कोण्डागांव
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कोण्डागांव, 23 अप्रैल। आदिम जाति अनुसंधान और प्रशिक्षण संस्थान छत्तीसगढ़ शासन द्वारा 19 से 21 अप्रैल तक तीन दिवसीय राष्ट्रीय जनजाति कला चित्रकला प्रतियोगिता और साहित्य महोत्सव का आयोजन रायपुर के पंडित दीनदयाल उपाध्याय ऑडिटोरियम में किया गया। जिसमें छत्तीसगढ़ में प्रचलित जनजातीय बांस कला, सिसल कला, रजवार कला, गोधना कला, मिट्टी कला, कास्ट कलाओं की प्रतियोगिता अलग-अलग आयु वर्ग में आयोजित की गई। स्पर्धा में कोंडागांव का उत्कृष्ट प्रदर्शन रहा।
कोण्डागांव सहायक आयुक्त संकल्प साहू व जिला शिक्षा अधिकारी अशोक पटेल के मार्गदर्शन में इस राज्य स्तरीय प्रतियोगिता में शिक्षक शिवचरण साहू, काष्ठशिल्पकार और मड़ानार के बच्चे सागर सॉरी, दिलीप यादव, संजय यादव, फलेंद्र ठाकुर, खिलेंद्र द्वारा काष्ठ और चित्रकला प्रतियोगिता में अपने हुनर का बेहतर प्रदर्शन कर अपने साथ-साथ शिल्प नगरी और कोण्डागांव के शिल्पकारों का मान बढ़ाया है।
इस प्रतियोगिता स्थल का अवलोकन करते हुए आदिम जाति कल्याण मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह, संचालक टेकाम अपर, संचालक आर एस भोई, शम्मी आबिदी द्वारा शिवचरण साहू द्वारा लकड़ी से राज्यपाल अनुसुईया उइके की तस्वीर को निर्धारित समय 3 घंटे 15 मिनट में पूरा करने पर प्रशंसा करते हुए उत्कृष्ट हस्तकला के रूप में चयन किया।
आयोजकों के निर्णय अनुसार कार्यक्रम के समापन अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित राज्यपाल को शिल्पकार शिवचरण साहू के हाथों भेंट किया 18 से 30 आयु वर्ग में फलेंद्र कुमार ठाकुर ने काष्ठकला में आजादी के अमृत महोत्सव का चित्रांकन कर राज्य स्तर पर प्रथम स्थान प्राप्त किया।
मड़ानार के बच्चों द्वारा बनाए गए। चित्रकला और कला की अवलोकन टीम अपर संचालक आर एस भोई, उपसंचालक जसवीर सिंह, सहायक संचालक रमा उईके, अनुसंधान सहायक शिवकुमार बांधे, परमार डॉ. रुपेंद्र कवि के द्वारा उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए शिल्प नगरी कोण्डगांव के शिल्पकारों की बहुत-बहुत प्रशंसा की गई।
शिल्पकार तीजू राम विश्वकर्मा, राजेंद्र बघेल, तरुण नाग, गौतम मरकाम, मोनिका मीना देवांगन द्वारा उत्कृष्ट सम्मान के साथ हर्ष व्यक्त किया गया।