बेमेतरा

विद्यार्थियों के लिए शारीरिक के साथ मूल्य शिक्षा अनिवार्य-डॉ. अरुणा
05-Sep-2022 3:34 PM
विद्यार्थियों के लिए शारीरिक के साथ मूल्य शिक्षा अनिवार्य-डॉ. अरुणा

समाधान महाविद्यालय में राष्ट्रीय सेमीनार

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
बेमेतरा, 5 सितंबर।
समाधान महाविद्यालय बेमेतरा में नई शिक्षा नीति 2020 पर  एक दिवसीय राष्ट्रीय सेमीनार सफलतापूवर्क संपन्न हुआ। इस कायर्क्रम में मुख्य अतिथि एवं प्रमुख वक्ता के रूप में हेमचंद यादव विश्वविद्यालय के कुलपति डॉ.अरूणा पल्टा रही एवं सह वक्ता के रूप में डॉ. प्रशांत श्रीवास्तव डीन, स्टुडेन्ट वेलफेयर हेमचंद यादव विश्वविद्यालय दुगर्, डॉ. प्रीता लाल डायरेक्टर कालेज डेवलपमेंट काउन्सील हेमचंद यादव विश्वविद्यालय ,डॉ.सुरेन्द्र पाठक प्रोफेसर एवं हेड चेतना विकास मुल्य शिक्षा गुजरात ,अरविंद मिश्रा जिला शिक्षा अधिकारी रहे।

उक्त कायर्क्रम में डॉ. अरूणा पल्टा ने बताया कि नई शिक्षा नीति की वतर्मान समय में आवश्यकता है एवं इसे चरणबध्द तरीके से लागू किया जाना चाहिए एवं वैश्विक स्तर पर स्थान बनाने के लिए बहु भाषा एवं अग्रेजी भाषा में कुशलता पर बल दिये व शिक्षा में शारीरिक शिक्षा के साथ मूल्य शिक्षा को विद्याथिर्यों के लिए अनिवार्य बताया। शिक्षक के लिए तकनीकी ज्ञान में निपुण होना वतर्मान समय के लिए आवश्यक बताया। वहीं डॉ. प्रशांत श्रीवास्तव ने नई शिक्षा नीति के विभिन्न आयामों पर प्रकाश डालते हुए छात्रों कको 21 वी सदी के लिए तैयार करना व सही दिशा देना  नइ शिक्षा नीति का उद़देश्य है। यह शिक्षा नीति समाज के दलित, पिछड़े, महिला, विकलांगो अल्पसंख्यक वर्गों के उत्थान पर विशेष बल देता है। डॉ. प्रीता लाल ने कहा कि एवं देश को विश्वगुरू के रूप में पुनस्थार्पित करने के लिए वतर्मान शिक्षा में परिवतर्न आवश्यक है।

डॉ. सुरेन्द्र पाठक ने वतर्मान शिक्षा में मूल्य शिक्षा की आवश्यकता एवं महत्व को रेखांकित करते हुए कहा कि वतर्मान शिक्षा में व्यवहार एवं कौशल की शिक्षा का अभाव है वही चेतना विकास मूल्य शिक्षा में मानव जीवन के चारों आयामों की व्यवस्था उपलब्ध है जो सर्व मानव के लिए वसुधैव कुटुम्बकम की विचार धारा को साथर्क करता है। वतर्मान में देश के तकनीकी विश्वविद्यालय में इस पर कार्य जारी है।

जिला शिक्षा अधिकारी अरविंद मिश्रा ने कहा कि छात्रों का विकास एवं राष्ट्र निमार्ण ही शिक्षा का मुख्य उद़देश्य हैं। शिक्षा से बड़ा शिक्षक का समपर्ण है। समस्त धर्मो का सार अपने आचरण में सुधार करना है। समाधान महाविद्यालय शैक्षिक, सामाजिक गतिधियों में लगातार अपनी भूमिका निभा रहा है। पुलिस अधिक्षक धर्मेंद्र सिंह ने कहा कि नई शिक्षा नीति के जो उद़देश्य है वह हमारे लिए बहुत हि महत्वपूर्ण है कि युवा पीढ़ी ही कल का भविष्य है। इस महान उद़देश्य को आप प्राप्त करें ऐसी मेरी शुभकामनाएं है।
इस कायर्क्रम में जिले के 20 शासकीय  विद्यालयों के प्राचार्य एवं समाधान महाविद्यालय के अध्यक्ष डॉ.अलका तिवारी, सचिव डॉ.अवधेश पटेल, संचालक अविनाश तिवारी, प्राचार्य एवं महाविद्यालय के समस्त स्टाफ उपस्थित रहे एवं आनलाइन मोड में छत्तीसगढ़ के विभिन्न राज्यों के प्रतिभागी व दिल्ली, गुजरात, उड़ीसा एवं मध्यप्रदेश के प्राध्यापक सम्मिलित हुए  कायर्क्रम के अंत में अतिथियों एव वक्ताओं को स्मृति चिन्ह भेंट किया गया।

आभार महाविद्यालय के सचिव अवधेश पटेल द्वारा  व्यक्त किया गया। राष्ट्रीय शिक्षा नीति के इस राष्ट्रीय कायर्शाला में लगभग 150 शिक्षाजगत से संबंधित चयनित प्रतिभागी सम्मिलित हुए जिसमें छत्तीसगढ़ के विभिन्न महाविद्यालयों के सहायक प्राध्यापक जिले के शासकीय स्कूलों के प्राचार्य एवं व्याख्याता प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन में संचालक एवं शिक्षकगण उपस्थिति रहे। छत्तीसगढ़, गुजरात, दिल्ली, मध्यप्रदेश, एवं उडीसा से जुडे रहे। इस अवसर पर कायर्क्रम के समापन में प्राइवेट स्कूल एसोसिएशन बेमेतरा एवं समाधान महाविद्यालय द्वारा सभी शिक्षकों को सम्मानित किया गया एवं सेमीनार का प्रमाणपत्र दिया गया।

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