दन्तेवाड़ा
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बचेली, 5 जून। छात्रों को शिक्षा प्राप्त करने के लिए प्रोत्साहन एवं वित्तीय सहायता की जरूरत है। आज शिक्षा पहले से कहीं अधिक महंगी है जिससे छात्रों को अपने पसंद के पाठ्यक्रम और कॉलेजों की फ़ीस वहन करना कठिन हो रहा है। प्रतिभाशाली छात्रों को शिक्षा का खर्च वहन करने में वित्तीय चुनौतियों और कठिनाई का सामना करना पड़ता है इसलिए एनएमडीसी, बचेली अपनी सीएसआर गतिविधियां के माध्यम से शिक्षा के क्षेत्र में अनेक गतिविधियां संचालित करती हैं ।
ऐसी हे एक योजना का लाभ उठाकर आज दंतेवाड़ा क्षेत्र के 28 छात्र- छात्राओं ने सीयूटीएम के प्रशिक्षण उपरांत रोजगार प्राप्त कर नया आयाम लिखा। रोजग़ार प्राप्त करने की ख़ुशी में तथा जीवन में आये हुए परिवर्तन के लिए दंतेवाड़ा के आदिवासी छात्र-छात्राओं ने शनिवार को एनएमडीसी के पी के मजुमदार (मुख्य महाप्रबंधक, बचेली) को एनएमडीसी के अध्यक्ष सह प्रबंध के नाम पर एक धन्यवाद ज्ञापन पत्र सौंपा।
इस धन्यवाद ज्ञापन पत्र में छात्र-छात्राओं ने अपने अनुभव और पाठ्यक्रम से मिले हुए लाभों की व्याख्या की। धन्यवाद पत्र के माध्यम से छात्र-छात्राओं ने बताया की कैसे एनएमडीसी एवं सेंचुरियन विश्विद्यालय के संयुक्त प्रयासों से उन्हें जीवन की नई दिशा मिली।
छात्र-छात्राओं का कहना था कि आज एनएमडीसी बचेली के सार्थक प्रयासों से दंतेवाड़ा के सुदूर गावों से निकलकर सफल पेशेवर व्यक्ति बन पाए हैं तथा उन्होंने इस योजना की जमकर तारीफ की एवं एनएमडीसी के अध्यक्ष सह प्रबंध निदेशक सुमित देब, एनएमडीसी बचेली के मुख्य महाप्रबंधक पी.के. मजुमदार, सीएसआर विभाग, एनएमडीसी बचेली को हृदय से धन्यवाद दिया ।
उन्होंने बताया कि आज हमारे माता-पिता के साथ-साथ सारा समाज हम पर गर्व महसूस कर रहा है और हम चाहते हैं की इस अवसर का लाभ हमारे समाज के अन्य लोग भी उठायें।
इस मौके पर डीजीएम एनएमडीसी, बचेली ने छात्रों को सम्बोधित करते हुए कहा की एनएमडीसी, बचेली छात्रों के भविष्य निर्माण हेतु सदा अग्रसर है, उन्होंने सभी छात्र छात्रों को रोजगारोन्मुखी कौशल विकास कार्यक्रम पूर्ण करने तथा रोजगार प्राप्त करने के लिए छात्र छात्राओं को बधाई दी तथा उनके उज्जवल भविष्य की कामना की। साथ ही उन्होंने अपने प्रेरक सम्बोधन से उनका उत्साहवर्धन किया।
ज्ञात हो कि एनएमडीसी बचेली एवं सेंचुरियन विश्वविद्यालय के मध्य हुए समझौता ज्ञापन के तहत इन छात्रों को कौशल विकास कार्यक्रम हेतु प्रायोजित किया गया था । जिसमें दंतेवाड़ा जिले के 29 छात्र - छात्राओं को रोजगारोन्मुखी कौशल विकाश कार्यक्रम फेलोबोटॉमी तकनीशियन के लिए चयनित किया गया था जिसमें शिक्षा, खान-पान, यूनिफार्म इत्यादि सभी सुविधाएं मुफ्त थी। इनमें से 28 छात्र छात्राओं को कैंपस प्लेसमेंट के माध्यम से रोजगार भी प्राप्त हुआ।