राजपथ - जनपथ

राजपथ-जनपथ : नग्न प्रदर्शन से खलबली
19-Jul-2023 3:13 PM
राजपथ-जनपथ : नग्न प्रदर्शन से खलबली

नग्न प्रदर्शन से खलबली 

फर्जी जाति प्रमाण पत्र के आधार पर नौकरी करने वालों पर कार्रवाई की मांग को लेकर विधानसभा के समीप कुछ युवाओं के नग्न प्रदर्शन ने सरकार को झकझोर कर रख दिया है। इस तरह का प्रदर्शन छत्तीसगढ़, और न ही अविभाजित मध्यप्रदेश में पहले कभी नहीं हुआ। अलबत्ता, कुछ साल पहले देश में मणिपुर में जरूर सेना के खिलाफ इस तरह का प्रदर्शन हुआ था। 

सुनते हैं कि प्रदर्शनकारी युवक भीम आर्मी नामक संगठन से भी जुड़े हैं जिसके मुखिया यूपी के चर्चित नेता चंद्रशेखर आजाद उर्फ रावण हैं। कुछ समय पहले भी प्रदर्शनकारी युवाओं ने मंत्रालय भवन के समीप धरना देकर अपनी मांगों की तरफ सरकार का ध्यान आकृष्ट कराने की कोशिश की थी। तब उन्हें ज्यादा गंभीरता से नहीं लिया गया। और तो और उन्होंने सोमवार को प्रेस नोट जारी कर विधानसभा के सामने नग्न प्रदर्शन की चेतावनी दी थी। तब भी उन्हें ज्यादा गंभीरता से नहीं लिया गया। 

बताते हैं कि प्रदर्शनकारी युवक आमासिवनी के पास पहले कपड़े उतारकर चुपचाप लाइन से चल रहे थे, मगर विधानसभा मार्ग पर ओवर ब्रिज के नीचे पहुंचते ही प्रदर्शनकारी युवकों ने नारेबाजी शुरू कर दी। इससे वहां हडक़ंप मच गया। आसपास के ड्यूटी पर तैनात पुलिस कर्मी उन्हें घेरने के लिए पहुंचे, लेकिन वो आगे बढ़ते चले गए। किसी तरह उन्हें विधानसभा भवन पहुंचने से पहले ही हिरासत में ले लिया गया। 

नग्न प्रदर्शनकारियों पर तो पुलिस ने बल प्रयोग नहीं किया, लेकिन उनके साथ एक कपड़े पहने हुए एक युवक भी था जिसकी जमकर पिटाई की गई। चर्चा है कि सीएम खुद इस घटना से काफी खफा हैं, और उन्होंने पुलिस अफसरों को फटकार भी लगाई है। खैर, सीएस ने फर्जी जाति प्रमाण पत्र के आधार पर नौकरी करने वालों के खिलाफ कार्रवाई के लिए विभागों की बैठक भी बुलाई है। देखना है कि आगे क्या होता है। 

स्कूल में हिंदी, कॉलेज में अंग्रेजी

प्रदेश में अब तक अंग्रेजी माध्यम के 377 और हिंदी माध्यम के 350  स्वामी आत्मानंद स्कूल खोले जा चुके हैं। साधारण सरकारी स्कूलों की हालत और प्राइवेट स्कूलों की महंगी फीस के चलते साधारण आमदनी वाले अभिभावक अपने बच्चों का दाखिला इन स्कूलों में करा रहे हैं। अधिकांश स्कूलों में प्रवेश के लिए सीटों से दो तीन गुना आवेदन आ रहे हैं, जिसके चलते लॉटरी निकालकर प्रवेश देना पड़ रहा है। इनकी सफलता से सरकार का ध्यान स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम कॉलेज खोलने की ओर गया। इस सत्र से 10 ऐसे अंग्रेजी कॉलेज खोलने का निर्णय लिया गया है। पिछले दिनों मुख्यमंत्री ने कांकेर में राज्य के पहले अंग्रेजी माध्यम अंग्रेजी कॉलेज का उद्घाटन किया। बाकी जगहों पर भी प्रवेश के लिए आवेदन मांगे जा रहे हैं। पर इनमें स्थिति उलट है। सीटों के मुकाबले आवेदन ही नहीं आ रहे हैं। राजनांदगांव जिले का सोमनी आदर्श महाविद्यालय इसका एक उदाहरण है। यहां 250 सीटें हैं, पर अब तक सिर्फ 38 छात्रों ने प्रवेश लिया है। अभिभावक नाराज हैं। अच्छे-खासे हिंदी में उनके बच्चे पढ़ रहे थे। स्कूल में पूरी पढ़ाई हिंदी माध्यम से हुई थी, अब कॉलेज में पहुंचने पर अंग्रेजी माध्यम लाद दिया गया है। उन्हें दूसरे कॉलेज की तलाश करनी पड़ रही है, जहां हिंदी में पढ़ाई होती हो। हाल ही में हाईकोर्ट ने एक याचिका पर सुनवाई के बाद सरकार को आदेश दिया है कि जो बच्चे हिंदी में पढ़ रहे थे, उन्हें जबरन अंग्रेजी पढऩे के लिए बाध्य नहीं किया जाए। उनके लिए उसी स्कूल में हिंदी पढ़ाने की व्यवस्था की जाए, चाहे कक्षाएं दो पालियों में क्यों न लगानी पड़े। याचिका स्कूलों के लिए लगी थी तो आदेश भी स्कूलों के लिए ही है। अंग्रेजी कॉलेजों में यह प्रावधान अपनी ओर से सरकार करेगी या हिंदी के बच्चों को भटकने के लिए मजबूर करेगी, सवाल बनता है।

भालू का आसान दर्शन

कांकेर का गढिय़ा पहाड़ दर्शनीय स्थल है। यहां भालुओं की मौजूदगी सहज है। पहाड़ पर पसरे प्राकृतिक सौंदर्य के अलावा लोग यहां इसलिये भी पहुंचते हैं कि भालू विचरण करते नजर आ जाएं। अब तक तो किसी पर्यटक पर भालुओं ने हमला नहीं किया पर, कुछ लोग यहां सेल्फी लेने और नजदीक जाकर वीडियो बनाने की कोशिश करते हैं। ऐसे में ये वन्यजीव उग्र होकर हमला कर सकते हैं। आए दिन हाथियों के मामले में घटनाएं सामने आ ही रही है। 

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