रायपुर
![स्टेशन जाते आटो में उठाईगिरी, सोने से भरा बैग पार, शिकायत पर जीआरपी ने मुंह मोड़ा स्टेशन जाते आटो में उठाईगिरी, सोने से भरा बैग पार, शिकायत पर जीआरपी ने मुंह मोड़ा](https://dailychhattisgarh.com/uploads/chhattisgarh_article/1652013140611842327G_LOGO-001.jpg)
आठ अप्रैल को बड़ी वारदात, लेकिन जांच नहीं
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
रायपुर, 8 अप्रैल। शहर में ऑटो सवार एक यात्री से अब तक की सबसे बड़ी उठाईगिरी हुई है। अज्ञात गिरोह ने सोने से भरा बैग गायब कर दिया। दिलचस्प यह है कि बड़ी वारदात की शिकायत के बाद जीआरपी ने पूरी तरह से किनारा कर लिया। लोकल पुलिस से भी कोई मदद नहीं मिली कि एक माह बाद यात्री ने पीएमओ के नाम पर पत्र लिखकर अपनी स्थिति से अवगत कराया। यात्री के बैग में करीब 35 तोला सोने के जेवरात थे, अज्ञात लोगों ने बड़ी चालाकी से उसे गायब कर दिया।
रविवार को मामले के बारे में पता चला। प्रार्थी का नाम उमेश कुमार हिंदुजा है। उमेश आठ अप्रैल को अनुपम नगर से रेलवे स्टेशन के लिए निकले थे। सपरिवार घर से रवाना होने के बाद अपने साथ छह बैग रखा था। जब ट्रेन पकड़ा तब उन्हें एक बैग गायब मिला। इसी बैग में उन्होंने अपने घर का सारा जेवर रखा था। आवश्यक पासपोर्ट और दूसरे दस्तावेज भी रखे थे, अज्ञात ने बड़ी चालाकी से उसे गायब कर दिया। जब बैग नहीं होने का पता चला तब चेन पुलिंग कर रेलवे पुलिस को घटना से अवगत कराया लेकिन जांच अफसरों ने मामला स्टेशन के बाहर का होना बताकर टाल दिया। उमेश गंज और फिर जीआरपी थाना भी गए लेकिन तस्दीकी के नाम पर पुलिस यहां भी सुस्ती से पेश आई। आखिर में उमेश को लाखों रुपये के जेवरात खोने के बाद मायूस लौटना पड़ा।
उमेश ने इस मामले को लेकर पीएमओ के नाम से पत्र लिखा है। डॉक के माध्यम से प्रधानमंत्री कार्यालय को न्याय दिलाने पत्र प्रेषित किया। उमेश को शक है कि पेशेवर ढंग से उसका बैग गायब कर दिया गया। सीसीटीवी फुटेज की जांच ठीक तरह से नहीं हो पाने के कारण आरोपी तक पहुंचा नहीं जा सका। उमेश ने बताया, अगर पुलिस और जीआरपी ने दोनों तत्परता दिखाई होती तो शायद उनके जेवरात मिल गए होते। बहरहाल उमेश को पीएमओ से उम्मीदें है कि लोकल पुलिस को मामले में संज्ञान लेने कोई दबाव बनाया जा सके। गौरतलब है कि शहर में ऑटो लेकर कई गिरोह सक्रिय है जो अपने सहयोगियों को गाड़ी में पहले से बिठा लेते हैं और नई सवारी के बैठ जाने के बाद उठाईगिरी की वारदात को अंजाम दे देते हैं। इसके पहले ही कोतवाली क्षेत्र में भी खुलासा हो चुका है।
दुर्ग के पकड़ाए थे शातिर
एंटी क्राइम एंड सायबर यूनिट की टीम ने कुछ समय पहले ही कोतवाली क्षेत्र में सक्रिय रहने वाले दुर्ग के गैंग का खुलासा किया था। दो आरोपी पकड़े जिनसे मौदहापारा, जीई रोड और फिर कोतवाली क्षेत्र में लोगों से उठाईगिरी करने का खुलासा हुआ। आरोपी ऑटो सवार होने वाले यात्रियों का बैग या फिर पर्स पार करने में लगे थे। कई बार देखा गया था जब आरोपी रूट बदलने की बात कहकर भी सवारी को निशाने पर लिया था।
आधा अधूरा फुटेज दिखाया
प्रार्थी उमेश का कहना है कि उनके मामले में जीआरपी ने आधा अधूरा फुटेज दिखाकर चलता कर दिया। स्टेशन में बैग उतारने वाले ऑटो चालक के बाहर की गतिविधियां नहीं देखी। ऐसे में उनके बैग का कुछ भी पता नहीं चल सका। गंज पुलिस के पास पहुंचने पर स्टाफ ने यह कहकर जांच से मना कर दिया कि क्षेत्र उनका नहीं है। रेलवे पुलिस या फिर जीआरपी ही मामले में संज्ञान ले सकती है। उठाईगिरी का मामला रास्ते और फिर स्टेशन परिसर के बीच के दायरे में आकर फंस गया।