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प्रधानपाठक पदोन्नति सूची रद्द करने की मांग, ज्ञापन
04-Nov-2022 6:14 PM
प्रधानपाठक पदोन्नति सूची रद्द करने की मांग, ज्ञापन

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

खैरागढ़, 4 नवंबर। सहायक शिक्षक से प्रधान पाठक पद में पदोन्नति का विवाद दिनों दिन बढ़ता ही जा रहा है। जंगलों में पदस्थापना आदेश पाने वाले महिला एवं दिव्यांग शिक्षकों ने कलेक्ट्रेट पहुंच कर डिप्टी कलेक्टर टंकेश्वर साहू को ज्ञापन सौंपकर त्वरित कार्रवाई करने की मांग करते हुए कहा कि पदोन्नति के बाद नए सिरे से काउंसलिंग कर पदस्थापना होनी चाहिए। ताकि दिव्यांग और महिला शिक्षकों को सही स्थान मिल सके।

 पदोन्नति के मामले में जिला शिक्षा विभाग राजनांदगांव पर पैसे का लेनदेन कर अपने करीबी शिक्षकों को आसपास के स्कूलों में अथवा उसी स्कूलों में पदस्थापना किए जाने की गंभीर आरोप लगे हैं ।

डिप्टी कलेक्टर साहू को सौंपे ज्ञापन में शिक्षकों ने बताया कि संस्था में पद रिक्त होते हुए भी दूसरी शाला और विकासखंड में पदोन्नति नियम विरुद्ध दी गई है। दिव्यांग और महिला शिक्षक को विकलांग के आधार पर पदस्थ किया जाना छोडक़र जंगल और दुर्गम इलाकों में पदस्थ किया गया है।

शिक्षिकों ने बताया कि डीईओ राजनांदगांव द्वारा पदोन्नति आदेश जारी किया गया है। लेकिन इसके लिए पहले वरिष्ठता सूची का प्रकाशन होना था। लेकिन इसके बिना पदांकन दिया गया ।जो शासन के आदेशों की अवहेलना है ।संस्था में रिक्त पद होने के बाद भी दूसरे साला अथवा विकास खंड में पदोन्नति दी गई। वहीं जिस संस्था में पद रिक्त नहीं है वहां भी पदांकन किया गया है। शिक्षकों के दल ने बताया कि वरिष्ठता की अनदेखी कर ब्लॉक के दूरस्थ इलाके में प्रदांकन किया गया। जबकि कनिष्ठ को उसी साला संकुल में नियम विरूद्ध प्रदांकन किया गया है।

जारी सूची में शिक्षा विभाग के नियम कानून की खुलकर अवहेलना की गई है।

खैरागढ़ ब्लॉक में 224 सहायक शिक्षकों को पदोन्नति कर प्रधान पाठक बनाया गया है। नियमानुसार पदोन्नति के पहले वरिष्ठता सूची और रिक्त साला के नाम का प्रकाशन होना था। लेकिन कतिपय बाबुओं की मिलीभगत के चलते नियमों की अनदेखी की गई ।वही शिक्षक हित को लेकर आवाज उठाने वाले शिक्षक तथा उनके करीबी परिजनों को ब्लॉक से बाहर का रास्ता दिखाया गया। जिसके चलते काफी बवाल हुआ ।नाराज शिक्षकों ने कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर कार्रवाई की मांग की ।जिसके बाद उन्होंने जवाइनिंग पर रोक लगा दी है।

दिव्यांग शिक्षक शिक्षिकाओं को दिव्यांगता के आधार पर आवाजाही की सुविधा को देखते हुए निवास स्थान के सभी साला में पदांकित किया जाना था लेकिन उन्हें घोर जंगल में भेजें गये है। इसी प्रकार महिला शिक्षिकाओं के मामले में भी चेहरा देखकर प्रदांकन कर किया गया है। शिक्षक शिक्षिकाओं ने डिप्टी कलेक्टर को नियम विरुद्ध सूची को निरस्त कर काउंसलिंग के माध्यम से सूची जारी करने की मांग की है ।

शिक्षक कांग्रेस के प्रांतीय महासचिव कमलेश्वर सिंह ने बताया कि उनके संग के साथ नवीन शिक्षक संघ और संयुक्त शिक्षा कर्मी संघ ने एक मंच में आकर इस पदोन्नति और पदांकन को लेकर4 नवंबर को राजनांदगांव में तीनों संघ द्वारा धरना दिया जाएगा। जारी सूची में शिक्षा विभाग के नियम कानून की खुलकर अवहेलना की गई है ।224 में 73 शिक्षकों को उसी साला में प्रधान पाठक के पद पर, 59 महिला शिक्षिकाओं में ज्यादातर को ब्लॉक से बाहर और शेष 62पुरुष सहायक शिक्षकों में ज्यादातर को सेटिंग के कारण निकटतम साला में प्रदांकन कर दिया गया है । उन्होंने कहा कि सूची में वरिष्ठता को नजरअंदाज करने ,महिला शिक्षकों से भेदभाव करने और शिक्षक नेताओं को मानसिक तौर पर प्रताडि़त करने की बात सीधे तौर पर देखी जा रही है।

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