कांकेर

सीएम ने वीर गुण्डाधुर की प्रतिमा का किया वर्चुअल लोकार्पण
10-Feb-2022 9:14 PM
सीएम ने वीर गुण्डाधुर की प्रतिमा का किया वर्चुअल लोकार्पण

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता

कांकेर, 10 फरवरी। मुख्यमंत्री  भूपेश बघेल ने अपने निवास कार्यालय से नगर पालिका कांकेर के घड़ी चौक में स्थापित वीर गुण्डाधुर की प्रतिमा का वर्चुअल लोकार्पण किया। छत्तीसगढ़ विधानसभा के उपाध्यक्ष  मनोज मण्डावी भी रायपुर से लोकार्पण कार्यक्रम में जुड़े हुए थे।

वीर गुण्डाधुर की प्रतिमा के लोकार्पण अवसर पर आयोजित कार्यक्रम को वर्चुअल माध्यम से संबोधित करते हुए प्रदेश के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि वीर गुण्डाधुर को कौन नहीं जानता? उन्होंने बस्तर के जल, जंगल, जमीन और आदिवासियों की संस्कृति व स्वतंत्रता की रक्षा के लिए अंग्रेजी से लड़ाई लड़ी। कांकेर जिले के परलकोट के जमीदार शहीद गैदसिंह को याद करते हुए उन्होंने कहा कि 1857 के स्वतंत्रा संग्राह के पहले ही उन्होंने अंग्रेजो से लड़ाई लड़ी थी। बस्तर के वीर सपूतो ने अपनी आजादी को किसी के पास गिरवी रखने नहीं दिया, उनके योगदान को भुलाया नहीं जा सकता।

 श्री बघेल ने कहा कि बस्तर एवं आदिवासियों के विकास के लिए छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा अनेक कल्याणकारी योजनाएं संचालित की जा रही है। मिलेट मिशन संचालित किया जा रहा है, कोदो, कुटकी, रागी एवं लघु वनोपज को समर्थन मूल्य पर खरीदा जा रहा है। हाट बाजारों में हाट-बाजार क्लिीनिक योजना अंतर्गत स्वास्थ्य विभाग द्वारा शिविर लगाकर मरीजों का उपचार किया जा रहा है, जिससे मलेरिया उन्मूलन में मदद मिली है। आंगनबाड़ी केन्द्रों में पौष्टिक भोजन उपलब्ध कराये गये है, जिससे कुपोषण के खिलाफ लड़ाई में सफलता मिल रही है। स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम स्कूल से बच्चों को उत्कृष्ट शिक्षा प्रदान किया जा रहा है।

इस प्रकार सरकार द्वारा आदिवासियों को आर्थिक, शैक्षणिक एवं शरीरिक रूप से मजबूत करने का प्रयास किया जा रहा है। मुख्यमंत्री श्री बघेल ने कहा कि कांकेर के विकास में किसी प्रकार की कमी आने नही दी जायेगी।

 छत्तीसगढ़ विधानसभा के उपाध्यक्ष मनोज मण्डावी ने कहा कि वीर गुण्डाधुर भूमकाल विद्रोह 1910 की क्रांति के महानायक थे। बस्तर की माटी के लिए न्यौछावर होने वाले इस वीर सपूत का स्मरण कर हम गर्व महसुस करते है। उन्होंने बस्तर की संस्कृति व स्वतंत्रता की रक्षा के लिए अपना सर्वस्व त्याग किया,  जब तक हम अपने पूर्वजों के योगदान को याद नहीं करेेंगे तब तक आगे नहीं बढ़ सकते। मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व छत्तीसगढ़ के बहुमुखी विकास के लिए किये जा रहे कार्यो की प्रशंसा करते हुए उन्होंनक कहा कि चाहे लोहण्डीगुडा के आदिवासियों के जमीन वापसी अथवा वन अधिकार मान्यता पत्रों का वितरण, बस्तर के विकास को हमेशा सामने रखा गया। प्रदेश सरकार द्वारा छत्तीसगढ़ की संस्कृति एवं परंपरा को सजोये रखने के लिए भी बेहतर प्रयास किये गये हैं तथा विकास कार्यो को गति प्रदान की जा रही है।

  संसदीय सचिव एवं कांकेर विधानसभा क्षेत्र के विधायक शिशुपाल शोरी ने इसे एतिहासिक बताते हुये कहा कि इस क्षेत्र की जनता चाहती थी कि बस्तर के प्रवेश द्वार में वीर गुण्डाधुर का प्रतिमा हो। क्षेत्रवासियों की मांग को ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने 28 जनवरी 2021 को ग्राम गोविंदपुर के कार्यक्रम में वीर गुण्डाधुर की प्रतिमा कंाकेर शहर में लगाने की घोषणा किया था, जो आज पूरा हो गया है, इससे क्षेत्र की जनता हर्षित है। श्री शोरी ने कहा कि वीर गुण्डाधुर भूमकाल क्रांति 1910 के महानायक थे।कार्यक्रम को जिला पंचायत के अध्यक्ष श्री  हेमन्त ध्रुव, बस्तर विकास प्राधिकरण के सदस्य बिरेश ठाकुर, जिला पंचायत सदस्य हेमलाल मरकाम एवं नरोत्तम पडोटी ने भी संबोधित किया।

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