विचार / लेख

अश्लील का मतलब?
31-Dec-2023 10:59 PM
अश्लील का मतलब?

-प्रमोद बेरिया
मेरे पोते ने पूछा
‘बाबा, अश्लील मतलब ?’
पहले तो मैं समझ नहीं पाया क्या मतलब बताऊँ फिर कहा
‘बेटा यह आदमी के सभ्य होने के साथ-साथ विकसित होता गया है, अन्यथा, लगता है आदिम युग में तो कुछ अश्लील होता नहीं होगा, अगर होता तो सामूहिक रूप से सब नंगे नहीं रहते!

इसका संबंध मनुष्य की कुंठाओं और अहंकार से भी है, क्योंकि मनुष्य के ‘सभ्य’ होने के साथ ही नाना आवरणों का आविष्कार हुआ और निषेध बढ़ते गए,साथ ही संघर्ष और मनमुटाव भी’

पोते को दलील जंच नहीं रही थी,उम्र भी नहीं थी।

‘बेटा, आदमी अपने आप दीवाल बना लेता है जिसके पार जाना दिनोंदिन उसके लिए कठिन होता जाता है क्योंकि वह बिना दरवाजे की दीवाल होती है। प्रकृति के कुछ ऐसे नियम हैं जिसे मंगल ग्रह पर जाने के बावजूद हम नहीं बदल सकते हैं; जैसे आदमी पैदा तो नंगा ही होगा, विज्ञान द्वारा भी संभव नहीं है कि कपड़े पहने हुए पैदा हो, सुबह से आदमी कितनी बार नंगा होता है लेकिन अश्लील की अवधारणा ही नंगेपन से जुड़ी है, अब इस नंगेपन से आदिम युग के नंगेपन को जोड़ोगे तो करीब पचहत्तर प्रतिशत अश्लीलता का मामला सुलझता नजऱ आता है।’

‘अश्लीलता नंगेपन से जुड़ी न हो कर नंगई से जुड़ी है जोकि मनुष्य के आदमजात आवेगों और कुंठाओं से पैदा होकर सहजात लक्षणों वाले एक से लोगों में सामूहिक होती जाती है और तब हमें ऐसी बहुत सी घटनाओं में, प्रवृत्तियाँ में, कलाओं में, समाजों में नजर आने लगती है और हम भी अनचाहे ही उसमें शामिल होते जाते हैं!’
मेरा पोता टुकुर-टुकुर देख रहा था। 

अन्य पोस्ट

Comments

chhattisgarh news

cg news

english newspaper in raipur

hindi newspaper in raipur
hindi news