कोण्डागांव
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कोण्डागांव, 25 अप्रैल। राष्ट्रीय वैक्टर जनित रोग नियंत्रण कार्यक्रम के अंतर्गत जिले भर में विभिन्न जागरूकता आयोजन किए जा रहे हैं। इसके अंतर्गत प्राथमिक विद्यालय धाकड़पारा में भी विश्व मलेरिया दिवस 25 अप्रैल का आयोजन किया गया। मलेरिया दिवस मनाने का उद्देश्य बच्चों व लोगों को जानलेवा बीमारी मलेरिया की ओर लोगों का ध्यान आकृष्ट करने और नियंत्रण के उपाय अपनाने हेतु जागरूक करना था।
इस अवसर पर संस्था की शिक्षिका मधु तिवारी ने मलेरिया के लक्षण जैसे बुखार आना, सिर दर्द, मितली एकंपकपी के साथ ठंड लगने हाथ पैरों में दर्द आदि के बारे में बच्चों को बताया। इसके तहत लक्षणों के साथ-साथ बचने के उपाय भी बताए।
मलेरिया से बचने का सबसे अच्छा उपाय है- मच्छरदानी का उपयोग घर के सभी सदस्य करें, जागरूकता की कमी के चलते मच्छरदानी का उपयोग ग्रामीण जन अन्य कार्यों में करते है, घर के आसपास गंदा पानी जमा ना होने दें, गंदा पानी जमा होने पर उसमें मिट्टी तेल डालकर मच्छरों को मारा जा सकता है, मलेरिया विभाग द्वारा दवाई छिडक़ाव आदि उपाय करने से मलेरिया से बचा जा सकता है। घर के आसपास का वातावरण स्वच्छ रखे। यदि मलेरिया के लक्षण दिखाई दें तो तत्काल निकटतम चिकित्सालय या चिकित्सक से इलाज कराना चाहिए। इस मौसम जनित बीमारियों से बचे गर्मियों में होने वाली आम बीमारियों, पीलिया, टायफाइड, चिकनपॉक्स, लू लगना, चेचक, आदि से बच्चों को सावधान किया। मलेरिया दिवस पर संस्था के शिक्षक तारा वासनीकर, दिनेश देवांगन व स्व सहायता समूह के सदस्य मौजूद रहे।