कोण्डागांव
भीषण गर्मी के बाद भी कूलर की नहीं हो पाई है व्यवस्था
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कोण्डागांव, 20 अप्रैल। कोण्डागांव के चिखलपुट्टी में जिले का सबसे बड़ा जिला अस्पताल संचालित है। सबसे बड़ा अस्पताल होने के चलते जिला अस्पताल में सबसे अधिक मरीज आईपीडी और ओपीडी के लिए पंजीकृत होते हैं। सबसे बड़ा अस्पताल होने के बावजूद जिला अस्पताल प्रबंधन के माध्यम से यहां मूलभूत सुविधाओं को अनदेखा किया है। इस सुविधाओं का जायजा मीडिया की टीम ने जिला अस्पताल में पहुंच कर लिया है। यहां मरीजों की स्थिति व उनके सुविधाओं के लिए मरीज और अस्पताल के अधिकारियों से चर्चा की गई है।
इन दिनों कोण्डागांव में गर्मी लगभग 40 डिग्री तक पहुंच चुका है। तो इधर भारी गर्मी के बीच कोण्डागांव के जिला अस्पताल में मरीजों की संख्या में किसी भी तरह का कोई गिरावट दर्ज नहीं की गई है।
यदि केवल ओपीडी रजिस्ट्रेशन की बात करें तो प्रतिदिन औसतन 300 मरीज यहां डॉक्टरों से इलाज करने के लिए पंजीकृत किए जाते हैं, तो वहीं 200 बिस्तर सुविधा वाले जिला अस्पताल में हर वक्त मरीजों की संख्या लगभग 200 ही बनी रहती है। इन सबके बीच मरीजों और उनके परिजनों के लिए मूलभूत सुविधा में सबसे शीर्ष पर पेयजल की सुविधा मुहैया करवाना जिला अस्पताल की सबसे बड़ी जवाबदारी है। गर्मी के लगभग 40 डिग्री पहुंच जाने के बावजूद कोण्डागांव के जिला अस्पताल प्रबंधन की ओर से कोई व्यवस्था नहीं की गई है। नतीजान कोण्डागांव के जिला अस्पताल में पहुंचने वाले मरीज व उनके परिजनों को पेयजल के लिए इधर-उधर भटकना पड़ रहा है। कई बार स्थिति ऐसी भी निर्मित हो रही है कि, मरीज के परिजनों को पेयजल के लिए जिला अस्पताल के ही पास संचालित शिशु एवं मातृत्व अस्पताल में जाकर पानी लेकर आना होता है।
अस्पताल में नहीं हो पाई है कूलर की व्यवस्था
मौसम विभाग ने पहले ही आगह कर दिया था कि, इस वर्ष गर्मी भीषण रूप दिखाएगी। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार मौसम ने अपना तेवर दिखाना शुरू कर दिया है। अभी अप्रैल खत्म भी नहीं हुआ है कि मई जैसा गर्मी महसूस होने लगा है। इन सब के बावजूद कोण्डागांव जिला अस्पताल में मरीजों के परिजनों के लिए जंबो कूलर या नॉर्मल कूलर की भी व्यवस्था नहीं की गई है। यहां बीते वर्ष में लगाए गए कूलर में से दो कूलर फंक्शन में है, जिसके भरोसे पूरा जिला अस्पताल अपनी गर्मी के पसीने को सुखा रहा है।
पेयजल के लिए एक ही वाटर कूलर सह फिल्टर, मवेशी भी न पिये इस पानी को
कोण्डागांव के जिला अस्पताल में मरीजों के पेयजल समस्या निदान के लिए नगरपालिका की ओर से एक वाटर कूलर सह वाटर फिल्टर इनस्टॉल करवाया गया है।
जिला अस्पताल प्रबंधन इस वाटर कूलर को मेंटेन करने में भी सक्षम नहीं है। दरअसल वाटर कूलर को जिस स्थान पर रखा गया है, उसके नीचे वाटर कूलर से रिसते पानी में कीड़े लग चुके हैं, वहीं अस्पताल से निकलने वाले बाथरूम के वेस्टेज पानी भी वाटर कूलर वाले सेक्शन की ओर से ही निकाला जाता है, जिससे यहां हद से भी अधिक गंदगी फैली हुई है। इस स्थान को देखने पर ऐसा प्रतीत होता है कि यहां किसी मवेशी के द्वारा भी पानी नहीं पिया जा सकता है।
इस मामले पर कोण्डागांव के सिविल सर्जन सह अस्पताल अधीक्षक डॉ. आरसी ठाकुर ने कहा कि, इस संबंध में संज्ञान में आया है। सुविधाओं को जल्द पूरा किया जाएगा। उन्होंने दावा किया है कि, मीडिया टीम जब अगले निरीक्षण में जिला अस्पताल पहुंचेगी, तब तक इन समस्याओं का समाधान कर लिया जाएगा।