राजनांदगांव

मोंगरा के पानी से मोहारा एनीकट लबालब
21-Apr-2022 12:58 PM
 मोंगरा के पानी से मोहारा एनीकट लबालब

  नांदगांव की प्यास बुझाने 9.71 मिली घन मीटर पानी छोड़ा   
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 21 अप्रैल।
भीषण गर्मी में पानी की बढ़ती खपत के बीच मोंगरा जलाशय से पिछले 4-5 दिनों में पानी की बड़ी खेप छोड़ी गई है। राजनांदगांव शहर भी तेज गर्मी की मार से जूझ रहा है। पारा बढ़ते ही पानी की जरूरत में भी इजाफा हुआ है। लिहाजा मोंगरा जलाशय से पहली खेप के रूप में 9.71 मिली घन मीटर पानी पहुंचते ही मोहारा एनीकट लबालब हो गया है। करीब 10 दिन के बाद मोहारा एनीकट में मोंगरा जलाशय का पानी पहुंचा है।

मोंगरा से छोड़े गए पानी से शिवनाथ नदी में बने रातापायली, मोखली एनीकट भी पानी में डूब गए हैं। मोंगरा से छोड़ा गया पानी 40 से 50 दिनों तक राजनांदगांव शहर का प्यास बुझाने के लिए पर्याप्त है। इससे पूर्व मटियामोती जलाशय से भी पानी की आवश्यकता की पूर्ति हुई है।  अप्रैल के महीने में बढ़ती धूप के साथ नदियों के पानी का तेजी से वाष्पीकरण भी हुआ है। बढ़ते वाष्पीकरण से नदियों का जलस्तर भी घट गया है। नदी में पानी कम होने से तटीय इलाकों के बाशिंदों को भी निस्तारी और पेयजल की समस्या से जूझना पड़ रहा है।

मोंगरा जलाशय से 9 से 18 अप्रैल तक प्रतिदिन एक हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया है। मोंगरा बैराज के स्पीलगेट खोलने के बाद शिवनाथ की धार बढ़ी है। मोंगरा जलाशय से मोहारा एनीकट तक पानी पहुंचने में 10 दिन से ज्यादा का वक्त लगा। बैराज के पानी से मोहारा एनीकट के अलावा मोखली और रातापायली एनीकट भी पानी से लबालब है। यह पानी जरूरत पडऩे पर मोहारा एनीकट के लिए छोड़ा जाएगा।

इस संबंध में मोंगरा बैराज ईई एसके सहारे ने ‘छत्तीसगढ़’  को बताया कि पानी की मांग होने के कारण मोहारा एनीकट के लिए बैराज के गेट खोल दिए गए। पानी की खेप एनीकट तक पहुंच गई है। इसके बाद बैराज के गेट बंद कर दिए गए हैं। इस बीच मोंगरा बैराज के पानी से 40 से 50 दिनों तक शहर में पेयजल की समस्या नहीं होगी। पेयजल आपूर्ति को लेकर नगर निगम प्रशासन दबाव में था। मोंगरा से मिले पानी से मानसून आने तक पर्याप्त मात्रा में एनीकट में जल भराव रहेगा।
 

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