सुकमा
सुकमा, 9 फरवरी। छत्तीसगढ़ बजट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए नगरपंचायत अध्यक्ष दोरनापाल बबिता माड़वी ने कहा कि साय सरकार का पहला बजट आम जनता के अपेक्षा और उम्मीदों के विपरीत घोर निराशाजनक रहा है, न इसमें युवाओं के रोजगार के संदर्भ में कोई रोड मैप दिख रहा है, न ही महंगाई से निपटने कोई ठोस रणनीति है।
एक लाख़ युवाओं को सरकारी नौकरी देने का वादा था, लेकिन बजट में नई नौकरियों के लिए कोई प्रावधान नहीं हैं, उल्टे बेरोजगारी भत्ता की राशि खा गए। कॉलेज जाने वाले छात्रों से वादा था, यात्रा भत्ता देने का जिसके लिए कोई बजट प्रावधान नहीं है। 500 रुपए में गैस सिलेंडर देने का वादा करने वाले भाजपाई गैस सब्सिडी के लिए एक रुपए का भी बजट प्रावधान नहीं कर पाए हैं।
जारी विज्ञप्ति में आगे कहा है कि बजट 1 साल के लिए होता है, लेकिन झांसा 2047 तक का? छत्तीसगढ़ में प्रस्तुत आज का बजट अभिभाषण पूरी तरह से भाजपा के चुनावी जुमलो की तरह ही था। झूठ और लफ्फाजी के कसीदे पढ़े गए। मोदी की चरण वंदना में समर्पित इस बजट में छत्तीसगढ़ के प्रति केंद्र सरकार की अपेक्षा और भेदभाव का कोई जिक्र नहीं था। केंद्रीय करों में रोके गए राज्य की हिस्सेदारी और कोल की रायल्टी के पेनल्टी का पैसा वर्षों से लंबित है उस पर एक शब्द भी नहीं बोल पाए।
उन्होंने कहा है कि पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार के द्वारा प्रस्तुत पिछले बजट में छत्तीसगढ़ में चार-चार नए मेडिकल कॉलेज खोलने की व्यवस्था दी गई थी इस बजट में एक भी नया मेडिकल कॉलेज या इंजीनियरिंग कॉलेज खोलने का प्रावधान नहीं है। 25 लाख तक विशेष स्वास्थ्य सहायता योजना संचालित थी, हमर अस्पताल, हमार लैब, हाट बाजार क्लिनिक, मोहल्ला क्लीनिक, स्लम स्वास्थ्य चिकित्सा योजना संचालित थी।
पिछले बजट में 19488 करोड़ का प्रावधान शिक्षा के लिए रखा गया था जो कुल बजट का 19.4 प्रतिशत था इस बजट में यह राशि घटाकर 15.95 प्रतिशत कर दिया गया है। जो लक्ष्य या जीडीपी दुगना करने का बताया जा रहा है, पूर्ववर्ती कांग्रेस की सरकार ने करके दिखाया है। राज्य की जीएसडीपी 2017-18 में मात्र 2 लाख़ 70 हजार करोड़ थी जो बढक़र पूर्ववर्ती कांग्रेस के शासनकाल में ही 5 लाख 9 हजार करोड़ तक हो गया, अर्थात कांग्रेस के 5 साल में राज्य का जीडीपी दुगुना हुआ था। विगत 3 वर्षों से प्रदेश सरकार ने कोई नया कर्ज नहीं लिया था, भाजपा की सरकार आते ही पिछले 2 महीने में चार बार नया कर्ज लिया गया, 5000 करोड़ से अधिक का नया कर्ज अब तक विष्णु देव साय सरकार ले चुकी है। 2022-23 में राजस्व आधिक्य 2661 करोड़, 2023-24 में 3500 करोड़, इस बार राजस्व आधिक्य घटकर मात्र 1060 करोड़। कुल मिलाकर विष्णुदेव साय सरकार के पहले बजट ने छत्तीसगढ़ की जनता को निराश किया है।