महासमुन्द

कोडार से तालाबों के लिए निकला पानी चोरी-चोरी प्लांट जा रहा, भीषण गर्मी में निस्तारी की समस्या से जूझ रहे ग्रामीण
19-Apr-2023 3:10 PM
कोडार से तालाबों के लिए निकला पानी चोरी-चोरी प्लांट जा रहा, भीषण गर्मी में निस्तारी की समस्या से जूझ रहे ग्रामीण

ग्रामीण कह रहे-प्रशासन ने अनुमति नहीं दी है तो किसकी अनुमति से नहर लाइनिंग काटकर पानी ले जा रहे

प्लांट को पानी नहीं दिया गया है-अधिकारी

‘छत्तीसगढ़’ संवाददाता
महासमुंद, 19 अप्रैल।
कोडार बांध से नहर के जरिए गांवों की तालाबों के लिए निकला पानी चोरी-चोरी करणीकृपा स्टील प्लांट में जा रहा है। नहर को काटकर बकायदा नाली बनाकर पानी प्लांट में जा रहा है। लिहाजा गांवों की तालाबों तक पानी नहीं पहुंच रहा है। भीषण गर्मी से जूझते गांवों में निस्तारी की समस्या बनी हुई है।

विभाग के अधिकारी कर रहे हैं कि प्लांट को पानी नहीं दिया गया है।  गांव वालों का सवाल है कि प्रशासन ने अनुमति नहीं दी है तो किसकी अनुमति से प्लांट नहर लाइनिंग काटकर पानी ले जा रहा है?
मालूम हो कि उक्त प्लांट के विरोध में लगभग साल भर से अधिक समय से किसानों द्वारा आंदोलन किया जा रहा है। अनेक बार शिकायत करने के बाद भी प्रशासन ने यही कहा कि पावर प्लांट को कोडार का पानी नहीं दिया जाएगा, लेकिन गांव वालों की शिकायत के बावजूद प्लांट पर कार्रवाई न होना, बिना अनुमति लाइनिंग काटकर प्लांट तक पानी ले जाना सवाल खड़े कर रहा है। इससे क्षेत्र के किसानों व ग्रामीणों में भारी आक्रोश है, जो आगामी समय में जन आंदोलन का रूप ले सकता है।

कल जब लोगों को पता चला कि कोडार नहर को काटकर नाली के जरिए प्लांट में पानी जा रहा है तो मौके किसानों के साथ भाजपा प्रदेश महामंत्री पिछड़ा वर्ग मोर्चा एवं तुमगांव नगर पंचायत अध्यक्ष राकेश चंद्राकर भी पहुंचे। इस मामले में उनका कहना है कि तुमगांव के आसपास के कई गांवों के किसान प्लांट को कोडार से पानी देने का विरोध सालों से करते आ रहे हैं। गांव वालों की मांग है कि कोडार का पानी प्लांट को दिया गया तो सिंचाई और निस्तारी के लिए पानी ही नहीं बचेगा। कोडार के पानी को प्लांट को देने के विरोध में ही तुमगांव, कौंवाझर, गुडरूडीह, कुकराडीह, गढ़सिवनी समेत कई गांवों के किसान साल भर से हर रोज सत्याग्रह कर रहे हैं।

राकेश चंद्राकर का कहना है कि कोडार के पानी को नहर काटकर प्लांट की ओर ले जाने के लिए नाली बनाई गई है। यह सभी लोगों की नजर में है। विभाग को शिकायत भी की गई है, लेकिन विभाग जान कर भी अंजान बना बैठा है। ऐसे में गांवों का तालाब नहीं भर पाएगा और निस्तारी की समस्या होगी। ऐसी स्थिति में किसानों में नाराजगी बढ़ सकती है।

श्री चंद्राकर ने बताया-मैं सूचना मिलने पर खुद तुमगांव, कौंवाझर, गुडरूडीह, कुकराडीह, गढ़सिवनी आदि गांवों के किसानों के साथ मौके पर पहुंचा था। वहां पावर प्लांट के समीप एकत्र होकर नहर लाइनिंग को काटकर पानी ले जाने का विरोध भी किया। मौके पर निस्तारी हेतु छोड़े गए पानी को गुपचुप तरीके से नहर लाइन काटकर नाली के माध्यम से पावर प्लांट तक पहुंचाया जा रहा है।

वहीं ईई जल संसाधन पीआर विश्वकर्मा ने उक्त प्लांट को कोडार बांध से पानी दिये जाने की बात को सिरे से खारिज किया है। उन्होंने बताया कि काफी पहले प्लांट से मांग आई थी। लेकिन विभाग की ओर से मना किया गया था। बाद में प्लांट प्रबंधक ने गोपालपुर एनीकट से पानी की मांग की थी। लेकिन वहां से भी पानी देने से मना किया गया है।

किसान गोकुल यादव, लखन कोसले, यशवंत बजाज, शंकर यादव, शत्रुघ्न भास्कर, संजू लहरे, माधव यादव, भूषण कोसले, ललित पटेल, रेखराम साहू, मनीष सिन्हा सहित क्षेत्र के ग्रामीण इस मामले में आरोप है कि विभाग प्लांट का सहयोग कर रही हैहा है।
 

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