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आज ही दिन 1983 में लॉन्च हुआ था Windows 1.0, देखिए खूबसूरत सफर की एक झलक
10-Nov-2021 2:07 PM
आज ही दिन 1983 में लॉन्च हुआ था Windows 1.0, देखिए खूबसूरत सफर की एक झलक

आधुनिक समय की कल्पना कंप्यूटर के बिना नहीं की जा सकती और कंप्यूटर की कल्पना उसके ऑपरेटिंग सिस्टम विंडो के बिना करना मुश्किल है. जी हां... आप सही पढ़ रहे हैं. आज ही दिन करीब चार दशक पहले एक क्रांति हुई थी जिसमें पूरी दुनिया को बदलकर रख दिया. यह पूरी कहानी बिल गेट्स और उनकी कंपनी माइक्रोसॉफ्ट की है. जिन्होंने पहला यूजर फ्रेंडली ऑपरेटिंग सिंस्टम बनाया. जिसका नाम है विंडोज 1.0. इस ऑपरेटिंग सिस्टम के बिना दुनिया में कोई भी डेस्कटॉप कंप्यूटर काम नहीं कर सकता है.

कैसे शुरू हुआ विंडा का सफरआज ही के दिन यानी 10 नवंबर 1983 को माइक्रोसॉफ्ट के प्रेसिडेंट और बोर्ड चेयरमैन बिल गेट्स ने न्यूयॉर्क सिटी में एक शानदार पार्टी आयोजित की. इस पार्टी में आकर्षण का केंद्र एक ऑपरेटिंग सिस्टम था जो बेहद सिंपल और सहज ग्राफिक यूजर इंटरफेस वाला था. वह विंडो 1.0 था.

उस समय के ऑपरेटिंग सिस्टम को देखें तो आप की पीढ़ी को भरोसा नहीं होगा. उसमें बहुत कम फीचर्स थे. उसमें ड्रॉप डाउन मेनू हुआ करते थे. उसमें टिल्ड विंडोज था. उसमें माउस के जरिए कई काम किए जा सकते थे. पहली बार इसने साबित किया था कि ऑपरेटिंग सिस्मट इतना सहज हो सकता है कि बिना तकनीकी जानकारी वाला व्यक्ति भी इसे ऑपरेट कर सकता है.

किसने रखा विंडोज नामयह बड़ा मजेदार तथ्य है. जिस विंडोज पर पूरी दुनिया चल रही है उसका नाम कैसे पड़ा. रिपोर्ट्स के मुताबिक यह नाम बिल गेट्स ने नहीं दिया. वह इसका नाम न्यू ग्राफिक ऑपरेटिंग सिस्टम यानी इंटरफेस मैनेजर रखना चाहते थे. उस वक्त माइक्रोसॉफ्ट में मार्केटिंग के दिग्गज लुकिली रॉलैंड हैनसन ने बिल गेट्स को समझाया कि इस ऑपरेटिंग सिस्टम का नाम विंडोज रखा जाए.

1983 में बिल गेट्स ने क्या कहा थाविंडोज ने पूरी दुनिया को बदल कर रख दी है. बीते करीब चार दशक में इसके 11 वर्जन आ चुके हैं. सॉफ्टवेयर और हार्डवेयर की दुनिया में तरक्की के साथ विंडोज ने भी एक लंबा सफर तय कर लिया है. आज इसी विंडोज की बदौलत कंप्यूटर ऑपरेट करना इतना सहज हो चुका है कि प्रोफेशनल चुटियों में जटिल से जटिल काम को अंजाम दे रहे हैं.

1980 के दशक में कंप्यूटर में क्या थी जरूरतआपको जानकर हैरानी होगी कि 1980 दशक में चलने वाले कंप्यूटर में 259 केबी का रैम, एक ग्राफिक एडॉप्टर, दो फ्लॉपी ड्राइव या एक हार्ड ड्राइव हुआ करता था. इसी पर विंडोज 1.0 चलता था.]

1983 में विंडोज की कीमतजब बिल गेट्स ने विंडोज को लॉन्च किया तो उस समय उसकी कीमत 99 डॉलर यानी आज के भारतीय रुपये में करीब 7500 रुपये थी. यह कीमत आपको अधिक लग सकती है लेकिन उस वक्त पर्सनल कंप्यूटर एक महंगी चीज होती थी और माइक्रोफ्ट के इस ओएस की कीमत उसके मुकाबले ज्यादा नहीं थी.

आज बाजार में विंडोज 10 और विंडोज 11 ऑपरेटिंग सिस्टम चलन में है.
 

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