छत्तीसगढ़
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। प्रदेश और जिले में किसानों के प्रति हो रहे अत्याचार और भेदभाव के विरुद्ध आवाज उठाकर न्याय दिलाने की चिंता करना छोड़, किसान बिल का विरोध करने दिल्ली कूच करने वाले स्वयंभू किसान नेताओं को सांसद संतोष पांडे ने आड़े हाथों लेते स्थानीय स्तर पर आवाज उठाने की बात की है।
उन्होंने जारी विज्ञप्ति में कहा कि आए दिन अखबारों में खबर प्रकाशित कर मानपुर वनांचल में चल रहे धान खरीदी में किसानों की समस्या को उजागर किया था। छत्तीसगढ़ के सभी धान खरीदी केंद्र उसी प्रकार की समस्या का सामना कर रहे हैं। घुमका में किसान की मौत और शहीद की पत्नी से वसूली की आग अभी बुझी नहीं थी, कि मानपुर में अधिक धान खरीदी का मामला सामने आया, लेकिन इन सभी समस्याओं की चिंता किए बिना अपनी रोटी सेंकने और केंद्र को बदनाम करने की नीयत से कुछ स्वयंभू किसान नेता दिल्ली जा रहे हैं, जो साबित करने को काफी है कि ये लोग बस राजनीति कर रहे हैं, इनको किसानों से कोई सरोकार नहीं है।
उन्होंने कहा कि मानपुर वनांचल में धान खरीदी केंद्र में बारदाने की समस्या तो आम है। अब धान का उठाव नहीं होने से समिति की परेशानी अलग बढ़ी हुई है।
पटवारियों के हड़ताल से जिन किसानों के रकबा में गड़बड़ी है वो भी परेशान हैं, बहुत से किसान टोकन और गत वर्ष के धान के पैसे नहीं मिलने से धान खुले मार्केट में बेच रहे हैं, लेकिन छत्तीसगढ़ के किसानों की इस हालत पर सवाल उठाने की जगह मानपुर इलाके में सक्रिय कुछ स्वयंभू किसान नेता दिल्ली में चल रहे आंदोलन में पंजाब के किसानों के सहयोग के लिए जा रहे हैं। ऐसे लोग अपने एजेंडे के तहत केंद्र सरकार को बदनाम करना चाहते हैं।
अंबागढ़ चौकी, 28 दिसंबर। छग व महाराष्ट्र को जोडऩे वाली बांधाबाजार से चिल्हाटी मार्ग का नवीनीकरण आठ वर्ष बाद शुरू होने वाला है। दो राज्यों के मध्य सेतु का काम करने वाले इस मुख्य मार्ग में नवीनीकरण कार्य बांधाबाजार से जोरातराई के मध्य होगा।
लोक निर्माण विभाग की इस प्रमुख मार्ग के नवीनीकरण कार्य का भूमिपूजन खुज्जी विधायक छन्नी चंदू साहू द्वारा रविवार को बांधाबाजार में किया गया। सडक़ के नवीनीकरण कार्य के लिए हुए भूमिपूजन से क्षेत्र के ग्रामीणों व यात्रा करने वाले ग्रामीणों में खासा उत्साह है। ग्रामीणों ने नवीनीकरण कार्य के लिए शासन से मंजूरी दिलाने पर स्थानीय विधायक का आभार जताया है।
कार्यक्रम में जिला पंचायत सदस्य अरूण यादव, कांग्रेस नेता अनिल मानिकपुरी, रफीक खान, जनपद सदस्य योगमाया साहू, जनपद सदस्य शेषवरी धुर्वे, सरपंच प्रीति चौहान अतिथि के रूप में उपस्थित थे। अतिथियों ने अपने संबोधन में नवीनीकरण कार्य के लिए मंजूरी दिलाने पर विधायक का आभार जताया। सभा का संचालन किसान नेता उदेराम साहू व आभार ज्ञापन अधिवक्ता मनराखन साहू ने किया। इस अवसर पर कांग्रेस नेता मिथलेश ठाकुर, चंदू साहू, लालचंद साहू, रामकिशन खंडेलवाल, रामचंद नेताम, सलीम भाई, धर्मेन्द्र साहू, ललित साहू, विजय यादव, अमित पंचोली, शिक्षक रविन्द्र दुबे सहित बड़ी संख्या में ग्रामीणजन उपस्थित थे।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। खुज्जी विधायक छन्नी साहू ने जनसंपर्क विभाग द्वारा शासन के 2 वर्ष पूर्ण होने पर विकासखंड छुरिया में शासन की जनकल्याणकारी योजनाओं, उपलब्धियों और विकास कार्यों की फोटो प्रदर्शनी का शुभारंभ किया। विकासखंड स्तरीय फोटो प्रदर्शनी के माध्यम से नागरिक शासन की योजनाओं से अवगत हुए।
विधायक श्रीमती साहू ने फोटो प्रदर्शनी का अवलोकन किया। उन्होंने कहा कि जनसंपर्क विभाग द्वारा शासन की विभिन्न जनकल्याणकारी योजनाओं की फोटो प्रदर्शनी सराहनीय है। फोटो प्रदर्शनी के साथ ही शासन की सभी जनकल्याणकारी योजनाओं की जानकारी पोस्टर एवं पुस्तकों के माध्यम से नागरिकों को उपलब्ध कराया जा रहा है, जो एक अच्छी पहल है।
जनपद सदस्य चुम्मन साहू ने कहा कि जनसंपर्क विभाग द्वारा शासन की महत्वपूर्ण योजनाओं को प्रदर्शित करते फोटो प्रदर्शनी लगायी गई है, जो प्रशंसनीय है। फोटो प्रदर्शनी के आयोजन में जनपद सीईओ प्रतीक प्रधान का विशेष सहयोग रहा।
ग्राम कुर्रामटोला के किसान भुवनलाल सिन्हा ने कहा कि जनसंपर्क विभाग द्वारा लगाई गई फोटो प्रदर्शनी के माध्यम से शासन की योजनाओं की जानकारी प्राप्त हुई। प्रदर्शनी में संबल नामक किताब और पाम्पलेट्स द्वारा शासन की अन्य सभी योजनाओं की विस्तृत जानकारी मिली है। विकासखंड स्तरीय फोटो प्रदर्शनी का विभिन्न विभागों के अधिकारियों-कर्मचारियों, जनप्रतिनिधिगण तथा नागरिकों ने अवलोकन किया। फोटो प्रदर्शनी में जनसंपर्क विभाग के मछेन्द्र महाले एवं नागरिक उपस्थित थे।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
गरियाबंद, 28 दिसंबर। ग्राम पंचायत नागाबुड़ा में महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना अंतर्गत चल रहे छ: मासी नाला में तटबंध निर्माण कार्य में लगी महिला मजदूर की मौत होने पर जिला प्रशासन द्वारा संवेदनशीलता का परिचय देते हुए तत्काल 25 हजार की सहायता दी गई।
कलेक्टर निलेश क्षीरसागर के निर्देश पर जिला पंचायत सीईओ चंद्रकांत वर्मा द्वारा मृतक के परिजन को प्रावधान अनुसार 25000 की राशि उनके घर जाकर सरपंच और ग्रामवासियों के बीच प्रदान की गई।
जनपद पंचायत गरियाबंद की सीईओ शीतल बंसल ने बताया कि रविवार को ग्राम पंचायत नागाबुड़ा में छ: मासी नाला में तटबंध निर्माण का कार्य 21 दिसंबर से चल रहा है। जिसमें महिला मजदूर श्यामा बाई नायक 27 दिसंबर को कार्य कर रही थी, उनका नाम मनरेगा जॉब कार्ड में शामिल है। कार्य के दौरान वे कार्यस्थल पर ही अचानक बेहोश होकर गिर पड़ी। मौके पर मौजूद मनरेगा कर्मचारियों एवं मजदूरों द्वारा तत्काल 108 एंबुलेंस बुलाकर जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां उन्होंने मृत घोषित कर दिया। इस घटना के पश्चात जिला प्रशासन द्वारा उनके पति नोहर सिंग को मनरेगा के प्रावधान अनुसार 25 हजार की त्वरित सहायता उनके घर जाकर दी गई।
दुर्ग, 28 दिसंबर। राष्ट्रीय ब्राह्मण महासंघ द्वारा आयोजित कार्यकर्ता सम्मेलन में ऋषि पांडे को दुर्ग जिले का जिलाध्यक्ष मनोनीत किया गया। अनुपम मिश्रा को उपाध्यक्ष, महिला प्रकोष्ठ से जिलाध्यक्ष रेणु त्रिपाठी, उपाध्यक्ष आराधना त्रिपाठी, सचिव आशा त्रिपाठी, सहसचिव गीता मिश्रा, कोषाध्यक्ष मिथलेश मिश्रा, मीडिया प्रभारी मंजु मिश्रा, सह मीडिया प्रभारी सुषमा दुबे तथा पूनम तिवारी को संरक्षण बनाया गया।
सम्मेलन में पहुंचे ब्राह्मण महासंघ के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष नीलकंठ त्रिपाठी ने कहा कि जिस प्रकार युवा पीढ़ी अपने सामाजिक कार्यों में रुचि ले रहे है वह समाज के उत्थान के लिए मील का पत्थर साबित होगा। इस दौरान प्रदेश महासचिव हितेश शुक्ला, सचिव विनय दुबे, उपाध्यक्ष सोनू गोस्वामी, रीना तिवारी, प्रतिभा पांडे, प्रखर तिवारी, धर्मेन्द्र गोस्वामी, राहुल पंडित, अनिल शुक्ला, राजेश पांडे सहित अन्य गणमान्य सामाजिक लोग मौजूद थे। मंच संचालन सोनू गोस्वामी व हितेश शुक्ला ने किया।
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राजनांदगांव, 28 दिसंबर। मां पाताल भैरवी सिद्धपीठ की स्थापना कर देशभर में पहचान दिलाने वाले बर्फानी दादाजी के अंतिम संस्कार के तीसरे दिवस 27 दिसंबर को राजनांदगांव लौटकर बर्फानी दादाजी के अनेक शिष्यों ने शिवनाथ नदी मोहारा में विधि विधान व मंत्रोच्चार के मध्य अपने सिर मुंडवाकर व तर्पण क्रिया कर भावभीनी भावांजलि अर्पित की। इसके अलावा छत्तीसगढ़ के अन्य स्थलों में भी उनके भक्तों द्वारा भावांजलि अर्पण करने का कार्य किया जा रहा है।
संस्था के सचिव गणेश प्रसाद शर्मा गन्नू ने बताया कि बर्फानी दादाजी का 23 दिसंबर की रात्रि में गुजरात के अहमदाबाद में देवलोक गमन पश्चात 25 दिसंबर को 5 प्रमुख स्थलों के महामंडलेश्वरों द्वारा अंतिम संस्कार क्रिया की गई थी। अंतिम संस्कार के तीसरे दिवस हिन्दू रीति-रिवाज के अनुसार जहां मेहंदीपुर में अस्थि एकत्रित की गई। वहीं राजनांदगांव में उनके भक्तों द्वारा शिवनाथ नदी के तट पर दीपक जोशी, डोमन महाराज, सूरज जोशी, मनीष परमार, योगेन्द्र पांडे, संतोष खंडेलवाल, संजय खंडेलवाल, चंद्रकुमार जायसवाल, प्रकाश गुप्ता, विनय सोनी, विकास सोनी, आलोक जोशी, डॉ. सुबोध गुप्ता, संतोष साहू, अधीनराम सिन्हा, रविन्द्र डोंगरे, अनील वर्मा, धनुकराम वर्मा, सुनील यादव, सुखीराम, युवराज देशमुख, गजानंद गौतम, अजय कन्नौजिया, एकानंद पुरी, मुचुंद पुरी, अरुण सोनवानी, प्रमोद राजपूत, हुकुमचंद साहू ने अपने सिर के बाल को अर्पित करते शिवनाथ नदी में डुबकी लगाकर तर्पण क्रिया को पूर्ण करते भावांजलि अर्पित की।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
धमतरी, 28 दिसंबर। कलेक्टर जयप्रकाश मौर्य के निर्देशानुसार, मुख्यकार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत एवं उपाध्यक्ष नम्रता गांधी के अध्यक्षता एवं डॉ.डी.के. तुर्रे के मार्गदर्शन में इंडियन रेडक्रॉस सोसायटी जिला शाखा धमतरी द्वारा जिला संगठक डॉ.शैलेन्द्र गुप्ता के नेतत्व में जिला पंचायत सभा कक्ष में अधिकारी कर्मचारी एवं चतुर्थ श्रेणी के सभी कर्मचारियों को एक साबुन एवं एक मास्क का नि:शुल्क वितरण किया गया।
वर्तमान में कोरोना के प्रति लोगों का डर खत्म हो रहा है फलस्वरूप लोग सावधानी रखने में लापरवाही बरत रहे है। जिससे कारण खतरा बढ़ सकता है। रेडक्रॉस सोसायटी द्वारा जनमानस को कोरोना से सुरक्षा हेतुु सावधानी, उपाय तथा जागरूकता कार्यक्रम पूरे जिले में रेडक्रॉस वॉलटियर्स के माध्यम से आयोजित किया जा रहा है। जिसका उददे्श्य एक गज दूरी मास्क जरूरी, जब तक दवाई नहीं तब तक ढिलाई नहीं लोगों को जागरूक करने एवं बाहर निकलते समय मास्क अनिवार्य रूप से पहनने तथा साबुन से कम से कम 3 से 4 बार हाथ धोनें हेतु जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है।
अधिकारी एवं कर्मचारियों को कोरोना संक्रमण से जागरूक करने के लिए जिला पंचायत सभा कक्ष में साबुन एवं मास्क वितरण किया गया।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 28 दिसंबर। सार्वजनिक श्री साईं महोत्सव समिति श्री साईं बाबा मंदिर सिविल लाइन कसारीडीह में 28 व 29 दिसंबर को आयोजित 44 वां वार्षिक श्री साईं महोत्सव मानव सेवा.माधव सेवा के कथनों को मूर्त रूप देगा।
वैश्विक महामारी कोरोना संकटकाल में प्रभावितों को मदद पहुंचाने वाले कोरोना वारियर्स का 29 दिसंबर को दोपहर 3 बजे कर्मवीर सम्मान से सम्मानित किया जाएगा। वहीं कर्मवीरों के हाथों असहाय एवं गरीब वर्ग को ठंड से बचने कंबल का वितरण कर मानव सेवा की जाएगी। इसके अलावा इस दिन रंगोली व ड्राइंग प्रतियोगिता के प्रतिभागियों को पुरस्कार वितरण किया जाएगा। इस अवसर पर गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू कार्यक्रम के मुख्य अतिथि होंगे। विशेष अतिथि के रूप में महापौर धीरज बाकलीवाल, निगम सभापति राजेश यादव, प्रदेश कांग्रेस कमेटी के महामंत्री राजेंद्र साहू कार्यक्रम में उपस्थित रहेंगे।
कोरोना संक्रमण के सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए इस वर्ष आम भंडारा, छत्तीसगढ़ी सांस्कृतिक कार्यक्रम एवं शोभायात्रा नहीं निकालने का मंदिर समिति ने निर्णय लिया है। श्री साईं बाबा की शोभायात्रा केवल मंदिर के पास सिविल लाइन में ही भ्रमण कर वापस मंदिर पहुंचेगी। इसके अलावा अन्य धार्मिक आयोजन पूर्ववत रहेंगे। कोरोना संक्रमण के सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए मंदिर में श्रद्धालुओं को बिना मास्क लगाए प्रवेश नहीं मिलेगा। सैनिटाइजर का उपयोग व सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना अनिवार्य होगा। वार्षिक महोत्सव को लेकर मंदिर में विशेष विद्युत साज-सज्जा की गई है।
उक्ताशय की जानकारी देते हुए श्री साई बाबा मंदिर समिति के अध्यक्ष श्रीकांत समर्थ एवं सचिव धनेंद्र सिंह चंदेल ने बताया कि वार्षिक महोत्सव की शुरुआत 28 दिसंबर को सुबह 7 बजे श्री साईं बाबा के महाभिषक के साथ हुई। दिन भर विविध कार्यक्रम हुए।
वार्षिक महोत्सव के दूसरे दिन 29 दिसंबर को सुबह 7.30 बजे आरती एवं प्रसाद वितरण, सुबह 9 श्री सत्यनारायण कथा-पूजन, दोपहर 12 बजे आरती एवं प्रसाद वितरण, दोपहर 12.45 बजे साईं भक्तों द्वारा श्री साईं बाबा लीलामृत पठन, दोपहर 1 बजे श्री साईं आरती व भजन मंडली एवं श्री साईं सत्संग महिला मानस मंडली कसारीडीह द्वारा श्री साईं भजनों की प्रस्तुति, दोपहर 3 बजे कर्मवीर सम्मान समारोह एवं रंगोली और ड्राइंग प्रतियोगिता के प्रतिभागियों को पुरस्कार वितरण, शाम 6.30 बजे आरती एवं प्रसाद वितरण, शाम 7 बजे श्री साईं बाबा की पालकी, रात्रि 9 बजे शेज आरती, धन्यवाद ज्ञापन एवं महोत्सव का समापन होगा। वार्षिक महोत्सव की तैयारियों में श्री साईं मंदिर समिति के उपाध्यक्ष संजय सिंह, रविंद्र भटनागर, सह सचिव संतोष यदु , कोषाध्यक्ष धीरेन्द्र शर्मा, प्रचार सचिव मुरलीधर राऊत, कौशल किशोर सिंह, एवं समिति के अन्य सदस्य जुटे हुए हैं।
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। कलेक्टर टीके वर्मा के निर्देशानुसार अवैध उत्खनन पर लगातार कार्रवाई की जा रही है। इसी कड़ी में रविवार को डोंगरगढ़ विकासखंड के पलोटी कॉलेज परिसर में मुरूम का अवैध उत्खनन करते 3 हाईवा एवं 1 जेसीबी जब्त की गई तथा थाना के सुपुर्द की गई। कार्रवाई में तहसीलदार अविनाश ठाकुर एवं राजस्व निरीक्षक श्री मिश्रा उपस्थित थे। प्रकरण अग्रिम कार्रवाई हेतु जिला कार्यालय खनिज शाखा भेजा जा रहा है।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
दुर्ग, 28 दिसंबर। देश के दिग्गज कांग्रेस नेता मोतीलाल वोरा के निधन के बाद श्रद्धांजलि अर्पित करने देश व प्रदेश के प्रमुख नेताओं के दुर्ग आगमन का सिलसिला लगातार जारी है।
इससे पहले 25 दिसंबर को वोरा निवास में वरिष्ठ भाजपा नेता पूर्व मंत्री अजय चंद्राकर, शिव रतन शर्मा, रजनीश सिंह, देवजी भाई पटेल, कृष्ण मूर्ति बांधी, रंजना दीपेंद्र साहू, डमरूधर पुजारी, विधान मिश्रा, लीलाराम भोजवानी, जोगी कांग्रेस के नेता धर्मजीत सिंह, बसपा विधायक सौरभ सिंह वोरा निवास पहुंचे और अपनी शोक संवेदनाएं प्रकट की। सभी ने बाबूजी के साथ जुड़ी अपनी यादों को विधायक वोरा के साथ साझा किया। बाबूजी की दी हुई सीख को याद किया।
गुरुवार को कांग्रेस भवन दुर्ग में हुई श्रद्धांजलि सभा के दौरान कांग्रेसजनों की आंखें नम थी। जिस कांग्रेस भवन में कांग्रेसजनों ने बाबूजी से अनगिनत बार पार्टी के प्रति निष्ठा, एकता और समर्पित रहने का सबक सीखा था, उसी भवन में बाबूजी की तस्वीर पर पुष्पांजलि अर्पित करने के पल कांग्रेसजनों के लिए बेहद दुख भरे थे।
पार्टी के वरिष्ठ नेता पूर्व विधायक भजन सिंह निरंकारी, बीडी कुरैशी, प्रदीप चौबे, शंकरलाल ताम्रकार, महापौर धीरज बाकलीवाल, मदन जैन, आरएन वर्मा, प्रतिमा चंद्राकर, निर्मल कोसरे, लक्ष्मण चंद्राकर, राजेश यादव, राजेन्द्र साहू, फतेह सिंह भाटिया, मोहन हरमुख, रिवेंद्र यादव सहित अन्य नेताओं ने बाबूजी के साथ बिताए लम्हों को याद किया।
इसी सभा में श्रद्धांजलि देने पाठ्यपुस्तक निगम के अध्यक्ष शैलेश नितिन त्रिवेदी ने बताया कि जब मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को जब भी जरूरत पड़ी, तब बाबूजी ने हर समय मदद की। स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर दिल्ली के कांग्रेस मुख्यालय में सोनिया गांधी ने अध्यक्ष रहते हुए बाबूजी के हाथों ध्वजारोहण करवाकर उन्हें जो सम्मान दिया, वह अविस्मरणीय है।
सभा में अल्पसंख्यक आयोग के अध्यक्ष महेंद्र सिंह छाबड़ा ने कहा कि वे पूरे देश के सर्वमान्य नेता थे। सबको साथ लेकर कार्य करने की शैली से सभी प्रभावित थे। पूर्व विधायक प्रदीप चौबे ने कहा कि साधारण परिवार से निकलकर राजनीति को ऊँचाई छूने वाले विरले व्यक्ति थे बाबूजी। उन्होंने दुर्ग को राष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाई।
श्रद्धांजलि सभा में शालिनी यादव, देवेंद्र देशमुख, नीलेश चौबे, सुशील भारद्वाज, नासिर खोखर, संदीप श्रीवास्तव, राजकुमार पाली, अजय मिश्रा, अनीता तिवारी, कुणाल तिवारी, रामकली यादव, कौशल किशोर सिंह, दिलीप ठाकुर, मनीष बघेल, कल्पना देशमुख, निर्मल साहू सहित जिले के सैकड़ों कांग्रेसजन उपस्थित थे।
विधायक अरूण वोरा ने बताया कि 1985 में अविभाजित मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री बनने के बाद बाबूजी ने अथक मेहनत की। वे हर दिन सुबह से देर रात तक लगातार काम करते थे। बाबूजी रोज रात 3 बजे तक काम करते रहते। दो साल पहले तक बाबूजी की यही रूटीन रही।
मुझे याद है जब बाबूजी मुख्यमंत्री थे और उनका दुर्ग आगमन होता था, तब रात 3 बजे तक अधिकारियों की बैठक, फाइलें निबटाने और फोन पर भोपाल के उच्चाधिकारियों को निर्देश देते रहते। अगले दिन सुबह 7- 8 बजे बाबूजी प्लेन से भोपाल या दिल्ली के लिए रवाना हो जाते। हालत यह रहती थी कि उनका प्लेन उडऩे के बाद कई बार कलेक्टर व अन्य अफसर भागते हुए एयरपोर्ट पहुंचते थे। समय की पाबंदी और अनुशासित जीवन उनकी जीवनशैली का अभिन्न हिस्सा रही। बिना थके लगातार मेहनत करते रहने की उनकी क्षमता, समय की पाबंदी, आज का काम आज ही खत्म करने की आदत 93 साल की उम्र तक कायम रही।
सीईओ ने किया गांवों में निर्माण कार्यों का निरीक्षण
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। जिला पंचायत सीईओ तनुजा सलाम निरंतर दौरा कर क्षेत्रों में कार्यों की गुणवत्ता, निरंतरता एवं पूर्णता हेतु निर्देश दे रही हैं। इसी कड़ी में श्रीमती सलाम ने जनपद पंचायत छुरिया एवं डोंगरगढ़ के ग्राम पंचायतों का निरीक्षण किया।
सीईओ ने ग्राम झंडातालाब में चल रहे तालाब गहरीकरण के कार्य का निरीक्षण किया, जहां लगभग 100 से अधिक मजदूर कार्यरत थे। उन्होंने ग्राम पंचायत में कार्य की पर्याप्त स्वीकृति देने हेतु निर्देश दिए एवं गौठान के लिए जल्द से जल्द जगह चिन्हांकित करने के लिए कहा।
उन्होंने ग्राम मोतीपुर के गौठान का निरीक्षण किया, जहां 15 दिन पहले क्रय किए गए गोबर को शीघ्र ही वर्मी कंपोस्ट टैंक में डालने के लिए कहा। बाड़ी में स्व-सहायता समूह द्वारा पानी की उपलब्धता में कमी को लेकर मांग की गई, जिस पर श्रीमती सलाम ने तत्काल क्रेडा के अधिकारियों से फोन पर संपर्क कर पंप हेतु सोलर पैनल स्थापित करने के निर्देश दिए। समूह की महिलाओं को मल्टीएक्टिविटी के रूप में अन्य कार्य जैसे धूपबत्ती एवं अगरबत्ती निर्माण के लिए प्रोत्साहित किया।
भोथली के गौठान के निरीक्षण के दौरान स्वसहायता समूह की महिलाओं ने उनसे वर्कशेड हेतु आग्रह किया। उन्होंने तकनीकी सहायक द्वारा वर्कशेड के लिए पहले स्वीकृति के लिए प्रस्ताव प्रेषित नहीं करने पर नाराजगी जाहिर की। उन्होंने तत्काल स्वीकृति हेतु प्रस्ताव प्रेषित किए जाने के लिए निर्देश दिए। वन विभाग द्वारा किए गए वृक्षारोपण के कार्य में मृत पौधों का सर्वे कर तत्काल उनमें नवीन पौधे रोपित करने के लिए कहा।
उन्होंने ग्राम कलकसा का निरीक्षण किया, जहां ग्राम पंचायत द्वारा गौठान निर्माण के कार्यों को देख कर प्रसन्नता व्यक्त की एवं बाड़ी के कार्यों के लिए बाड़ी के चारों ओर फलदार पौधे लगाकर स्वसहायता समूह की आय में वृद्धि करने के प्रयास हेतु सुझाव दिया।
सीईओ श्रीमती सलाम ने जनपद पंचायत छुरिया अंतर्गत मुंजालकला का गौठान का निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान कार्यरत स्वसहायता समूह की महिलाओं ने उन्हें इस कार्य के लिए चयन किये जाने पर धन्यवाद दिया एवं कड़ी मेहनत और लगन से कार्य को सफल बनाने के लिए प्रयास करने का वादा किया। निरीक्षण के दौरान जनपद पंचायत के अधिकारी कर्मचारी तथा पशु चिकित्सा विभाग, उद्यानिकी विभाग, वन विभाग के अधिकारी एवं कर्मचारी उपस्थित रहे।
छत्तीसगढ़ संवाददाता
मनेन्द्रगढ़, 28 दिसंबर। मनेंद्रगढ़ तहसील अंतर्गत ग्राम पंचायत चनवारीडांड़ में एक जनप्रतिनिधि एवं अन्य लोगों के खिलाफ शासकीय भूमि पर बेजा कब्जा का आरोप है। चनवारीडांड़ के चौरापारा वार्ड क्र. 2 में रहने वाले बृजमोहन सिंह ने एसडीएम मनेंद्रगढ़ को शासकीय भूमि पर अतिक्रमण की लिखित शिकायत करते हुए दोषियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई किए जाने की मांग की है।
शिकायतकर्ता ने आरोप लगाते हुए कहा कि गांव की एक जनप्रतिनिधि के द्वारा नदी को पाटकर एवं शासकीय आबादी मद की भूमि पर बाउंड्रीवाल बनाकर अवैध कब्जा किया गया है जिसके कारण नदी सूख गई है और चनवारीडांड़ का जल स्तर घट गया है। आने वाले समय में ग्रामीणों को पीने के पानी के लिए संकट का सामना करना पड़ सकता है। एक जनप्रतिनिधि के द्वारा खसरा नं. 250 रकबा 2.610 हे. आबादी मद की शासकीय भूमि, खसरा नं. 228 रकबा 3.900 गौठान मद की शासकीय भूमि एवं खसरा नं. 195 नाला मद की शासकीय भूमि पर अतिक्रमण किया जा रहा है।
शासकीय भूमि पर मकान बनाकर किराए में दिया जा रहा है। वहीं सीमेंट का खंभा लगाकर तार से घेरावट करके कब्जा किया जा रहा है। शिकायतकर्ता ने शिकायत की जांच कर अतिक्रमणकारियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई किए जाने की मांग की है।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुन्द, 28 दिसम्बर। काव्यांश साहित्य व कला पथक संस्थान ने प्रांतीय कार्यालय में रविवार को पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी को उनके जन्मदिन पर याद कर श्रद्धा सुमन अर्पित किया साथ ही गीता जयंती पर वक्ताओं ने गीता में सम्पूर्ण जीवन जीने की कला समाहित होने की बात कही।
संस्थान के सदस्यों ने अपनी मौलिक रचना के साथ-साथ वाजपेयी की रचनाओं का भी वाचन कर उन्हें याद किया। फारूक मोहम्मद फिरदौस ने वाजपेयी पर लिखे अपना संस्मरण पढक़र उन्हें सर्वमान्य जन-जन की नेता कहा। अध्यक्ष भागवत जगत भूमिल ने कहा कि वे जब कभी सभा को सम्बोधित कर रहे होते तब सभा में विपक्ष का पता नहीं रहता था। वे भारतीय राजनीति के अजातशत्रु थे।
कार्यक्रम के द्वितीय सोपान में कवियों ने अपनी रचना पढ़ी। युवा कवि धनेश्वर कुमार निषाद ने अपनी रचना सौभाग्य से मिला मानव देह प्रस्तुत किया। सुब्रमण्यम कुमार बंजारे ने कितना खुश है वह अपनी आजादी को पाकर पढ़ा। पुष्पलता भार्गव सुनंदा ने तुझे बहार कहूं या फिजा कहूं जिंदगी गाकर खूब तालियां बटोरी। द्रौपदी साहू सरसीज ने समय की गति को कोई रोक नहीं पाया, चला गया व्यर्थ में वापस कभी न आया कविता पाठ किया। शफीक अहमद खान बेबाक ने कहा कि चारों तरफ आग लगी है उसे बुझाना होगा।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुन्द, 28 दिसम्बर। रविवार को राजस्व व खाद्य विभाग की टीम ने धान के अवैध भंडारण व परिवहन पर कार्रवाई करते हुए दो मामलों में 87 बोरा धान 34.8 क्विंटलद्ध जब्त किया। वहीं मामले में दो लोगों को गिरफ्तार भी किया। कार्रवाई के दौरान एक पिकअप भी जब्त किया गया है।
जानकारी अनुसार तहसील महासमुन्द के अंतर्गत ग्राम बरेकेल कला निवासी खेमराज निषाद से 25 बोरी धान जब्त किया गया। इसी प्रकार तहसील बसना से 62 बोरी धान का अंतर्जिला परिवहन में लगी हुई एक पिकअप को भी जब्त किया गया। बता दें कि जिले में धान खरीदी 1 दिसम्बर से जारी है। अब तक जिले में कुल 148 प्रकरण दर्ज किए गए हैं जिनमें 8005 बोरा धान 3202 क्विंटल धान जब्त किया गया है। वहीं अवैध परिवहन में लगे हुए 10 वाहन भी जब्त किए गए हैं। जिले में कलेक्टर कार्तिकेया गोयल के मार्गदर्शन में तहसीलदार, थाना प्रभारी, खाद्य निरीक्षक की संयुक्त उडऩदस्ता टीम का गठन कर अवैध धान परिवहन और अवैध धान भंडारण पर सतत निगरानी की जा रही है।
महासमुन्द, 28 दिसम्बर। कोरोना काल के चलते स्कूलों में ताला लटका हुआ है और पढ़ाई प्रभावित हो रही है। अनलॉक के बाद सब कुछ पटरी पर आ चुका है लेकिन बच्चों की पढ़ाई का काम बंद है।
आगामी फरवरी माह तक स्कूल खुलने के आसार नहीं दिख रहे हैं। कोरोना संक्रमण है कि जिले में बढ़ते ही जा रहा है । आगामी महीनों में कोरोना संक्रमण के बढऩे के आसार है। विद्यार्थियों को वर्तमान में ऑनलाइन पढ़ाई कराई जा रही है लेकिन प्रैक्टिकल की तैयारी अभी तक पूरी नहीं हो पाई है। प्रेक्टिकल को लेकर छात्र-छात्राओं में असमंजस की स्थिति बनी हुई है। वहीं शिक्षकों का कहना है कि प्रैक्टिकल को लेकर अभी तक समय सारिणी प्रशासन की ओर से नहीं आया है।
ब्लॉक शिक्षा अधिकारी एस चंद्रसेन ने बताया कि अभी तक प्रैक्टिकल की तिथि निर्धारित नहीं की गई है लेकिन असाइनमेंट की तर्ज पर प्रैक्टिकल लिया जाएगा। जब वह असाइनमेंट जमा करने आएंगे तो, उसी समय वाइवा भी होगा। कैमेस्ट्री, फिजिक्स और अन्य सब्जेक्ट में 75 नबर का प्रश्न पूछा जाता है, जबकि प्रेक्टिकल और थ्योरी को मिलाकर 25 अंक का पर्चा होता है। परीक्षा में छात्रों के लिए एक-एक अंक मायने रखता है । ऐसे में प्रैक्टिकल नहीं हुआ तो छात्र-छात्राओं को नुकसान होगा ।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुन्द, 28 दिसम्बर। ज्योतिषाचार्य नगर पुरोहित पंकज तिवारी ने बताया कि इस साल 15-16 दिसम्बर की मध्यरात्रि में सूर्य धनु राशि में प्रवेश कर गए हैं। इसलिए 16 दिसम्बर से 14 जनवरी 2021 तक धनु संक्रांति होने से मलमास दोष रहेगा।
ज्योतिष ग्रंथों के मुताबिक इन दिनों में भवन, भूमि या रीयल इस्टेट से जुड़ी खरीदारी भी की जा सकती है। केवल सोने और गुरु ग्रह से सम्बंधित चीजों की खरीदारी के लिए इस समय को ठीक नहीं है। पं.तिवारी के मुताबिक शास्त्रों में मलमास के आधा बीतने पर खरीदारी की मनाही नहीं है। मलमास की शुरुआत 16 दिसम्बर से हो चुकी है। सूर्य के धनु राशि में आने से खरमास शुरू होना माना जाता है। इसलिए 14 जनवरी 2021 तक मांगलिक कार्य नहीं किए जाएंगे। लेकिन खरमास में किसी को जमीन, मकान या वाहन खरीदना है तो वे आधा मलमास बीतने के बाद खरीद सकते हैं। इसके लिए 1 जनवरी से योग है। इन 14 दिनोंं में 8 श्रेष्ठ मुहूर्त है, जिसमें खरीददारी कर सकते हंै। अगर अति आवश्यक हो तो चीजें खरीदने में कोई समस्या नहीं है। वाहन आदि भी खरीदे जा सकते हैं। केवल नए वस्त्र और आभूषण आदि नहीं पहनने चाहिए, लेकिन इन्हें खरीद सकते हैं।
पंडित जी कहते हैं कि सूर्य 14 जनवरी 2021 को मकर राशि में प्रवेश करेगा। इस दिन मकर संक्रांति पर्व मनाया जाता है और पवित्र नदियों में स्नान करके दान किया जाता है। इस दिन से उत्तरायण प्रारंभ होता है।
विवाह समेत समस्त शुभ कार्य इसी दिन से प्रारंभ हो जाते हैं, लेकिन इस साल 16 जनवरी को गुरु तारा अस्त हो जाएगा और 16 फरवरी तक अस्त ही रहेगा। गुरु ग्रह अस्त होने पर भी शुभ विवाह नहीं होता है। 16 फरवरी से 18 अप्रैल तक शुक्र ग्रह अस्त रहेगा। मांगलिक कार्य के लिए शुभमुहूर्त नहीं है और 22 अप्रैल.2021 से साल का पहला शुभ मुहूर्त होगा और शादियां व शुभकार्यों का शुभारंभ होगा। बीच में 16 फरवरी को बसंत पंचमी को भी अबूझ मुहूर्त रहता है। इस दिन भी बिना मुहूर्त देखे विवाह कार्य होते हैं।
गोबर के बहुउद्देशीय प्रयोग से अवगत कराया राजेश्री महन्त ने
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
शिवरीनारायण, 28 दिसंबर। मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह छत्तीसगढ़ राज्य के कांग्रेस के दिवंगत नेता मोतीलाल वोरा के शोक संतप्त परिवार से मिलने के लिए छत्तीसगढ़ आए हुए थे। वे पहुना में रुके हुए थे।
राज्य गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष राजेश्री डॉक्टर महन्त रामसुन्दर दास जी महाराज अपने तीन दिवसीय जांजगीर-चांपा जिले के प्रवास से पामगढ़ में मुख्यमंत्री के कार्यक्रम में सम्मिलित होकर मुख्यालय रायपुर वापस हो रहे थे ।उन्हें जैसे ही पता चला कि दिग्विजय सिंह पहुना में रुके हुए हैं वे सीधे वहां पहुंचे स्वागत सत्कार की। औपचारिकता पूर्ण होने के पश्चात पूर्व मुख्यमंत्री ने राजेश्री महन्त जी से पूछा महाराज राज्य में गौ सेवा कैसे चल रहा है? राजेश्री महन्तजी महाराज ने उन्हें अवगत कराते हुए कहा कि राज्य के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निर्देशन में गौ सेवा आयोग पूरे छत्तीसगढ़ राज्य में अच्छा कार्य कर रहा है, गौ माता का संरक्षण एवं संवर्धन विगत 15 वर्षों की तुलना में बहुत अच्छा हो रहा है। गोबर के बहुउद्देशीय प्रयोग राज्य के विभिन्न गौशाला एवं गौठानों में हो रहा है। लोग गोबर से दीपक, राखी, मृतक संस्कार तथा अन्य उपयोग के लिए बनाए जाने वाले गोबर की लकड़ी बना रहे हैं इसकी मांग बाजार में निरंतर बनी हुई है।
सरकार दो रुपए किलो में किसानों से गोबर खरीद रही है इसका उपयोग जैविक खाद के निर्माण के लिए किया जा रहा है, जैविक खाद को सरकार किसानों से 10 किलो में क्रय कर रही है इससे सामाजिक आर्थिक व्यवस्था मजबूत हुई है। महिला स्व सहायता समूहों के द्वारा गौठानों में मशरूम का उत्पादन भी किया जा रहा है राजेश्री महन्त की बातें सुनकर पूर्व मुख्यमंत्री काफी प्रसन्न हुए। मंत्री शिव डहरिया ने पूर्व सरकार पर कटाक्ष करते हुए उन्हें अवगत कराया कि पहले वे लोग एक रुपए किलो में चावल दिया करते थे अब हमारी सरकार 2 रुपए किलो में गोबर खरीद रही है उनके इस बात पर लोगों ने खूब ठहाके लगाए। वार्तालाप के समय छत्तीसगढ़ प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष मोहन मरकाम, अमितेश शुक्ला, छाया वर्मा, किरणमयी नायक, शैलेश नितिन त्रिवेदी, चंद्रशेखर शुक्ला, राजेंद्र तिवारी जैसे अनेक नेतागण उपस्थित थे।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुन्द, 28 दिसम्बर। खरीफ फसल की उपज को भी बेचने किसानों को कई तरह की परेशानियों का सामना करना पड़ता है। किसान अपनी पूरी उपज नहीं बेच पा रहे हैं। यही हाल रबी फसल के उपज का होता है। उस दौरान भी किसान अपने उपज को मंडी में औने-पौने दाम में बेचता है।
सरकार खरीफ फसल के धान को प्रति एकड़ 15 क्विंटल की ही खरीदी कर रही है। जबकि एक एकड़ में 22 से 25 क्विंटल धान का उत्पादन होता है। शेष धान को किसान औने-पौने में बेचने मजबूर हैं। मालूम हो कि इन दिनों जिला प्रशासन ने बिचौलियों व राइस मिलर्स के पास धान बेचने पर प्रतिबंध लगा दिया है। यदि बेचते हुए पाए गए तो उस पर पांच गुना टैक्स भी वसूला जाएगा। इसी डर के कारण मिलर्स व बिचौलिया भी धान लेने के लिए कतरा रहे हैं। हालांकि प्रतिदिन विभाग कार्रवाई कर रहा है। खरीदी के बाद जिन किसानों का धान पकड़ा गया है, उसे पांच गुना टैक्स अदा करने के बाद छोड़ेंगे। इसके अलावा बड़े किसान न तो मंडी में धान बेच रहे हैं और ना ही जिले के 1557 किसान ऐसे हैं जिनका पंजीयन समर्थन मूल्य में धान बेचने के लिए नहीं हुआ है। इन किसानों ने भी खरीफ सीजन में धान की फसल ली है।
प्रशासनिक लापरवाही के चलते ये किसान छूट गए हैं। इन किसानों को अब धान बेचने में दिक्कतें आ रही है।
पुलिस ने किसानों को अंदर जाने से रोका
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुन्द, 28 दिसम्बर। राष्ट्रीय किसान मोर्चा और राष्ट्रीय मतदाता जागृति मंच के संयुक्त तत्वावधान में किसानों ने केंद्र सरकार के द्वारा पारित तीन कृषि कानून के विरोध में रविवार को रैली निकालकर सांसद चुन्नीलाल साहू के जिला मुख्यालय स्थित कार्यालय का घेराव किया।
किसान सांसद से कृषि बिल के बारे में चर्चा करने पहुंचे थे लेकिन कार्यालय के सामने खड़ी पुलिस ने किसानों को निवास के अंदर जाने से रोक दिया। इसके बाद किसानों ने सांसद से मुलाकात करने की बात कहीं लेकिन पुलिस ने सांसद के नहीं होने की जानकारी दी। इसके बाद किसानों ने घंटों प्रदर्शन किया और राष्ट्रपति के नाम पांच सूत्रीय मांग तहसीलदार मूलचंद चोपड़ा को सौंपा। किसानों ने बताया कि पिछले एक माह से दिल्ली के बॉर्डर पर कपकपाती ठंड में किसान अपने परिवारों के साथ आंदोलनरत हैं। जिनके समर्थन में संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा किसान विरोधी तीनों बिल को वापस लेने के लिए रैली के रूप में सांसद निवास पहुंचे और उनका घेराव किया है। उन्होंने बताया कि सांसद चुन्नीलाल लाल साहू कृषि बिल पर चर्चा से घबराकर नदारद हो गए हैं।
पूर्व विधायक व भाजपा प्रदेश कार्यसमिति सदस्य डॉ.विमल चोपड़ा, पार्षद देवींचद राठी, सासंद कार्यालय प्रभारी मोहन साहू, सांसद प्रतिनिधि पवन साहू, किसानों से चर्चा करने पहुंचे और पूछा कि कृषि कानून के कौन से बिन्दु में समस्या है और कौन से कानून में किसान विरोधी नियम है। उनके सवालों का किसी भी किसान ने जवाब नहीं दिया। ड ॉ. चोपड़ा ने आंदोलनकारियों से कहा कि कोई ज्ञापन देना चाहते हैं तो हमें दे दें लेकिन किसानों ने डॉ. चोपड़ा की किसी भी बात पर ध्यान नहीं दिया और न ही कोई ज्ञापन ही उन्हें सौंपा। सासंद की अनुपस्थिति में किसानों ने तहसीलदार को ज्ञापन देने की बात कही।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। शहर के लखोली क्षेत्र में आज दोपहर को एक कच्चे मकान में भीषण आग लगने से संपत्ति और मकान जलकर खाक हो गया। बताया गया है कि वार्ड नं. 35 के सतनामीपारा मोहल्ले की चंपाबाई मेश्राम एक वैवाहिक कार्यक्रम में शामिल होने घर से बाहर थी। इस दौरान उसके बहू और बेटे घर में थे।
आज सुबह नहाने के लिए गर्म पानी करने के बाद बेटा और बहू घर से बाहर चले गए। बताया जा रहा है कि चूल्हे का आग पूरी तरह से बुझा नहीं था। धीरे-धीरे चूल्हे की चिंगारी भीषण आग में बदल गई और घर के सामानों को अपने लपेटे में ले लिया। इधर मोहल्ले के लोगों ने घर से धुंआ उठता देखकर आग बुझाने की कोशिश की, तब तक घरेलू सामान आग की लपटो में खाक हो गया।
बताया जा रहा है कि पड़ोसियों ने आग बुझाने के लिए दमकल टीम को भी सूचना दी। दमकल वाहन के नहीं पहुंचने की स्थिति में पड़ोसियों ने आग बुझाने के लिए कड़ी मशक्कत की। बहरहाल आगजनी से मकान खाक हो गया है। वहीं घरेलू सामान भी जलकर नष्ट हो गए हैं। कोतवाली पुलिस मामले की जांच कर रही है।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। जिले के खैरागढ़ वन मंडल में बाघ की मौजूदगी से हलाकान वन अमले को तीसरे दिन बाघ की हलचल नजर नहीं आई। हालांकि ग्रामीण इलाकों में वन अमले की ओर से मुनादी कराकर बाघ से बचने लोगों को चेतावनी दी गई है।
मिली जानकारी के मुताबिक ढ़ारा के आसपास सटे गांवों में बाघ देखे जाने की कुछ भ्रामक खबरें भवी सामने आ रही है। वन अफसर हर खबरों को बकायदा तस्दीक कर बाघ की खोजबीन में लगे हुए हैं। बताया जा रहा है कि बाघ के ओझल होने पर वन महकमा ढ़ारा से सटे जंगलों में उसके प्रवेश करने की संभावना जताई है। ढ़ारा से जंगल की दूरी करीब 4 किमी दूर है। सोमवार सुबह से लेकर दोपहर तक बाघ की कहीं हलचल होने की जानकारी नहीं मिली है। माना जा रहा है कि जंगल में एक बार दाखिल होने के बाद बाघ की वापसी की संभावना कम है।
इस संबंध में खैरागढ़ डीएफओ संजय यादव ने ‘छत्तीसगढ़’ से कहा कि सोमवार को बाघ को लेकर कोई जानकारी नहीं मिली है। कहीं-कहीं बाघ देखने की खबरें भी मिली, जिसे तस्दीक किया गया, लेकिन उसका पता नहीं चला।
इस बीच खैरागढ़ वन मंडल में पिछले 26 दिसंबर को दिखे बाघ की उपस्थिति को लेकर गांव-देहातों में लगातार वन अफसर फील्ड में डटे रहे। कल ढ़ारा के करीब ढोखेडबरी और आल्हानवागांव में बाघ को देखे जाने की जानकारी मिली थी। बाघ की तस्दीक के लिए दर्जनभर गांवों में वन विभाग की टीम तैनात रही। वहीं सीसीएफ शालिनी रैना ने भी गांवों का दौरा किया।
बताया जा रहा है कि बाघ का लोकेशन पता करने के लिए पूरे मुस्तैदी के साथ टीम फील्ड में तैनात रही। उधर आज बाघ की हलचल नहीं मिलने से वन अमले ने राहत की सांस ली है, लेकिन मैदानी अमला अब भी जमीनी स्तर पर बाघ की तलाश कर रहा है।
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। कोरोनाकाल में स्वास्थ्य महकमे में संविदाकर्मी के रूप में पदस्थ रहे कर्मचारियों ने कार्य से पृृथक किए जाने का विरोध करते हुए प्रशासन से दोबारा सेवा में रखे जाने की मांग की है
कलेक्टर के नाम सौंपे ज्ञापन में अपनी व्यथा सुनाते संविदा कर्मियों ने बताया कि कोविड-19 संक्रमण से बचाव के लिए संविदाकर्मी के रूप में सभी कार्य कर रहे थे। बीते 15 दिसंबर को स्वास्थ्य विभाग द्वारा सभी की सेवाएं समाप्त कर सेवामुक्त कर दिया जिसके चलते संविदाकर्मियों के सामने भरण-पोषण की समस्या खड़ी हो गई है।
ज्ञापन में अपनी पीड़ा का उल्लेख करते बताया कि पूर्व में सभी अलग-अलग क्षेत्रों में कार्यरत थे। शासकीय सेवा में कार्य करने का मौका मिलने की आस लेकर सभी ने पूर्व कार्य को छोड़ दिया, अब अचानक सभी को हटाए जाने से आजीविका को लेकर दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। कलेक्टर से आग्रह करते सभी ने दोबारा संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी पद पर नियुक्त किए जाने की मांग की है।
जवानों के करतूतों पर अफसरों ने साधी चुप्पी
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
राजनांदगांव, 28 दिसंबर। घोर नक्सल प्रभावित डोंगरगढ़ वन परिक्षेत्र के घोटिया-तोतलभर्री में सागौन की तस्करी करते सपड़ाए जवानों की पहचान करने के बाद वन विभाग गंभीर धाराओं के तहत कार्रवाई करने की तैयारी में है।
बताया गया है कि पूरे घटनाक्रम को लेकर सीसीएफ शालिनी रैना ने वन अफसरों को वस्तुस्थिति की जानकारी लेकर ठोस कार्रवाई करने का निर्देश दिया है। बताया जा रहा है कि डोंगरगढ़ रेंज के एसडीओ टीएस खान और रेंजर रतिराम कुर्रे जब्त सागौन की लकडिय़ों को ठूठ से मिलान कराने जुटे हुए हैं। बताया जा रहा है कि जंगल से कटाई होने की पुष्टि तथा किसी व्यक्ति से खरीदी किए जाने की स्थिति में अलग-अलग धाराओं के तहत कार्रवाई होगी।
मिली जानकारी के मुताबिक सागौन कटाई के लिए प्रशासन से लेकर वन महकमे की अनुमति लेने का प्रावधान है। वन अफसर पूरे मामले में कार्रवाई करने के लिए हर स्तर पर जानकारी जुटा रहे हैं। हालांकि प्रशासन का रूख भी पूरे मामले में लचीला दिख रहा है। बताया जा रहा है कि पैरामिलिट्री फोर्स आईटीबीपी के नक्सल समस्या पर दिए गए योगदान को दृष्टिगत रखते हुए कार्रवाई करने में लीपापोती की जा रही है। दिलचस्प बात यह है कि अनुशासन पसंद आईटीबीपी के अफसरों की ओर से जवानों के करतूतों को लेकर अब तक कोई विभागीय कार्रवाई नहीं की गई है। सूत्रों का कहना है कि आला अफसर तस्करी में शामिल जवानों के बचाव के लिए तरह-तरह के हथकंडे अपना रहे हैं।
मिली जानकारी के मुताबिक वन महकमे ने वाहन चालक के बयान के आधार पर टीके अमित कुमार, संजू नायर, वाहन चालक सुखराम वैष्णवी, एसआई त्रिलोचन सिंह तथा आरक्षक अनिल भाटी के तस्करी में शामिल होने पर कार्रवाई को लेकर जांच कर रही है। बताया जा रहा है कि ग्रामीणों ने बकायदा जवानों को सरकारी वाहन में सागौन की लकडिय़ां ले जाते घेर लिया।
ग्रामीणों के बताए बयान में यह बात भी सामने आई है कि कार्रवाई से बचने के लिए जवानों ने राजनांदगांव से अतिरिक्त फोर्स भी बुला लिया। इस दौरान ग्रामीणों और आईटीबीपी के जवानों में काफी बहस हुई। जवानों ने ग्रामीणों के साथ गाली-गलौज भी की। उधर आईटीबीपी के अफसर पूरे मामले में चुप्पी साधकर जवानों को बचाने की फिराक में है। इस संबंध में डीआईजी छोटाराम जाट ने ‘छत्तीसगढ़’ से कहा कि इस मामले की मुझे कोई जानकारी नहीं है। वह घटना को लेकर जानकारी लेंगे।
इस बीच आईटीबीपी के जवानों को आधी रात बिना सुरक्षा के वाहन लेकर प्रवेश करने पर भी सवाल खड़े हो रहे हैं। नक्सल क्षेत्र होने के बावजूद जवानों ने बिना सुरक्षा जंगल में प्रवेश किया। पूरे मामले में आईटीबीपी की ओर से अब तक कार्रवाई करने को लेकर स्थिति साफ नहीं हुई।
'छत्तीसगढ़ संवाददाता'
बिलासपुर, 28 दिसम्बर। धमतरी जिले के गंगरेल बांध से प्रभावित किसानों को 48 साल लम्बी कानूनी लड़ाई के बाद अब न्याय मिलने की उम्मीद है। हाईकोर्ट ने उनके मुआवजा तथा पुनर्वास प्रकरण का निराकरण 3 माह के भीतर करने का निर्देश राज्य सरकार को दिया है।
रविशंकर शुक्ला बांध (गंगरेल बांध) के निर्माण के लिये सन् 1972 में 55 गांवों को खाली कराया गया था। सिर्फ एक पत्र जारी कर 8 हजार 500 की जनसंख्या वाले आदिवासी बाहुल्य 55 ग्रामों को अधिग्रहित कर लिया गया था, जिसमें उन्हें जमीन, मकान और पेड़ का मुआवजा देने की बात भी कही गई थी। जब मुआवजा बांटा गया तो उन्हें नाम मात्र की राशि मिली। एक आदिवासी परिवार को सिर्फ 10, 20 रुपये मुआवजा मिला। एक पेड़ की कीमत 25 पैसे लगाई गई। अधिकतम मुआवजा 250 रुपये का था। अनेक परिवार ऐसे थे जिन्हें कोई मुआवजा नहीं दिया गया, न ही उनका व्यवस्थापन किया गया। इसे लेकर ग्रामीणों ने आपत्ति की तो अधिकारी आश्वासन देते रहे लेकिन उचित मुआवजा देने की कार्रवाई नहीं की। इसके खिलाफ ग्रामीणों ने जबलपुर हाईकोर्ट में मुआवजा और व्यवस्थापन की मांग करते हुए याचिका दायर की। छत्तीसगढ़ राज्य के गठन के बाद यह प्रकरण बिलासपुर हाईकोर्ट में सुना गया। यहां लगभग 20 साल यह प्रकरण चला। हाईकोर्ट में जस्टिस पीपी साहू की सिंगल बेंच ने मुआवजे और व्यवस्थापन्न की कार्रवाई को अपर्याप्त बताते हुए नये सिरे से आकलन कर मुआवजे तथा व्यवस्थापन्न का लाभ देने का निर्देश दिया है।
48 साल पुराने मामले में अधिकांश विस्थापित आदिवासी गुजर चुके हैं। अब उनके बेटे और पोते इस मुकदमे को लड़ रहे थे जिन्हें हाईकोर्ट के आदेश का लाभ मिलेगा। तीन जिलों धमतरी, दुर्ग और कांकेर में जिला प्रशासन द्वारा मुआवजे और व्यवस्थापन की कार्रवाई अब की जायेगी।
हाईकोर्ट में अधिवक्ता संदीप दुबे ने पैरवी की कोई फीस नहीं ली। उन्होंने कहा कि पूर्व में राज्य सरकार द्वारा आदिवासियों को आश्वासन दिया जाता रहा और अलग-अलग जवाब दाखिल किया जाता रहा, जिसके चलते मामला 48 साल तक खिंचा। छत्तीसगढ़ बनने के बाद भी हाईकोर्ट में राज्य सरकार द्वारा 2004 से 2010 तक यही कहा जाता रहा कि मुआवजा वितरण व व्यवस्थापन्न की जांच रिपोर्ट बनाई जा रही है, लेकिन जवाब प्रस्तुत नहीं किया गया। विस्थापित परिवारों के लिये कई समितियों और प्रशासनिक अधिकारियों की अनुशंसा के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई।
गांव में नहीं पहुंचा आज तक एम्बुलेंस, बुनियादी सुविधाएं नहीं, सिर्फ आश्वासन
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कोण्डागांव, 27 दिसंबर। जिला अंतर्गत बयानार थाना क्षेत्र का एक छोटा सा गांव कोहकड़ी बुनियादी सुविधाओं के लिए तरस रहा है। इस गांव में शासकीय संसाधनों की बात करें तो सडक़, पानी, बिजली, स्वास्थ्य, शिक्षा जैसे बुनियादी सुविधाएं ग्रामीणों से कोसों दूर है। लेकिन इस गांव के आम जनता आज भी स्थानीय प्रशासन व क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों से पूरी उम्मीद लगाए रखे हैं कि उनके क्षेत्र में देर सवेर ही सही विकास की लौ जरूर जलेगी। इसी आशाओं के साथ कोहकाड़ी के ग्रामीणों ने लगातार विधायक स्तर के जनप्रतिनिधियों से लेकर जिला स्तर के अधिकारियों तक पहुंची व्यथा सुनाई हैं। लेकिन हर बार की तरह उन्हें विकास के बजाय विकास के वादे ही मिले हैं।
विकास खण्ड कोण्डागांव अंतर्गत मुख्यालय से लगभग 70 किमी दूर ग्राम पंचायत छोटेउसरी के कोहकड़ी में आज तक विकास का लौ नहीं जल पाया हैं। इस गांव में आज पहली बार मीडिया का कैमरा पहुंचा। यहां के ग्रामीणों ने अपनी व्यथा सुनाई, जिसके अनुसार बीमारी के साथ-साथ परिस्थितियों से भी लडऩा होता हैं। क्योकि पंचायत मुख्यालय से गांव तक पहुंचने के लिए कोई सडक़ ही नहीं हैं। यहां केवल पगडंडी से होकर ही पहुंचा जा सकता हैं। ऐसे में लगभग 7 किमी की दूरी तक गांव के छोटे हो या बुजुर्ग या फिर गर्भवती महिला सभी को डोला के ही सहारे एम्बुलेंस तक और फिर एम्बुलेंस से नजदिकी अस्पताल पहुंचाया जाता हैं।
कोहकड़ी में आजादी के 70 बरस बाद भी गांव के लोग साफ पेयजल के लिए तरस रहे हैं। कोहकाड़ी के लाऊड़पारा की बात करे तो, यहां के वाशिंदों के लिए सरकार आज तक एक हैंडपंप भी नहीं खोद पाई हैं। ऐसे में पूरा लाऊड़पारा अपने खेत में बने (बिहरी) झरिया के पानी से प्यास बुझाता हैं। गांव के पंच मणिराम कोर्राम के अनुसार, छोटेउसरी पंचायत का आश्रित ग्राम कोहकड़ी तक पहुंचने के लिए जिला मुख्यालय से चेमा तक डामर की पक्की सडक़ हैं। तो वहीं चेमा से छोटेउसरी तक सीसी सडक़ भी बनाई गई है। लेकिन पंचायत मुख्यालय से ना जाने क्यों उनके गांव तक लगभग 7 किमी पहुंचने के लिए सभी शासकीय प्रसानिक तंत्र दम तोड़ देता हैं। उनके गांव में 26 मकान है, जिसमें 370 लोगों का निवास हैं। इन 370 लोगों तक बुनियादी सभी सुविधाएं पहुंचने से पहले दम तोड़ चुकी हैं।
गांव में है 4 बिहरी, गर्मी में कीचड़ से सने पानी से बुझता है प्यास
गांव के लोगों के अनुसार, उनके गांव में चार बिरही (झरिया) हैं। इन चार बिरही में धोडग़ी नाला में एक, चिहरा नाला में एक, झरिया टट में एक और एक झोरकी नाम से ग्रामीणों ने अपनी प्यास बुझाने के लिए निर्माण किया हैं। ग्रामीणों ने दावा किया है कि, चोरों झरियां बारिश के दौरान पूरी तरह से डुब कर जलमग्न हो जाता है। इस कारण बारिश में खेत में जमा पानी से प्यास बुझाई जाती हैं। तो वहीं गर्मी के मौसम में मात्र एक या दो बिहरी में पानी रहता हैं। जिसमें या तो पानी पीने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है, या फिर दैनिक अन्य उपयोग में।
पूरे गांव का सबसे महंगा वाहन आज भी साइकिल
गांव के किसी भी ग्रामीण ने अपने गांव में आज तक कोई एम्बुलेंस नहीं देखा हैं, देखते भी कैसे यहां तक पहुंचने के लिए सडक़ ही नहीं हैं। ग्रामीणों की माने तो गांव में सबसे महंगा वाहन साइकिल है। गांव तक पक्की सडक़ और नदी नाला पार करने के लिए पुल नहीं होने से गांव के किसी ने भी चाह कर भी मोटर साइकिल तक नहीं खरीदा। अब ग्रामीण पंचायत मुख्यालय हो या जिला मुख्यालय गांव के सबसे महंगे वाहन साइकिल से ही सफर किया करते हैं।
नाला के पार है स्कूल, बरसात हुआ तो बच्चों की लम्बी छुट्टी तय
विकास से कोसों दूर छोटेउसरी के कोहकड़ी के ग्रामीणों को पता है कि, उनके गांव में विकास का लौ शिक्षा के माध्यम से ही जलेगा। शिक्षा की अलाप जलाने गांव के लगभग 18 बच्चों को प्राथमिक शिक्षा के लिए नाला के पार स्कूल जाना होता हैं। नाला पार शिक्षा के मंदिर में पहुंचने से पहले बच्चों को जीस नाला को पार करना होता है, वह बारिश के दौरान लगभग 3 माह पूरी तरह से लबालब होता हैं। ऐसे में बारिश के बाते ही गांव के बच्चों की स्कूल से लम्बी छुट्टी हो जाती हैं।
कई बार दिया लिखित आवेदन - ग्रामीण
गांव के पंच समेत स्थानीय महिला, पुरूष व बुजूर्गों ने कहा कि, उनके माध्यम से कई बार क्षेत्र के विधायक को लिखित आवेदन दिया गया हैं। लगातार हस्ताक्षर करके आवेदन देने के बाद भी आज तक किसी एक समस्या का भी समाधान नहीं हो पाया हैं।
हर घर में लगेगा नल, सर्वे दल भेज समस्या का किया जाएगा समाधान - कलेक्टर
इन मामले पर कोण्डागांव कलेक्टर पुष्पेन्द्र मीणा ने कहा, कोण्डागांव के कोहकाड़ी क्षेत्र से पेयजल की समस्या का शिकायत मिली है। जिले के ऐसे गांव जहां पेयजल की समस्या हैं, उन गांव में जल जीवन मिशन के तहत हर घर में नल दिया जाएगा। ताकि इन क्षेत्रों से पेयजल की समस्या समाप्त हो जाए। साथ ही कलेक्टर ने कहा कि, गांव में सर्वे दल भेज कर सभी तहर के समस्याओं को पता करवाया जाएगा और उनका निराकरण भी करवाया जाएगा।