गरियाबंद

टूटे पुल की मरम्मत नहीं, 35 गांवों के लोगों को 50 किमी सफर तय करना पड़ रहा
01-Mar-2022 8:16 PM
टूटे पुल की मरम्मत नहीं, 35 गांवों के लोगों को 50 किमी सफर तय करना पड़ रहा

विभागीय एवं जनप्रतिनिधियों की उदासीनता के चलते नहीं हो रहा निर्माण

शिव भिलेपारिया

गरियाबंद, 1 मार्च (‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता)। जिला मुख्यालय से महज 8 किलोमीटर दूर स्तिथ घुटकू नवापारा एवं  ग्राम पंचायत हरदी के आश्रित ग्राम कासरबाय के बीच पगार नाल पर बने रपटा 2008-09 में आये भीषण बाढ़ से हुई, क्षतिग्रस्त जो आज भी जर्जर अवस्था में लगभग 14 साल से हैं, इस कारण से लगभग 35 गांवों के लोगों को 50 किमी का अतिरक्ति सफर करना पड़ रहा है। पुलिया निर्माण नहीं होने से आसपास के ग्रामीणों में काफी आक्रोश है।

उक्त रपटा पर पुन: निर्माण की मांग को लेकर ग्रामवासियों द्वारा सम्बंधित विभाग, जनप्रतिनिधियों को आवेदन दे गुहार लगाते रह गए, बीते एक साल पूर्व केंद्रीय मंत्री के  सांसद चुन्नीलाल साहू को मांग का आवेदन ग्रामवासियों के द्वारा दिया गया। फिर भी कुछ पहल नहीं हुआ।  ग्रामवासियों द्वारा मांग करते रहे साल दर साल अधिकारियों, जनप्रतिनिधियो तक  बदल गया, किंतु तस्वीर नहीं बदली, तस्वीर तो जर्जर रपटा की।

ग्राम पंचायत हरदी के पूर्व सरपंच दयालाल ध्रुव ‘छत्तीसगढ़’  से  चर्चा करते हुए  14 साल से क्षतिग्रस्त रपटा से  क्षेत्र की आम नागरिको उक्त  क्षतिग्रस्त रपटा से  मिल रहे पीड़ा को बताया, जिसमें 30 से 35 ग्राम प्रभावित हो रहा है।

ये ग्राम पंचायत कर रहे मांग

ग्राम पंचायत हरदी, घुटकू नवापारा, बेहराबुडा, कस, कसेरू, कोचबाय के सरपंच मनीष ध्रुव, रविन्द्र कुमार, गुलशन ठाकुर, इंद्राणी ध्रुव, लिलाम्बर सिंह एवं ग्राम पंचायत हरदी के पूर्व सरपंच दयालाल ध्रुव ने बताया कि पगार नाला में बनाया गया रपटा 2008-09 आये बाढ़ से क्षतिग्रस्त हो जाने से आने जाने की परेशानियों से विगत 14 साल से क्षेत्र की जनता परेशान हो रहा हैं। क्षेत्र की जनताओं की पीड़ा सुनने, समझने के लिए अब तक कोई पहल नहीं किया गया, जनप्रतिनिधियों,  विभागीय अधिकारियों का आवेदन देते आ रहे है।

उन्होंने बताया कि प्रसिद्ध जतमई घाम जाने के लिए अधिकांश क्षेत्र के लोग इसी मार्ग का उपयोग इसलिए करते हैं, क्योंकि जतमई घाम दूरी यहां से 20 किलोमीटर तय कर पहुंच जाते हैं दर्शनार्थी। अन्य मार्ग  छुरा की ओर जाने पर 50 से 52 किलोमीटर दूरी एवं पांडुका होते हुए जाने से लगभग 52 किलोमीटर दूरी तय करना पड़ता हैं, इसीलिए जतमई घाम जाने के लिए आसपास क्षेत्र के लोग इसी मार्ग का अधिकांश उपयोग करते हैं। किंतु क्षति ग्रस्त रपटा में आये दिन घटना दुर्घटना होना आम बात इसीलिए क्षेत्र के लोगों द्वारा लगतार पुल बनाने की मांग समय समय पर जनप्रतिनिधियों विधायक , संसद एवं सम्बंधित विभागों को किया जाता रहा हैं ।

मामले में प्रधमन्त्री ग्राम सडक़ योजना के मुख्य कार्यपालन यंत्री प्रदीप वर्मा ने बताया कि सडक़ प्रधानमंत्री ग्राम सडक़ का हैं, किंतु ग्रामीणों द्वारा पुल निर्माण की मांग किया जा रहा हैं, इसलिए ब्रिज जी बी डी बता पाएंगे। वहीं ब्रिज जी बी डी के ई गंजिर ने कहा कि देखा नहीं हैं, आफिस पहुंच कर फाइल देख कर बता पाऊंगा।

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