राजनांदगांव

दशकों पुराना कच्चा रास्ता श्रमदान से दुरूस्त
12-Aug-2023 1:37 PM
दशकों पुराना कच्चा रास्ता श्रमदान से दुरूस्त

 सहकारी बैंक अध्यक्ष नवाज संग छुरिया क्षेत्र के बीजेपार के बाशिंदों ने पेश की अनूठी मिसाल
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 12 अगस्त।
दशकों पुराने एक कच्चे रास्ते को छुरिया के अंदरूनी गांव बीजेपार के बाशिंदों ने स्वस्फूर्त श्रमदान के जरिये दुरूस्त कर एक अनूठी मिसाल पेश की है। लगभग 3 किमी के इस कच्चे रास्ते के बेहतर होने से न सिर्फ छत्तीसगढ़ बल्कि महाराष्ट्र के सीमावर्ती गांव के ग्रामीणों को आवागमन में सहूलियत होगी। 

बीजेपार-भर्रीटोला के बीच का यह रास्ता दशकों से अपनी दुर्दशा पर आंसू बहा रहा है। ऐसे में जिला सहकारी बैंक अध्यक्ष नवाज खान ने ग्रामीणों संग एक जनसहयोग की भावना लेकर श्रमदान करने की मुहिम शुरू की। शनिवार को बीजेपार के बाशिंदों ने त्यौहार के रूप में श्रमदान कर एक नया उदाहरण पेश किया है। बैंक अध्यक्ष नवाज खान ने  ग्रामीणों को कष्टमुक्त करने श्रमदान को एक बढिय़ा जरिया बनाया। 

किसान चौपाल कार्यक्रम में कच्चा रास्ता को नया रूप देने के लिए श्रमदान के लिए सहमति बनी। स्वस्फूर्त ग्रामीण इस मुहिम में जुड़ गए हैं। ग्रामीणों की माने तो उक्त मार्ग को लगभग 25 साल पहले ग्रामीणों ने सामुहिक चंदा कर एक किसान से खरीदा था। आज पर्यन्त यह मार्ग कीचड़ और उबडख़ाबड़ रास्ते के रूप में है। राजनीतिक तौर पर ग्रामीणों की सदियों पुरानी मांग को अनसुना करना एक तरह से रिवाज बन गया। ऐसे में नवाज भाई की अपील पर ग्रामीण श्रमदान करने के अभियान में स्वमेव जुड़ गए।  श्रमदान के कारण अब यह रास्ता आवाजाही के लिहाज से सुगम हो गया है। इस रास्ते से सीधे ग्रामीण  पैरीटोला होकर छुरिया आसानी से पहुंच सकते हैं। जबकि मौजूदा समय में 9 किमी का अतिरिक्त सफर करने के बाद ही छुरिया का रास्ता तय होता है। बीजेपार-भर्रीटोला कच्चा रास्ता दुरूस्त होने से झाडीखैरी, मालडोंगरी, ग्वालदंड, विचारपुर, खेड़ेपार के अलावा महाराष्ट्र के मातेखेड़ा, कुसमी, मुड़मारी, तुमड़ीकसा और कटलीटोला जैसे गांव के लोगों को सुगम रास्ता नसीब होगा।

झाड़ीखैरी के सरपंच हेमसिंग निर्मलकर ने कहा कि इस सडक़ की वजह से विद्यार्थीगण व ग्रामीणजन पीडि़त है। यह सडक़ बारिश के दिनों में ग्रामीणों और स्कूली बच्चों को लिए एक बहुत बड़ी समस्या बन जाती है। इस सडक़ को लेकर अधिकारियों, जनप्रतिनिधियों और विधायक तक को अवगत कराया जा चुका है, बावजूद इसके इस समस्या की ओर किसी का ध्यान नहीं दिया गया। गत् दिनों जिला सहकारी बैंक अध्यक्ष नवाज खान द्वारा गांव में जनचौपाल लगाया गया। जिसमें ग्रामीणों और आसपास के गांव के जनप्रतिनिधियों ने नवाज भाई से इस समस्या से अवगत कराया। इस पर बैंक अध्यक्ष नवाज ने ग्रामीणों और स्वयं इस सडक़ के लिए श्रमदान कर उक्त सडक़ को बेहतर बना रहे हैं।  पंच मेहतरीन बाई ने कहा कि  स्कूली बच्चों को स्कूल जाने और ग्रामीणों को छुरिया जाने के दौरान परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। साथ ही बारिश की वजह से फिसलन होने से गिरकर चोटिल होना पड़ जाता है।  बीजेपार के ग्रामीण घासीराम पाल ने कहा कि सडक़ की समस्या को लेकर मरीजों और ग्रामीणों को परेशानियों का सामना करना पड़ता है। इसके साथ ही समीप के गांव में पढऩे वाले स्कूली बच्चों को भी इस सडक़ में बारिश के पानी की वजह से दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। इस सडक़ में स्कूली बच्चों को जाने के दौरान उनके कपड़े खराब हो जाते हैं। यह समस्या करीब 20 साल से बनी हुई है।

 

जनप्रतिनिधि-ग्रामीण के साझा प्रयास से बनी नई परंपरा-नवाज

श्रमदान को एक पुण्य कार्य का दर्जा देते बैंक अध्यक्ष नवाज भाई ने कहा कि जनप्रतिनिधि और ग्रामीणों का श्रमदान को लेकर शुरू किया गया यह प्रयास एक तरह से नई परंपरा बन गई है। उन्होंने कहा कि प्रदेश में मुख्यमंत्री भूपेश बघेल किसानों के हित को लेकर कारगर निर्णय ले रहे हैं। देश में छत्तीसगढ़ की सरकार विशुद्ध रूप से किसानों की सरकार है। कच्चा रास्ता को नया रूप देने के लिए श्रमदान के लिए ग्रामीण स्वस्फूर्त सामने आए हैं। इस मुहिम का वह भी हिस्सा हैं। इसके लिए बीजेपार के ग्रामीण बधाई के पात्र हैं।
 

 

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