सुकमा
‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
कोंटा, 11 जुलाई। बीते पांच दिनों से छत्तीसगढ़, ओडिशा, तेलंगाना, आंध्रप्रदेश एवं महाराष्ट्र में हो रही लगातार भारी बारिश की वजह से तेलंगाना के भद्राचलम से प्रवाहित गोदावरी नदी ने उग्र रूप धारण कर खतरे के तीसरे स्थान 53.20 फुट पर जा पहुंचा।
तेलंगाना के भद्राचलम जिला प्रशासन ने डुबान प्रांतों से लोगों को सुरक्षित बाढ़ राहत केंद्रों में ले जाया जा रहा है। गोदावरी नदी खतरे की तीसरे स्थान पर पहुंचने के कारण कोंटा पर भी इसका असर दिख रहा है। कोंटा का तेलंगाना व आंध्र से पूरी तरह संपर्क टूट गया व सोमवार के दोपहर तीन बजे से ही आवागमन पूरी तरह बाधित हो गया। छत्तीसगढ़ से गुजरने वाली मालवाहकों की पहिए आंध्र के नेल्लीपाका में थमे हैं।
शबरी नदी दूसरे खतरे की निशान पर
कोंटा से प्रवाहित शबरी नदी दूसरे खतरे की निशान को छू लिया है। वर्तमान की स्थिति में जल की ऊंचाई 10 मीटर में है। सी.डब्ल्यू.सी. (सेंटर वाटर कामन्युकेश) का कहना है कि हो रही लगातार बारिश से शबरी नदी में 10 मीटर से बढ़ कर देर रात तक 12 मीटर तक पानी बढ़ सकता है।
इधर, प्रशासन ने बाढ़ को देखते हुए पूरी तैयारियों में डटी हुई है। कोंटा के सुरक्षित स्थानों पर बाढ़ राहत केंद्रों की व्यवस्था किया जा रहा है।
कोंटा में बाढ़ की स्थिति निर्मित होती है, तो सर्वप्रथम कोंटा के वार्ड क्रमांक 15, 14, 06 में बाढ़ का पानी प्रवेश करता है। इन वार्डों में अधिकारी लगातार दौरा कर बाढ़ का जायजा ले रहे हैं।