सुकमा
कोंटा ब्लॉक के स्कूलों का हाल
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दोरनापाल, 19 जुलाई। सुकमा जिले के कोंटा विकासखंड अंतर्गत बेहतर शिक्षा व्यवस्था की पोल खुली है। पोलमपल्ली में कन्या आश्रम जगरगुंडा के बच्चे जिस स्कूल में पढ़ाई करते हैं, वहां एक भी चपरासी न होने से स्कूल की सफाई से लेकर बैठने की व्यवस्था तक वहां के बच्चे खुद करने को मजबूर हैं। इतना ही नहीं उच्च प्राथमिक शाला में 100 बच्चों के पीछे एक प्राचार्य के साथ केवल एक शिक्षिका की पदस्थ हैं, जबकि इन 100 बच्चों के पीछे कुल 5 कक्षाएं लगती हैं, ऐसे में एक शिक्षिका एक समय में 5 कक्षाएं लेने को मजबूर हैं।
मंगलवार को जब ‘छत्तीसगढ़’संवाददाता स्कूल में शिक्षा व्यवस्था का जायजा लेने पहुंचे तो उन्होंने पाया कि छोटे-छोटे बच्चे वहां झाड़ू लगा रहे हैं और अपने बैठने की व्यवस्था कर रहे हैं। इस पर अधीक्षिका ललिता कंवर से ‘छत्तीसगढ़’ टीम ने बात की। अधीक्षिका ने बताया कि यहां चपरासी और शिक्षक की कमी है, जिसको लेकर वरिष्ठ अधिकारियों को आवेदन भी हमारे द्वारा किया गया है, ताकि शिक्षकों की कमी को दूर किया जा सके।
बच्चों की थाली से मेनू गायब सिर्फ दाल-भात
इतना ही नहीं कोंटा ब्लॉक के ही बुर्कापाल प्राथमिक शाला में भी ‘छत्तीसगढ़’ पहुंची, जहां बच्चों की थाली से मेनू ही गायब था। जहां प्रदेश के मुखिया बच्चों को बेहतर मध्यान्ह भोजन देने के निर्देश देते हैं, वहीं दूसरी ओर सुदूर अंचल क्षेत्र में बच्चों की थाली से मेनू ही गायब हो जाता है।
जब ‘छत्तीसगढ़’ टीम बुर्कापाल पहुंची तो बच्चों को मध्यान्ह भोजन परोसा जा रहा था। ह‘छत्तीसगढ़’ ने पाया कि लगभग सभी बच्चों की थाली में केवल दाल और चावल ही नजर आ रहा था, जिसके बाद ‘छत्तीसगढ़’ की टीम स्कूल के रसोईघर तक पहुंची, जहां खाना परोसा जा रहा था, वहां भी यही स्थिति थी। रसोइए से पूछा गया तो उनका कहना था कि सब्जी नहीं है, इसलिए केवल दाल चावल ही दिया जा रहा है।
2 महीने से समूह ने उपलब्ध नहीं करवाया राशन
इस मामले पर इलाके के संकुल समन्वयक मोहनलाल दिल्लीवार ने ‘छत्तीसगढ़’ को बताया कि मां दुर्गा स्व सहायता समूह द्वारा मध्यान्ह भोजन के लिए राशन उपलब्ध कराया जाता है, जो बार-बार बोलने के बाद भी जून औऱ जुलाई का राशन उपलब्ध नहीं कराया गया, जिसके चलते मध्यान्ह भोजन व्यवस्थित रूप से नहीं दिया जा पा रहा है। शिक्षक अपनी व्यवस्था पर वैकल्पिक व्यवस्था कर रहे।
इस मामले पर दुर्गा स्व सहायता समूह की अध्यक्ष दीपाली रानी से फोन पर ‘छत्तीसगढ़’ ने चर्चा की, जिस पर उन्होंने बताया कि बारिश की वजह से मैं राशन नहीं पहुंचा पाई। राशन चिंतलनार में रखा है, मैं शिक्षक से बोली थी कि वक्त मिले तो राशन ले आएं। फिलहाल में बाहर हूँ, 1-2 दिन में ही राशन मैं स्कूल में पहुँचवाऊंगी।