज्य शासन से राशि मांग की जाएगी।
कोरोना की वजह से फाउंटेन बंद रहा, पर 25 फीसदी भुगतान
नवा रायपुर के राजधानी सरोवर में प्रकाश और ध्वनि सहित म्यूजिकल डांसिग फाउंटेन, मल्टीमीडिया लेजर, और वीडियो शो के संचालन व अनुरक्षण कार्य के लिए रिपप्लस एजेंसी को ठेका दिया गया था। बताया गया कि कोरोना महामारी के कारण 6 महीने शो का संचालन बंद रहा, लेकिन अनुबंध की शर्तों के परिपालन में उक्त अवधि में 25 फीसदी करीब एक लाख 47 हजार की दर से और शो शुरू होने के बाद 5 लाख 90 हजार प्रतिमाह की दर से भुगतान की स्वीकृति प्रदान की गई।